सिमडेगा: झारखंड के सिमडेगा मॉब लिंचिंग कांड (Simdega Mob Lynching) में नया मोड़ सामने आया है. मृतक संजू प्रधान की पत्नी सपना देवी ने सिमडेगा पुलिस पर बेहद गंभीर आरोप लगाए हैं. सपना देवी ने कहा कि गांव में पुलिस पहले से मौजूद थी और पुलिस की मौजूदगी में ही मॉब लिंचिंग की वारदात को अंजाम दिया गया. सपना देवी ने कहा कि पुलिसवालों के सामने गिड़गिड़ाते रहे लेकिन किसी पुलिसवाले ने कोई मदद नहीं की.
सिमडेगा में मंगलवार को उन्मादी भीड़ ने लकड़ी तस्करी का आरोप लगा एक युवक की पहले जमकर पिटाई की और फिर उसे जिंदा जला दिया. यह दिल दहला देने वाली वारदात कोलेबिरा थाना क्षेत्र के बेसराजरा बाजार में हुई थी. इस वारदात के वक्त बड़ी संख्या में ग्रामीण मौजूद थे. संजू प्रधान की पत्नी ने कहा कि वह भी वहां से 100 मीटर की दूरी पर थी. उसने लोगों को रोकने का प्रयास भी किया. उसने सिमडेगा पुलिस पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि जब भीड़ उसके पति को मार रही थी, तब पुलिस तमाशबीन बनकर बस देख रही थी. उसने पुलिसवालों के पैरों में गिरकर मदद करने की गुहार लगाई. वह अपने पति संजीव प्रधान को बार-बार बचाने के लिए चीखती चिल्लाती रही. लेकिन एक भी पुलिसवाले ने मदद करना जरूरी नहीं समझा. जिसका परिणाम था कि आक्रोशित भीड़ ने संजू प्रधान को मारकर जिंदा आग के हवाले कर दिया.
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इधर, मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के निर्देश पर जिला उपायुक्त सुशांत गौरव और पुलिस अधीक्षक शम्स तबरेज बेसराजारा गांव पहुंचे. उपायुक्त ने पीड़ित परिवार से मिलकर पूरी घटना की विस्तृत जानकारी प्राप्त की और हरसंभव मदद का भरोसा दिलाया. वहीं, उपायुक्त ने इस पूरे क्षेत्र का भ्रमण कर घटनास्थल और पीड़ित के घर का मुआयना किया.
घटना को लेकर कोलेबिरा पुलिस का कहना है कि मामले की सूचना मिलने पर वे लोग बेसराजारा गांव के बाजार की ओर जा रहे थे, तभी सैकड़ों की संख्या में मौजूद भीड़ ने उन्हें गांव में घुसने से रोक दिया था. जिसके बाद अन्य थानों से पुलिस बल मौके पर पहुंची. हालांकि तब तक काफी देर हो चुकी थी और आक्रोशित लोगों ने संजू को मारकर जिंदा जला दिया था.