ETV Bharat / state

सरायकेला में करम पूजा की धूम, विधि विधान से कर रहे पूजा अर्चना - Karam Puja, the traditional festival of Jharkhand

सरायकेला जिले में चारों ओर करम पूजा की धूम है. इस मौके पर करम गीत गाते हुए सामूहिक नृत्य भी किया.इस पर्व में महिलाएं कर्म वृक्ष की डाल की स्थापना करती हैं.

करम पूजा
करम पूजा
author img

By

Published : Aug 29, 2020, 4:31 AM IST

सरायकेला: जिले में इन दिनों करम पूजा की धूम है. खरसावां के बडाबांबो, उदालखाम, मोसोडीह, शहरबेडा,तेतुलटांड, सोखानडीह, छोटाबांबो, तेलायडीह, जोरडीहा, कृष्णापुर, कुचाई के मुंडादेव, बायांग, जिलंगदा, पोंडाकाटा, जोजोहातु समेत आस पास के गांवों शुक्रवार को में करम पूजा का आयोजन किया गया.

लोगों ने करम डाली गाड कर पूजा अर्चना किया. खेतों में तैयार फसल की रक्षा, पारिवारिक सुख, शांति, समृद्धि, धन अर्जन, अच्छी फसल के लिये लोगों ने उपवास रख कर करम देवता की आराधना की.

इस मौके पर सोशल डिस्टेंश बनाते हुए करम गीत गाते हुए सामूहिक नृत्य भी किया. इस दौरान क्षेत्र के प्रसिद्ध झूमर गायक संतोष महतो ने करम पर्व पर अपनी प्रस्तुति कोनो मासे कुंदुआ, कोनो मासे आम गे, हां हो भादर मासे करम राजार नाम गे... गीत पेश कर सभी को झूमाया.

इसके अलावा बड़ो दीदी, छोटो दीदी साजीके आवा, एकादशी करम दिन नाचो गे जावा... जैसे करम गीतों पर लोगों को थिरकते देखा गया.

कुर्मी सेवा संघ ने शारीरिक दूरी का अनुपालन कर महोत्सव मनाया. कोरोना वायरस से बचाव के लिए जारी पाबंदियों के बीच कांड्रा और आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों में प्रकृति पर्व करमा धूमधाम से मनाया गया.

यह भी पढ़ेंः झारखंडः 9वीं से 12वीं तक सिलेबस होगा छोटा, अधिसूचना जारी

इस अवसर पर कुर्मी सेवा संघ द्वारा कांड्रा मोड़ स्थित पानी टंकी के समीप अखाड़ा बनाया गया, जहां करम वृक्ष की डाल को गाड़ कर भक्तों ने पारंपरिक विधि विधान से पूजा-अर्चना की. इस दौरान उपस्थित सभी लोगों ने शारीरिक दूरी के नियमों का पालन करते हुए मास्क लगाए और ईश्वर से सुख शांति और समृद्धि की कामना की.

जिप सदस्य सुधीर महतो की अगुवाई में आयोजित इस कार्यक्रम में समाज के कई प्रबुद्ध लोग शामिल हुए. कुर्मी सेवा संघ द्वारा प्रत्येक वर्ष कांड्रा में धूमधाम से बड़े पैमाने पर करमा महोत्सव मनाया जाता रहा है.

झारखंडी संस्कृति की पहचान बन चुके इस पर्व में महिलाएं कर्म वृक्ष की डाल की स्थापना करती हैं और अपने भाइयों की लंबी उम्र की कामना करते हुए विधि विधान से पूजा अर्चना भी करती हैं .

सरायकेला: जिले में इन दिनों करम पूजा की धूम है. खरसावां के बडाबांबो, उदालखाम, मोसोडीह, शहरबेडा,तेतुलटांड, सोखानडीह, छोटाबांबो, तेलायडीह, जोरडीहा, कृष्णापुर, कुचाई के मुंडादेव, बायांग, जिलंगदा, पोंडाकाटा, जोजोहातु समेत आस पास के गांवों शुक्रवार को में करम पूजा का आयोजन किया गया.

लोगों ने करम डाली गाड कर पूजा अर्चना किया. खेतों में तैयार फसल की रक्षा, पारिवारिक सुख, शांति, समृद्धि, धन अर्जन, अच्छी फसल के लिये लोगों ने उपवास रख कर करम देवता की आराधना की.

इस मौके पर सोशल डिस्टेंश बनाते हुए करम गीत गाते हुए सामूहिक नृत्य भी किया. इस दौरान क्षेत्र के प्रसिद्ध झूमर गायक संतोष महतो ने करम पर्व पर अपनी प्रस्तुति कोनो मासे कुंदुआ, कोनो मासे आम गे, हां हो भादर मासे करम राजार नाम गे... गीत पेश कर सभी को झूमाया.

इसके अलावा बड़ो दीदी, छोटो दीदी साजीके आवा, एकादशी करम दिन नाचो गे जावा... जैसे करम गीतों पर लोगों को थिरकते देखा गया.

कुर्मी सेवा संघ ने शारीरिक दूरी का अनुपालन कर महोत्सव मनाया. कोरोना वायरस से बचाव के लिए जारी पाबंदियों के बीच कांड्रा और आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों में प्रकृति पर्व करमा धूमधाम से मनाया गया.

यह भी पढ़ेंः झारखंडः 9वीं से 12वीं तक सिलेबस होगा छोटा, अधिसूचना जारी

इस अवसर पर कुर्मी सेवा संघ द्वारा कांड्रा मोड़ स्थित पानी टंकी के समीप अखाड़ा बनाया गया, जहां करम वृक्ष की डाल को गाड़ कर भक्तों ने पारंपरिक विधि विधान से पूजा-अर्चना की. इस दौरान उपस्थित सभी लोगों ने शारीरिक दूरी के नियमों का पालन करते हुए मास्क लगाए और ईश्वर से सुख शांति और समृद्धि की कामना की.

जिप सदस्य सुधीर महतो की अगुवाई में आयोजित इस कार्यक्रम में समाज के कई प्रबुद्ध लोग शामिल हुए. कुर्मी सेवा संघ द्वारा प्रत्येक वर्ष कांड्रा में धूमधाम से बड़े पैमाने पर करमा महोत्सव मनाया जाता रहा है.

झारखंडी संस्कृति की पहचान बन चुके इस पर्व में महिलाएं कर्म वृक्ष की डाल की स्थापना करती हैं और अपने भाइयों की लंबी उम्र की कामना करते हुए विधि विधान से पूजा अर्चना भी करती हैं .

ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.