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MP: चार्टेड प्लेन से दुनिया की सैर करता था जबलपुर का बिशप, जाने प्रेमचंद के ईसाई धर्मगुरु पीसी सिंह बनने की पूरी कहानी

धोखाधड़ी, फ्रॉड और ऑनलाइन जैसे कारनामों का हब बनता जा रहा है मध्य प्रदेश. जहां इंदौर में ऑनलाइन ठगी के लगातार मामले सामने आ रहे हैं. वहीं जबलपुर के नटवरलाल ईसाई धर्मगुरु पीसी सिंह की कहानी ने सारे मामलों को पीछे छोड़ दिया है. मूलतः बिहार के रहने वाले प्रेमचंद ने विगत वर्षों में करोड़ों की सम्पत्ति और बैंक बैलेंस बनाया है. EoW की छापेमारी और जांच में बिशप की अवैध सम्पत्ति की जानकारी चौंकाने वालीं हैं. (Natwar Lal Bishop Jabalpur)

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Published : Sep 10, 2022, 7:28 PM IST

जबलपुर। EOW द्वारा भ्रष्ट अधिकारियों पर शिकंजा कसने का अभियान लगातार जारी है. आर्थिक अनियमितताओं में फँसे Bishop पीसी सिंह के मामले में EOW को कुछ अहम फोटोग्राफ्स मिले है. जिसको लेकर ये कयास लगाए जा रहे है कि Natwar Lal बिशप पीसी सिंह महँगे सैर सपाटे का शौकीन था. वह chartered plane से दुनियाभर की सैर करता था. EOW को मिली फोटोग्राफ्स भी जाँच के दायरे में आ गई है. EOW की टीम अब यह पता लगाने में जुटी हुई है कि Bishop पीसी सिंह आखिर किसके चार्टर्ड प्लेन से घूमता था. EOW प्लेन की तलाश के साथ सुबूत भी जुटा रही है. बीते 2 माह में जबलपुर EOW ने पांच कार्रवाई की है. इससे पहले जबलपुर में आरटीओ संतोष पॉल के बाद अब ईसाई धर्म गुरु पीसी सिंह के ठिकानों पर छापा मारा गया. दिन भर चली कार्यवाही के बाद EOW ने एक बड़ा खुलासा किया है. ईसाई धर्म गुरु के पास से EOW को जांच में 1 करोड़ 65 लाख रुपए नकद और 18 हजार डॉलर विदेशी मुद्रा मिली है. इतना ही नहीं उसके पास से 90 लाख रुपये की लक्जरी कार सहित 9 कार एवं दो किलो सोना मिला है. पीसी सिंह ने विजय नगर में काली कमाई से खुद का स्कूल भी बनाया है. साथ ही आफिस से संस्थाओं के दस्तावेजों के अतिरिक्त कुल 17 सम्पत्तियों के दस्तावेज व 48 बैंक खातों की जानकारी भी मिली है. जिसके बाद बैंकों से डिटेल निकाली जा रही है. कब और कितना पैसा कहां से आया और गया है. फिलहाल Natwar Lal पीसी सिंह जर्मनी में है. (Jabalpur Bishop used chartered plane)

Jabalpur Bishop used chartered plane
जबलपुर चार्टेड प्लेन से दुनिया की सैर करता था बिशप

