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न्यू कॉलोनी उत्क्रमित उच्च विद्यालय की प्राचार्य को मिलेगा राष्ट्रपति पुरस्कार, उड़िया मध्य विद्यालय में किए थे बेहतर कार्य - राजकीय ओड़िया मध्य विद्यालय

सरायकेला के न्यू कॉलोनी उत्क्रमित उच्च विद्यालय की प्राचार्य को बेहतर शिक्षण कार्य के लिए राष्ट्रपति पुरस्कार दिया जाएगा, उन्होंने उड़िया मध्य विद्यालय को बेहतर बनाने में दिन रात मेहनत की थी. भारत सरकार ने इसके लिए एक पत्र प्राचार्य संध्या प्रधान को भेज दिया है. उन्हें शिक्षक दिवसे के अवसर पर इस पुरस्कार से नवाजा जाएगा.

प्राचार्य को मिलेगा राष्ट्रपति पुरस्कार
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Published : Aug 22, 2019, 10:18 PM IST

सरायकेला: जिले के आदित्यपुर स्थित न्यू कॉलोनी उत्क्रमित उच्च विद्यालय की प्राचार्य संध्या प्रधान ने राज्य का नाम रोशन किया है. उन्हें राजकीय उड़िया मध्य विद्यालय में बतौर शिक्षिका बेहतर शिक्षण कार्य के लिए राष्ट्रपति पुरस्कार से नवाजा जाएगा. यह पुरस्कार उन्हें शिक्षक दिवस (5 सितंबर) को दिया जाएगा.

देखें पूरी खबर

भारत सरकार ने इसके लिए एक पत्र प्राचार्य संध्या प्रधान को भेज दिया है, इनके अलावा राज्य से अन्य 2 शिक्षकों के नाम की अनुशंसा भी राज्य सरकार द्वारा की गई थी, लेकिन भारत सरकार ने संध्या प्रधान का चयन किया है. उन्हें दिल्ली में शिक्षक दिवस पर सम्मानित किया जाएगा.

इसे भी पढ़ें:- सरायकेला में सूचना और प्रसारण विभाग का विकास मेला, लोगों को सरकारी योजनाओं से कराया गया अवगत

उड़िया मध्य विद्यालय को बनाया मॉडल विद्यालय
प्राचार्य संध्या प्रधान ने वर्ष 2009 में आदित्यपुर स्थित राजकीय उड़िया मध्य विद्यालय के प्राचार्य की बागडोर संभाली थी, जिसके बाद उन्होंने महज दो कमरे में चल रहे स्कूल को मॉडल स्कूल बनाकर बुलंदी के शिखर तक पहुंचा दिया. आज स्कूल के छात्र - छात्राओं को सरकारी स्कूल होने के बावजूद निजी स्कूलों की तर्ज पर शिक्षा दी जा रही है .

शैक्षणिक स्तर में बेहतरीन कार्य के लिए राष्ट्रपति पुरस्कार का चयन
संध्या प्रधान ने उड़िया मध्य विद्यालय को बेहतर बनाने के लिए दिन रात मेहनत की थी. समाज के सदस्यों के साथ बैठक करने के अलावा विभागीय कार्यालय का रोजाना चक्कर लगाती थी, जिसके बाद वर्ष 2010 से विद्यालय के भवन निर्माण कार्य शुरू हुआ. वर्ष 2014 आते-आते विद्यालय में 20 कमरा बनकर तैयार हो गया. विद्यालय में योगदान देते समय विद्यार्थियों की संख्या 110 थी, जिसमें छात्रएं 21 प्रतिशत थी, लेकिन अब विद्यालय में 780 विद्यार्थी हैं, जिसमें 63 प्रतिशत छात्रएं हैं. स्कूल का शैक्षणिक माहौल सुधारने के साथ-साथ शिक्षिका संध्या ने विद्यालय को राज्य से लेकर राष्ट्रीय स्तर तक पहचान दिलाई.

