अशोकनगर। स्कूलों में मिड डे मील बनाने के लिए शासन ने 1,459 गैस कनेक्शन की राशि शासकीय स्कूलों के खाते में डाली थी, लेकिन जिले के स्कूलों में चूल्हे पर लकड़ी और कंडों से खाना बनाया जा रहा है. चूल्हे पर खाना बनाते समय निकलने वाले धुएं से बच्चों के साथ-साथ समूह की महिलाओं के स्वास्थ्य पर भी खराब प्रभाव पड़ रहा है.
खाना बनाने वाली महिलाओं को सिलेंडर से रेगुलेटर निकालना भी नहीं आता है. यदि आगजनी की घटना होती है तो स्कूल में पढ़ने वाले बच्चों के लिए बड़ा खतरा बन सकता है. बता दें कि सिलेंडर और चूल्हा खरीदने के लिए 23 जनवरी को 505 स्कूलों को 33 लाख 21 हजार 385 रुपए की राशि जारी की गई थी.
राशि जारी करने का उद्देश्य था कि खाना पकाते समय धुएं से महिलाओं का स्वास्थ्य खराब नहीं हो, साथ ही पेड़ों की कम कटाई से हरियाली बची रहे, लेकिन इसके बावजूद महिलाओं को जहां सिलेंडर ऑन और बंद करना भी नहीं आता, तो वहीं कई महिलाओं को रेगुलेटर सिलेंडर से निकालना और लगाना भी नहीं आता, जो हादसे का सबब बन सकता है.