फर्जी दस्तावेज का मास्टर माइंड है पीसी सिंहः मिली जानकारी के अनुसार पीसी सिंह फर्जी दस्तावेजों से संस्था का चेयरमैन बना था. इसके बाद उसने करोड़ों रुपये की हेराफेरी की. इसकी भनक लगने के बाद जबलपुर के द बोर्ड ऑफ एजुकेशन चर्च ऑफ नार्थ इंडिया के चेयरमैन ईसाई धर्म गुरु पीसी सिंह के घर पर EOW की टीम ने छापेमारी की थी. कार्यवाही के दौरान उप निरीक्षक विशाखा तिवारी द्वारा मामले में विवेचना के दौरान प्रकरण से संबंधित महत्वपूर्ण दस्तावेजों एवं गबन की राशि से अर्जित सम्पत्तियों की जानकारी जुटाने के लिए न्यायालय से विधिवत सर्च वारंट प्राप्त किया गया. जिसमें ईसाई धर्म गुरु के खिलाफ दो करोड़ 70 लाख रुपए की राशि धार्मिक संस्थाओं में ट्रांसफर करने और खुद के इस्तेमाल करने की शिकायतें मिली थी. शिकायत पर विगत 8 सितंबर को सुबह ईसाई धर्म गुरु पीसी सिंह के घर बिशप हाउस नेपियर टाउन जबलपुर एवं कार्यालय नेपियर टाउन में टीम कार्यवाही करने पहुँची थी. कार्यवाही के दौरान आर्थिक अपराध ब्यूरो की छापेमारी में ईसाई धर्म गुरु के घर से विदेशी मुद्रा सहित बड़ी तादाद में नकदी बरामद की थी. जिसे गिनने के लिए स्टेट बैंक ऑफ इंडिया की टीम मशीन लेकर Bishop के घर पहुंची है. दस्तावेजों की पड़ताल से लेकर नोटों के गिनने का काम शुरू किया गया. (Jabalpur Bishop used chartered plane to travel the world)

Jabalpur Bishop travel the world chartered plane
जबलपुर नटवर लाल बिशप के पास है करोड़ो की सम्पत्ति
ईसाई धर्मगुरु ने नटरवाल बनकर कई शहरों में की है धोखाधड़ीः आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ की छापेमारी के बाद सुर्खियों में आए द बोर्ड ऑफ एजुकेशन चर्च ऑफ नार्थ इंडिया के चेयरमैन ईसाई धर्म गुरु पीसी सिंह उर्फ प्रेमचंद सिंह के खिलाफ देश के अलग-अलग राज्यों में दिल्ली में तीन, यूपी में 42, राजस्थान में 24, झारखंड में तीन, मध्य प्रदेश में चार, छत्तीसगढ़ में तीन, महाराष्ट्र में 11, पंजाब में छह, पश्चिम बंगाल में एक, हरियाणा में एक सहित अन्य चार मिलाकर करीब 99 आपराधिक प्रकरण दर्ज हैं. जिनमें ज्यादातर मामले अमानत में खयानत के हैं. इनमें छेड़छाड़, अवैध वसूली, फर्जी दस्तावेज बनाने सहित अन्य प्रकरण भी शामिल हैं. यह भी आरोप लगाए गए थे कि ईसाई धर्म गुरु पीसी सिंह ने अपने सहयोगी पीटर बलदेव से मिलीभगत कर मिर्जापुर में दस करोड़ रुपये कीमती जमीन बेच दी थी. कुछ समय पहले प्रधानाचार्या क्राइस्ट चर्च कालेज, हजरतगज लखनऊ राकेश कुमार चत्री ने इस संबंध में थाना हजरतगंज लखनऊ को शिकायती पत्र भी सौंपा था. जिसमें बताया गया है कि पीटर बलदेव पूर्व में ईसाई धर्म गुरु था. उसके खिलाफ आपराधिक प्रकरण दर्ज हुए तो तत्कालीन चर्च आफ नार्थ इंडिया के पदाधिकारियों ने पीटर बलदेव को ईसाई धर्म गुरु पद से हटा दिया था. इसके बाद पीसी सिंह ईसाई धर्म गुरु बना. (Jablpur full story of Premchand becoming Christian cleric PC Singh)

जानिए करोड़पति ईसाई धर्म गुरु के यहां क्या क्या मिला अबतक :

