जबलपुर। नेताजी सुभाष चंद्र बोस की 125वीं जयंती पर जबलपुर केंद्रीय जेल में बने नेताजी के कारागृह को संग्रहालय के रूप में आम लोगों के लिए खोल दिया गया है. इस मौके पर जेल में श्रद्धांजलि कार्यक्रम (Subhash Chandra Bose Jayanti in jabalpur) आयोजित किया गया. जेल प्रबंधन द्वारा सुभाष सभा कक्ष में विशेष कार्यक्रम रखा गया, जिसमें पुरुष एवं महिला बंदियों ने लोकनृत्यों की मनमोहक प्रस्तुतियां दीं, जिसे देखकर सभी ने बंदियों की जमकर सराहना की.
संग्रहालय में संजोई गई नेताजी से जुड़ी चीजें
स्वतंत्रता संग्राम के सबसे बड़े सेनानी नेताजी सुभाष चंद्र बोस आजादी की लड़ाई के दौरान दो बार इसी जेल में पहुंचे थे. पहली बार उन्हें 6 महीने तक जेल में रखा गया था. दूसरी बार में 5 दिन तक इस जेल में रखा (Subhash Chandra Bose museum Inauguration jabalpur) गया. जेल में रहने के दौरान नेताजी ने जो भी चीजें उपयोग की थीं, उन्हें अब संग्रहालय में ऐतिहासिक वस्तु के रूप में संजोया गया है.
सीएम शिवराज ने जाहिर की थी इच्छा
आम लोगों ने नेताजी के जीवन के विषय में अभी तक पढ़ा है. अब उनके जीवन से जुड़ी हुई चीजों को यहां देखने का अवसर मिल सकेगा. वर्ष 2021 में नेताजी की जयंती पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान केंद्रीय जेल पहुंचे थे. उन्होंने नेताजी की बैरक को संग्रहालय (Subhash Chandra Bose museum Jabalpur Central Jail) बनाने की इच्छा प्रकट की थी. उनकी इच्छा के अनुसार अब जेल प्रबंधन ने इसे संग्रहालय में बदल दिया है.
नेताजी की मूर्ति पर माल्यार्पण को लेकर टीएमसी और भाजपा समर्थकों के बीच झड़प
आम जनता जहां नेताजी की इस बैरक का अवलोकन कर खुद को धन्य महसूस कर रही है. जेल प्रबंधन का भी मानना है कि इस संग्रहालय के माध्यम से लोग नेताजी को करीब से जान सकेंगे. इसके लिए हर शनिवार और रविवार को आम लोगों के लिए संग्रहालय खोला जाएगा.