ETV Bharat / city

Police Intelligence System: होमगार्ड की मदद से मजबूत होगा मुखबिर तंत्र, सोशल मीडिया पर भी रखी जाएगी नजर

खरगोन में घटी घटना को लेकर पुलिस के इंटेलीजेंस सिस्टम को लेकर सवाल उठे हैं. पुलिस अब नगर रक्षा समिति की मदद से मुखबिर तंत्र को मजबूत करने के प्रयास में जुटी हुई है. इसके लिए जिला स्तर पर नगर रक्षा समिति के सदस्यों को ट्रेनिंग दी जा रही है. (Training to members of city defense committee)

Police Headquarters Madhya Pradesh
पुलिस मुख्यालय भोपाल
author img

By

Published : May 25, 2022, 10:53 PM IST

भोपाल। मध्यप्रदेश के खरगोन में घटी घटना को लेकर पुलिस के इंटेलीजेंस सिस्टम को लेकर सवाल उठे हैं. ऐसी घटनाओं में सोशल मीडिया के माध्यम से लोगों को भड़काया गया. जिसने बाद में इन मामलों ने बड़ा रूप लिया. इसको देखते हुए पुलिस मुख्यालय ने पुलिस के सायबर खुफिया तंत्र को मजबूत करने के लिए नया तरीका अपनाया है. पुलिस अब नगर रक्षा समिति की मदद से मुखबिर तंत्र को मजबूत कर रही है. इसके लिए जिला स्तर पर नगर रक्षा समिति के सदस्यों को ट्रेनिंग दी जा रही है.

कई घटनाओं में उठ चुके इंटेजीजेंस पर सवाल: पिछले दिनों खरगोन में सांप्रदायिक दंगों (Khargone Violence) के चलते कई घरों को नुकसान पहुंचा. घटना में एसपी को भी गोली लगी थी. इस घटना को लेकर पुलिस को पहले से भनक नहीं लगी थी. पुलिस अधिकारियों ने इसके लिए इंटेलीजेंस में चूक मानी है. इसी तरह से भोपाल के ऐशबाग इलाके में महीनों से जमात उल मुजाद्दीन बांग्लादेश के आंतकी रह रहे थे. इसका भी पुलिस को पहले से पता नहीं चल पाया था. इस तरह कई घटनाएं हुई हैं जिसको लेकर सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल हुए और बाद में क्षेत्र का माहौल बिगड़ा. अब पुलिस मुख्यालय (Police Headquarters Madhya Pradesh) मुखबिर तंत्र को मजबूत करने के लिए नगर रक्षा समिति के सदस्यों को ट्रेंड कर रहा है.

खरगोन दंगों पर राजनीति शुरू, कमलनाथ ने भाजपा पर लगाया समाज को बांटने का आरोप, कहा- तनाव से जूझ रहे हैं लोग

हर जिले में ट्रेनिंग: पुलिस अब नगर रक्षा समिति के सदस्यों को जिला स्तर पर ट्रेंड कर रही है. पुलिस ऐसे लोगों को चुनिंदा व्हॉट्सअप ग्रुप में जुड़ने के लिए भी कहेगी, ताकि संबंधित ग्रुप में चलने वाली गतिविधियों पर नजर रखी जा सके और आपत्तिजनक पोस्ट को लेकर पुलिस को सूचित कर सकें. एडीजी सामुदायिक पुलिस बीमधु कुमार के मुताबिक नगर रक्षा समिति के सदस्यों को सायबर की ट्रेनिंग दी जा रही है.

सांप्रदायिक दंगा फैलाने के आरोप में 19 अभियुक्तों को कोर्ट ने सुनाई दस- दस साल की सजा

केंद्रीय गृहमंत्री भी उठा चुके हैं सवाल: पिछले दिनों एक कार्यक्रम में भोपाल आए केन्द्रीय गृहमंत्री अमित शाह (amit shah) भी बेसिक पुलिसिंग और मुखबिर तंत्र के कमजोर होने को लेकर सवाल उठा चुके हैं. उन्होंने अपने संबोधन में कहा था कि, कानून व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए पुलिस को बेसिक्स पर फिर जाना होगा. मुखबिर तंत्र को मजबूत करना होगा.

भोपाल। मध्यप्रदेश के खरगोन में घटी घटना को लेकर पुलिस के इंटेलीजेंस सिस्टम को लेकर सवाल उठे हैं. ऐसी घटनाओं में सोशल मीडिया के माध्यम से लोगों को भड़काया गया. जिसने बाद में इन मामलों ने बड़ा रूप लिया. इसको देखते हुए पुलिस मुख्यालय ने पुलिस के सायबर खुफिया तंत्र को मजबूत करने के लिए नया तरीका अपनाया है. पुलिस अब नगर रक्षा समिति की मदद से मुखबिर तंत्र को मजबूत कर रही है. इसके लिए जिला स्तर पर नगर रक्षा समिति के सदस्यों को ट्रेनिंग दी जा रही है.

कई घटनाओं में उठ चुके इंटेजीजेंस पर सवाल: पिछले दिनों खरगोन में सांप्रदायिक दंगों (Khargone Violence) के चलते कई घरों को नुकसान पहुंचा. घटना में एसपी को भी गोली लगी थी. इस घटना को लेकर पुलिस को पहले से भनक नहीं लगी थी. पुलिस अधिकारियों ने इसके लिए इंटेलीजेंस में चूक मानी है. इसी तरह से भोपाल के ऐशबाग इलाके में महीनों से जमात उल मुजाद्दीन बांग्लादेश के आंतकी रह रहे थे. इसका भी पुलिस को पहले से पता नहीं चल पाया था. इस तरह कई घटनाएं हुई हैं जिसको लेकर सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल हुए और बाद में क्षेत्र का माहौल बिगड़ा. अब पुलिस मुख्यालय (Police Headquarters Madhya Pradesh) मुखबिर तंत्र को मजबूत करने के लिए नगर रक्षा समिति के सदस्यों को ट्रेंड कर रहा है.

खरगोन दंगों पर राजनीति शुरू, कमलनाथ ने भाजपा पर लगाया समाज को बांटने का आरोप, कहा- तनाव से जूझ रहे हैं लोग

हर जिले में ट्रेनिंग: पुलिस अब नगर रक्षा समिति के सदस्यों को जिला स्तर पर ट्रेंड कर रही है. पुलिस ऐसे लोगों को चुनिंदा व्हॉट्सअप ग्रुप में जुड़ने के लिए भी कहेगी, ताकि संबंधित ग्रुप में चलने वाली गतिविधियों पर नजर रखी जा सके और आपत्तिजनक पोस्ट को लेकर पुलिस को सूचित कर सकें. एडीजी सामुदायिक पुलिस बीमधु कुमार के मुताबिक नगर रक्षा समिति के सदस्यों को सायबर की ट्रेनिंग दी जा रही है.

सांप्रदायिक दंगा फैलाने के आरोप में 19 अभियुक्तों को कोर्ट ने सुनाई दस- दस साल की सजा

केंद्रीय गृहमंत्री भी उठा चुके हैं सवाल: पिछले दिनों एक कार्यक्रम में भोपाल आए केन्द्रीय गृहमंत्री अमित शाह (amit shah) भी बेसिक पुलिसिंग और मुखबिर तंत्र के कमजोर होने को लेकर सवाल उठा चुके हैं. उन्होंने अपने संबोधन में कहा था कि, कानून व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए पुलिस को बेसिक्स पर फिर जाना होगा. मुखबिर तंत्र को मजबूत करना होगा.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.