● 1 करोड़ 65 लाख रुपए नकद
● करीब 18 हजार विदेशी मुद्रा
● 32 विदेशी हाथ की घड़ी
● 2 किलो सोना, कीमत करीब 90 लाख रुपये
● 9 लग्जरी कार,
● 90 लाख की डिस्कवरी कार भी मिली
● विजय नगर में स्कूल के नाम से ली जमीन
● काली कमाई से खुद का स्कूल भी बनाया
● शिक्षकों की सैलरी से भी लेता था कट
● स्कूल के नाम पर मिली जमीन का कमर्शियल इस्तेमाल होता था
● 17 सम्पत्तियों के दस्तावेज,
● 48 बैंक खातों की जानकारी

मूलतः बिहार का रहने वाला ईसाई धर्म गुरुः बताया जाता है कि ईसाई धर्म गुरु पीसी सिंह मूलत: बिहार के समस्तीपुर के ग्राम चंदसुररी का रहने वाला है. उसने वर्ष 1986 में जबलपुर सूबे में एक डायोकेसन कार्यकर्ता के रूप में काम शुरू किया. उसका विवाह नोरा सिंह से हुआ था. उनके दो बच्चे पीयूष और प्रियंका हैं. पीसी सिंह को 8 अप्रैल 1988 को क्राइस्ट चर्च कैथेड्रल, जबलपुर में एक डीकन के रूप में नियुक्त किया गया था. इसके बाद 10 अप्रैल 1990 को सेंट आगस्टीन चर्च बिलासपुर में एक प्रेस्बिटर के रूप में नियुक्त किया. वर्ष 1995-1999 तक चेस्ट चर्च आफ क्राइस्ट, सीएनआई जबलपुर का प्रेस्बिटर प्रभारी रहा. वर्ष 1999-2004 तक सेंट पॉल चर्च, घमापुर के प्रेस्बिटर प्रभारी रहा. 13 अप्रैल 2004 को जबलपुर के सूबा के चौथे बिशप के रूप में चुना गया था. 25 अप्रैल 2004 को क्राइस्ट चर्च कैथेड्रल सीएनआई, जबलपुर में बिशप बनाया गया था. (Jabalpur Bishop used chartered plane)

विभिन्न धाराओं में दर्ज हुआ है मामलाः EOW एसपी देवेंद्र प्रताप सिंह ने बताया की जाँच में शैक्षणिक संस्थाओं से वर्ष 2004-05 से वर्ष 2011-12 के बीच लगभग 2 करोड़ 70 लाख रुपये की राशि धार्मिक संस्थाओं को ट्रांसफर कर इसका दुर्विनियोग करना तथा स्वयं के उपयोग में लेकर गबन करने के आरोप प्रथम दृष्टया प्रमाणित पाये गये. शिकायत जाँच में आये साक्ष्यों के आधार पर आरोपी ईसाई धर्म गुरु पीसी सिंह, बीएस सोलंकी, तत्कालीन असिस्टेंट रजिस्ट्रार फर्म एण्ड संस्थाएं, जबलपुर के विरूद्ध धारा 406, 420, 468, 471, 120 बी का प्रकरण पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया. (Jabalpur Bishop used chartered plane to travel the world)

शुरू हुई सियासी उठापटकः इस कार्रवाई को लेकर अब सियासी उठा पटक भी शुरू हो गई है. ईसाई धर्म गुरु को लेकर भाजपा प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा ने मिशनरी संस्थाओं की जांच की मांग कर दी है. शर्मा ने कहा कि प्रदेश में कई जगह इस तरह की गतिविधियों को अंजाम दिया जा रहा है. जमीन किस उद्देश्य से दी गई इसकी जांच होना चाहिए. जबलपुर के अलावा प्रदेश में कई जगह ऐसे प्रकरण है. स्कूलों के नाम पर दी गई जमीन बेचीं तो नहीं जा रही इसकी भी जांच होना चाहिए. विधायक रामेश्वर शर्मा ने कहा कि कही इन पैसों का इस्तेमाल धर्मांतरण के लिए तो नहीं किया जा रहा था. सरकार इसकी जांच करें. साथ ही यह आरोप लगाया है कि प्रलोभन देकर गरीबों को धर्मांतरण के लिए प्रेरित किया जाता है. इन पैसों का उपयोग कहां होने वाला था सरकार को इसकी कड़ी जांच करनी चाहिए. वहीं पूरे मामले में कांग्रेस के पूर्व मंत्री पीसी शर्मा का कहना है कि सरकार का काम मदरसा मिशनरी पर छापा मारकर नफरत फैलाना है.