राष्ट्रीय विद्यालय स्वच्छता के लिए मिला था पुरस्कार
राष्ट्रीय विद्यालय स्वच्छता पुरस्कार में उड़िया स्कूल को 5 स्टार रेटिंग मिला था, जिसके लिए वर्ष 2018 में एक लाख रुपया भी दिया गया था. वर्ष 2017 में भी यूनिसेफ द्वारा दिल्ली में आयोजित राष्ट्रीय स्तर की स्वच्छता पुरस्कार में इस विद्यालय को राष्ट्रीय स्तर पर दूसरा पुरस्कार मिला था. पुरस्कार प्राप्त करने वाला यह विद्यालय झारखंड का एकमात्र विद्यालय था. वहीं, इस स्कूल की छात्राएं नवोदय विद्यालय के साथ राष्ट्रीय स्तर की छात्रवृत्ति पुरस्कार के लिए कई बार चयनित हो चुकी है, जो की पुरे राज्य को अब गौरवान्वित कर रही है .

सरायकेला: जिले के आदित्यपुर स्थित न्यू कॉलोनी उत्क्रमित उच्च विद्यालय की प्राचार्य संध्या प्रधान ने राज्य का नाम रोशन किया है. उन्हें राजकीय उड़िया मध्य विद्यालय में बतौर शिक्षिका बेहतर शिक्षण कार्य के लिए राष्ट्रपति पुरस्कार से नवाजा जाएगा. यह पुरस्कार उन्हें शिक्षक दिवस (5 सितंबर) को दिया जाएगा.

देखें पूरी खबर

भारत सरकार ने इसके लिए एक पत्र प्राचार्य संध्या प्रधान को भेज दिया है, इनके अलावा राज्य से अन्य 2 शिक्षकों के नाम की अनुशंसा भी राज्य सरकार द्वारा की गई थी, लेकिन भारत सरकार ने संध्या प्रधान का चयन किया है. उन्हें दिल्ली में शिक्षक दिवस पर सम्मानित किया जाएगा.

इसे भी पढ़ें:- सरायकेला में सूचना और प्रसारण विभाग का विकास मेला, लोगों को सरकारी योजनाओं से कराया गया अवगत

उड़िया मध्य विद्यालय को बनाया मॉडल विद्यालय
प्राचार्य संध्या प्रधान ने वर्ष 2009 में आदित्यपुर स्थित राजकीय उड़िया मध्य विद्यालय के प्राचार्य की बागडोर संभाली थी, जिसके बाद उन्होंने महज दो कमरे में चल रहे स्कूल को मॉडल स्कूल बनाकर बुलंदी के शिखर तक पहुंचा दिया. आज स्कूल के छात्र - छात्राओं को सरकारी स्कूल होने के बावजूद निजी स्कूलों की तर्ज पर शिक्षा दी जा रही है .

शैक्षणिक स्तर में बेहतरीन कार्य के लिए राष्ट्रपति पुरस्कार का चयन
संध्या प्रधान ने उड़िया मध्य विद्यालय को बेहतर बनाने के लिए दिन रात मेहनत की थी. समाज के सदस्यों के साथ बैठक करने के अलावा विभागीय कार्यालय का रोजाना चक्कर लगाती थी, जिसके बाद वर्ष 2010 से विद्यालय के भवन निर्माण कार्य शुरू हुआ. वर्ष 2014 आते-आते विद्यालय में 20 कमरा बनकर तैयार हो गया. विद्यालय में योगदान देते समय विद्यार्थियों की संख्या 110 थी, जिसमें छात्रएं 21 प्रतिशत थी, लेकिन अब विद्यालय में 780 विद्यार्थी हैं, जिसमें 63 प्रतिशत छात्रएं हैं. स्कूल का शैक्षणिक माहौल सुधारने के साथ-साथ शिक्षिका संध्या ने विद्यालय को राज्य से लेकर राष्ट्रीय स्तर तक पहचान दिलाई.

राष्ट्रीय विद्यालय स्वच्छता के लिए मिला था पुरस्कार
राष्ट्रीय विद्यालय स्वच्छता पुरस्कार में उड़िया स्कूल को 5 स्टार रेटिंग मिला था, जिसके लिए वर्ष 2018 में एक लाख रुपया भी दिया गया था. वर्ष 2017 में भी यूनिसेफ द्वारा दिल्ली में आयोजित राष्ट्रीय स्तर की स्वच्छता पुरस्कार में इस विद्यालय को राष्ट्रीय स्तर पर दूसरा पुरस्कार मिला था. पुरस्कार प्राप्त करने वाला यह विद्यालय झारखंड का एकमात्र विद्यालय था. वहीं, इस स्कूल की छात्राएं नवोदय विद्यालय के साथ राष्ट्रीय स्तर की छात्रवृत्ति पुरस्कार के लिए कई बार चयनित हो चुकी है, जो की पुरे राज्य को अब गौरवान्वित कर रही है .