जबलपुर। EOW द्वारा भ्रष्ट अधिकारियों पर शिकंजा कसने का अभियान लगातार जारी है. आर्थिक अनियमितताओं में फँसे Bishop पीसी सिंह के मामले में EOW को कुछ अहम फोटोग्राफ्स मिले है. जिसको लेकर ये कयास लगाए जा रहे है कि Natwar Lal बिशप पीसी सिंह महँगे सैर सपाटे का शौकीन था. वह chartered plane से दुनियाभर की सैर करता था. EOW को मिली फोटोग्राफ्स भी जाँच के दायरे में आ गई है. EOW की टीम अब यह पता लगाने में जुटी हुई है कि Bishop पीसी सिंह आखिर किसके चार्टर्ड प्लेन से घूमता था. EOW प्लेन की तलाश के साथ सुबूत भी जुटा रही है. बीते 2 माह में जबलपुर EOW ने पांच कार्रवाई की है. इससे पहले जबलपुर में आरटीओ संतोष पॉल के बाद अब ईसाई धर्म गुरु पीसी सिंह के ठिकानों पर छापा मारा गया. दिन भर चली कार्यवाही के बाद EOW ने एक बड़ा खुलासा किया है. ईसाई धर्म गुरु के पास से EOW को जांच में 1 करोड़ 65 लाख रुपए नकद और 18 हजार डॉलर विदेशी मुद्रा मिली है. इतना ही नहीं उसके पास से 90 लाख रुपये की लक्जरी कार सहित 9 कार एवं दो किलो सोना मिला है. पीसी सिंह ने विजय नगर में काली कमाई से खुद का स्कूल भी बनाया है. साथ ही आफिस से संस्थाओं के दस्तावेजों के अतिरिक्त कुल 17 सम्पत्तियों के दस्तावेज व 48 बैंक खातों की जानकारी भी मिली है. जिसके बाद बैंकों से डिटेल निकाली जा रही है. कब और कितना पैसा कहां से आया और गया है. फिलहाल Natwar Lal पीसी सिंह जर्मनी में है. (Jabalpur Bishop used chartered plane)

Jabalpur Bishop used chartered plane
जबलपुर चार्टेड प्लेन से दुनिया की सैर करता था बिशप

फर्जी दस्तावेज का मास्टर माइंड है पीसी सिंहः मिली जानकारी के अनुसार पीसी सिंह फर्जी दस्तावेजों से संस्था का चेयरमैन बना था. इसके बाद उसने करोड़ों रुपये की हेराफेरी की. इसकी भनक लगने के बाद जबलपुर के द बोर्ड ऑफ एजुकेशन चर्च ऑफ नार्थ इंडिया के चेयरमैन ईसाई धर्म गुरु पीसी सिंह के घर पर EOW की टीम ने छापेमारी की थी. कार्यवाही के दौरान उप निरीक्षक विशाखा तिवारी द्वारा मामले में विवेचना के दौरान प्रकरण से संबंधित महत्वपूर्ण दस्तावेजों एवं गबन की राशि से अर्जित सम्पत्तियों की जानकारी जुटाने के लिए न्यायालय से विधिवत सर्च वारंट प्राप्त किया गया. जिसमें ईसाई धर्म गुरु के खिलाफ दो करोड़ 70 लाख रुपए की राशि धार्मिक संस्थाओं में ट्रांसफर करने और खुद के इस्तेमाल करने की शिकायतें मिली थी. शिकायत पर विगत 8 सितंबर को सुबह ईसाई धर्म गुरु पीसी सिंह के घर बिशप हाउस नेपियर टाउन जबलपुर एवं कार्यालय नेपियर टाउन में टीम कार्यवाही करने पहुँची थी. कार्यवाही के दौरान आर्थिक अपराध ब्यूरो की छापेमारी में ईसाई धर्म गुरु के घर से विदेशी मुद्रा सहित बड़ी तादाद में नकदी बरामद की थी. जिसे गिनने के लिए स्टेट बैंक ऑफ इंडिया की टीम मशीन लेकर Bishop के घर पहुंची है. दस्तावेजों की पड़ताल से लेकर नोटों के गिनने का काम शुरू किया गया. (Jabalpur Bishop used chartered plane to travel the world)