Intro:सरायकेला जिले के आदित्यपुर स्थित न्यू कॉलोनी उत्क्रमित उच्च विद्यालय की प्राचार्य संध्या प्रधान को अब 5 सितंबर को शिक्षक दिवस के मौके पर राष्ट्रपति पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा , यह सम्मान इन्हें राजकीय ओड़िया मध्य विद्यालय में बतौर शिक्षिका बेहतर शिक्षण कार्य के लिए दिया जाएगा.

Body:भारत सरकार ने इस आशय का पत्र प्राचार्य संध्या प्रधान को भेजा है , इनके अलावा राज्य से अन्य 2 शिक्षकों के नामों की अनुशंसा भी राज्य सरकार द्वारा की गई थी . इस बीच भारत सरकार ने संध्या प्रधान का चयन किया है और इन्हें अब दिल्ली में शिक्षक दिवस पर सम्मानित किया जाएगा.

उड़िया मध्य विद्यालय को बनाया मॉडल विद्यालय

प्राचार्य संध्या प्रधान ने वर्ष 2009 में आदित्यपुर स्थित राजकीय उड़िया मध्य विद्यालय के प्राचार्य की बागडोर संभाली थी , जिसके बाद इन्होंने लगातार महज दो कमरे में चल रहे स्कूल को मॉडल स्कूल बनाकर बुलंदी के शिखर तक पहुंचाया. नतीजतन आज यहां छात्र - छात्राओं को सरकारी स्कूल होने के बावजूद निजी स्कूलों की तर्ज पर शिक्षण व्यवस्था प्रदान की जा रही है .

शैक्षणिक स्तर में बेहतरीन कार्य के लिए राष्ट्रपति पुरस्कार का चयन

संध्या प्रधान ने उड़िया मध्य विद्यालय के विकास का खाका खींचा और इस कार्य में दिन रात में जुटी रही , समाज के सदस्यों व अन्य ग्रामीणों के साथ लगातार बैठक की। विभागीय कार्यालय का रोजाना चक्कर लगाया। वर्ष 2010 से विद्यालय के भवन निर्माण कार्य धीरे-धीरे प्रारंभ किया। वर्ष 2014 आते-आते यहाँ 20 कमरा बन गया। विद्यालय में योगदान देते समय विद्यार्थियों की संख्या 110 थी, छात्रएं 21 प्रतिशत थी। लेकिन अब इस विद्यालय में 780 विद्यार्थी है। इसमें 63 प्रतिशत छात्रएं हैं। स्कूल का शैक्षणिक माहौल सुधारने के साथ-साथ शिक्षिका संध्या ने विद्यालय को राज्य से लेकर राष्ट्रीय स्तर तक पहचान दिलाई।

Conclusion:राष्ट्रीय विद्यालय स्वच्छता पुरस्कार में मिले थे एक लाख रुपये ईनाम .

राष्ट्रीय विद्यालय स्वच्छता पुरस्कार में इस स्कूल को 5 स्टार रेटिंग के साथ वर्ष 2018 में एक लाख रुपया प्राप्त हो चुका है। वर्ष 2017 में यूनिसेफ द्वारा दिल्ली में आयोजित राष्ट्रीय स्तर की स्वच्छता पुरस्कार में इस विद्यालय को राष्ट्रीय स्तर पर दूसरा पुरस्कार मिला। पुरस्कार प्राप्त करने वाला यह विद्यालय झारखंड का एकमात्र विद्यालय था। वही इस स्कूल की छात्राए नवोदय विद्यालय के साथ राष्ट्रीय स्तर की छात्रवृत्ति पुरस्कार के लिए कई बार चयनित हो चुकी है जो की पुरे राज्य को अब गौरवान्वित कर रही है .

बाइट - संध्या प्रधान शिक्षिका .
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