Jabalpur Bishop travel the world chartered plane
जबलपुर नटवर लाल बिशप के पास है करोड़ो की सम्पत्ति
ईसाई धर्मगुरु ने नटरवाल बनकर कई शहरों में की है धोखाधड़ीः आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ की छापेमारी के बाद सुर्खियों में आए द बोर्ड ऑफ एजुकेशन चर्च ऑफ नार्थ इंडिया के चेयरमैन ईसाई धर्म गुरु पीसी सिंह उर्फ प्रेमचंद सिंह के खिलाफ देश के अलग-अलग राज्यों में दिल्ली में तीन, यूपी में 42, राजस्थान में 24, झारखंड में तीन, मध्य प्रदेश में चार, छत्तीसगढ़ में तीन, महाराष्ट्र में 11, पंजाब में छह, पश्चिम बंगाल में एक, हरियाणा में एक सहित अन्य चार मिलाकर करीब 99 आपराधिक प्रकरण दर्ज हैं. जिनमें ज्यादातर मामले अमानत में खयानत के हैं. इनमें छेड़छाड़, अवैध वसूली, फर्जी दस्तावेज बनाने सहित अन्य प्रकरण भी शामिल हैं. यह भी आरोप लगाए गए थे कि ईसाई धर्म गुरु पीसी सिंह ने अपने सहयोगी पीटर बलदेव से मिलीभगत कर मिर्जापुर में दस करोड़ रुपये कीमती जमीन बेच दी थी. कुछ समय पहले प्रधानाचार्या क्राइस्ट चर्च कालेज, हजरतगज लखनऊ राकेश कुमार चत्री ने इस संबंध में थाना हजरतगंज लखनऊ को शिकायती पत्र भी सौंपा था. जिसमें बताया गया है कि पीटर बलदेव पूर्व में ईसाई धर्म गुरु था. उसके खिलाफ आपराधिक प्रकरण दर्ज हुए तो तत्कालीन चर्च आफ नार्थ इंडिया के पदाधिकारियों ने पीटर बलदेव को ईसाई धर्म गुरु पद से हटा दिया था. इसके बाद पीसी सिंह ईसाई धर्म गुरु बना. (Jablpur full story of Premchand becoming Christian cleric PC Singh)

जानिए करोड़पति ईसाई धर्म गुरु के यहां क्या क्या मिला अबतक :

● 1 करोड़ 65 लाख रुपए नकद
● करीब 18 हजार विदेशी मुद्रा
● 32 विदेशी हाथ की घड़ी
● 2 किलो सोना, कीमत करीब 90 लाख रुपये
● 9 लग्जरी कार,
● 90 लाख की डिस्कवरी कार भी मिली
● विजय नगर में स्कूल के नाम से ली जमीन
● काली कमाई से खुद का स्कूल भी बनाया
● शिक्षकों की सैलरी से भी लेता था कट
● स्कूल के नाम पर मिली जमीन का कमर्शियल इस्तेमाल होता था
● 17 सम्पत्तियों के दस्तावेज,
● 48 बैंक खातों की जानकारी

मूलतः बिहार का रहने वाला ईसाई धर्म गुरुः बताया जाता है कि ईसाई धर्म गुरु पीसी सिंह मूलत: बिहार के समस्तीपुर के ग्राम चंदसुररी का रहने वाला है. उसने वर्ष 1986 में जबलपुर सूबे में एक डायोकेसन कार्यकर्ता के रूप में काम शुरू किया. उसका विवाह नोरा सिंह से हुआ था. उनके दो बच्चे पीयूष और प्रियंका हैं. पीसी सिंह को 8 अप्रैल 1988 को क्राइस्ट चर्च कैथेड्रल, जबलपुर में एक डीकन के रूप में नियुक्त किया गया था. इसके बाद 10 अप्रैल 1990 को सेंट आगस्टीन चर्च बिलासपुर में एक प्रेस्बिटर के रूप में नियुक्त किया. वर्ष 1995-1999 तक चेस्ट चर्च आफ क्राइस्ट, सीएनआई जबलपुर का प्रेस्बिटर प्रभारी रहा. वर्ष 1999-2004 तक सेंट पॉल चर्च, घमापुर के प्रेस्बिटर प्रभारी रहा. 13 अप्रैल 2004 को जबलपुर के सूबा के चौथे बिशप के रूप में चुना गया था. 25 अप्रैल 2004 को क्राइस्ट चर्च कैथेड्रल सीएनआई, जबलपुर में बिशप बनाया गया था. (Jabalpur Bishop used chartered plane)

विभिन्न धाराओं में दर्ज हुआ है मामलाः EOW एसपी देवेंद्र प्रताप सिंह ने बताया की जाँच में शैक्षणिक संस्थाओं से वर्ष 2004-05 से वर्ष 2011-12 के बीच लगभग 2 करोड़ 70 लाख रुपये की राशि धार्मिक संस्थाओं को ट्रांसफर कर इसका दुर्विनियोग करना तथा स्वयं के उपयोग में लेकर गबन करने के आरोप प्रथम दृष्टया प्रमाणित पाये गये. शिकायत जाँच में आये साक्ष्यों के आधार पर आरोपी ईसाई धर्म गुरु पीसी सिंह, बीएस सोलंकी, तत्कालीन असिस्टेंट रजिस्ट्रार फर्म एण्ड संस्थाएं, जबलपुर के विरूद्ध धारा 406, 420, 468, 471, 120 बी का प्रकरण पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया. (Jabalpur Bishop used chartered plane to travel the world)

शुरू हुई सियासी उठापटकः इस कार्रवाई को लेकर अब सियासी उठा पटक भी शुरू हो गई है. ईसाई धर्म गुरु को लेकर भाजपा प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा ने मिशनरी संस्थाओं की जांच की मांग कर दी है. शर्मा ने कहा कि प्रदेश में कई जगह इस तरह की गतिविधियों को अंजाम दिया जा रहा है. जमीन किस उद्देश्य से दी गई इसकी जांच होना चाहिए. जबलपुर के अलावा प्रदेश में कई जगह ऐसे प्रकरण है. स्कूलों के नाम पर दी गई जमीन बेचीं तो नहीं जा रही इसकी भी जांच होना चाहिए. विधायक रामेश्वर शर्मा ने कहा कि कही इन पैसों का इस्तेमाल धर्मांतरण के लिए तो नहीं किया जा रहा था. सरकार इसकी जांच करें. साथ ही यह आरोप लगाया है कि प्रलोभन देकर गरीबों को धर्मांतरण के लिए प्रेरित किया जाता है. इन पैसों का उपयोग कहां होने वाला था सरकार को इसकी कड़ी जांच करनी चाहिए. वहीं पूरे मामले में कांग्रेस के पूर्व मंत्री पीसी शर्मा का कहना है कि सरकार का काम मदरसा मिशनरी पर छापा मारकर नफरत फैलाना है.

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