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कैसे पूरा होगा धान खरीदी का लक्ष्य? बदहाल धान क्रय केंद्र से स्टाफ और किसान नदारद - धान क्रय केंद्र

झारखंड में धान खरीदी 15 दिसंबर से शुरू हो चुकी है. साहिबगंज के महादेवगंज लैंपस का चयन इसके लिए किया गया है. लेकिन यहां की बदहाली की वजह से धान खरीदी शुरू नहीं हुई है. इसके अलावा एक और वजह से जिससे किसान यहां आने से कतरा रहे हैं. ईटीवी भारत की रिपोर्ट से जानिए आखिर क्या है वो वजह.

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झारखंड में धान खरीदी
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Published : Dec 18, 2021, 4:20 PM IST

Updated : Dec 18, 2021, 4:31 PM IST

साहिबगंजः जिला प्रशासन इस बार 21 लैंपस का चयन कर किसान को धान के बिक्री की सुविधा दे रही है. जिससे वो अपने नजदीकी केंद्र पर जाकर धान बेच सके. इसके साथ ही सरकार की योजना का लाभ शत-प्रतिशत ले सके. प्रशासन की ओर से भी ऐसे तमाम धान क्रय केंद्रों से धान खरीदी का लक्ष्य भी निर्धारित है.

इसे भी पढ़ें- अन्न पर डाका! मुख्यमंत्री के विधानसभा क्षेत्र बरहेट के लैम्पस से 1200 क्विंटल धान गायब

साहिबगंज में धान खरीदी के लिए चयनित 21 लैंपस में से एक महादेवगंज लैंपस भी है. लेकिन यहां का आलम ऐसा है कि धान खरीदी शुरू हुए तीन दिन गुजर चुके हैं. अब तक इस केंद्र से धान का एक दाना नहीं खरीदा गया. गेट बंद है, जर्जर हालत ऐसी कि मानों वर्षों से किसी ने यहां पैर नहीं रखे हैं. दफ्तर के नाम पर एक बदरंग जीर्ण-शीर्ण ढांचा है. सबसे बड़ी बात है कि धान क्रय केंद्र के गेट के बाहर कुत्ता से सावधान Danger Beware of Dog का बोर्ड लगा है. शायद ये भी वजह है कि किसान इस धान क्रय केंद्र में आने से कतरा रहे हैं.

देखें पूरी खबर

महादेवगंज लैंपस अध्यक्ष विष्णुदेव मंडल ने इस पर रोशन डालते हुए कहते हैं कि वर्षों से इस कमिटी को किसी तरह की सरकारी मदद नहीं मिली है. उन्होंने बताया कि वो कमिटी के अध्यक्ष हैं और पुत्र सचिव है पर उन्हें किसी तरह सुविधा अब तक नहीं मिली है, ना बैठने की जगह है ना धान तौलने की मशीन. दफ्तर के बंद रहने से वहां असामाजिक तत्वों का भी जमावड़ा रहता है. धान खरीदी को लेकर पूछे गए सवाल पर महादेवगंज लैंपस अध्यक्ष विष्णुदेव बताते हैं कि अभी तो किसानों ने धान काटा ही नहीं है, धान अब तक पहुंचा नहीं है जनवरी के महीने से धान की खरीदी शुरू होगी. लैंपस में कुत्ता और गेट पर Beware of Dog के बोर्ड को लेकर उन्होंने कहा कि ऐसी कोई बात नहीं वहां कोई कुत्ता नहीं है, अगर है तो उसे वहां से निकाल दिया जाएगा.

इस पूरे मामले पर ईटीवी भारत ने जिला सहकारिता पदाधिकारी नरेंद्र कुमार दास से फोन पर बात की. जिसमें महादेवगंज लैंपस की बदहाली को लेकर सवाल किए गए साथ ही दफ्तर में कुत्ता रखने की बात भी पूछी गयी. इन सवालों पर जिला सहकारिता पदाधिकारी ने कहा कि उनके संज्ञान में यह मामला नहीं आया है, आपके माध्यम के जानकारी मिली है. इस पर जांच कर निश्चित रुप से महादेवगंज लैंपस कमिटी पर कार्रवाई की जाएगी.

इसे भी पढ़ें- झारखंड में धान खरीद की शुरुआत, 50 फीसदी राशि का तुरंत भुगतान, 90 दिनों में मिलेंगे बाकी पैसे

क्या ऐसे पूरा होगा धान खरीदी का लक्ष्य

धान खरीदी 15 दिसंबर से शुरू हो चुकी है. इस बार किसानों से अधिकतम 200 क्विंटल ही लिए जाएंगे. इस साल धान की बंपर फसल को देखते हुए 80 लाख क्विंटल धान खरीदी का लक्ष्य रखा गया है. इस साल हर प्रखंडों के लैंपस में कुल 562 धान क्रय केंद्र बनाया गया है. इन केंद्रों पर किसान सरकार के निर्धारित दर पर धान बेच सकते हैं. इस वर्ष 2021-22 के दौरान 2 लाख 14 हजार 087 निबंधित किसान हैं जो राज्यभर के धान क्रय केंद्र पर धान बेच सकेंगे. लेकिन ऐसी कोताही रही तो राज्य सरकार धान खरीदी का लक्ष्य कैसे हासिल कर पाएगा, ये एक बड़ा सवाल है.

साहिबगंजः जिला प्रशासन इस बार 21 लैंपस का चयन कर किसान को धान के बिक्री की सुविधा दे रही है. जिससे वो अपने नजदीकी केंद्र पर जाकर धान बेच सके. इसके साथ ही सरकार की योजना का लाभ शत-प्रतिशत ले सके. प्रशासन की ओर से भी ऐसे तमाम धान क्रय केंद्रों से धान खरीदी का लक्ष्य भी निर्धारित है.

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साहिबगंज में धान खरीदी के लिए चयनित 21 लैंपस में से एक महादेवगंज लैंपस भी है. लेकिन यहां का आलम ऐसा है कि धान खरीदी शुरू हुए तीन दिन गुजर चुके हैं. अब तक इस केंद्र से धान का एक दाना नहीं खरीदा गया. गेट बंद है, जर्जर हालत ऐसी कि मानों वर्षों से किसी ने यहां पैर नहीं रखे हैं. दफ्तर के नाम पर एक बदरंग जीर्ण-शीर्ण ढांचा है. सबसे बड़ी बात है कि धान क्रय केंद्र के गेट के बाहर कुत्ता से सावधान Danger Beware of Dog का बोर्ड लगा है. शायद ये भी वजह है कि किसान इस धान क्रय केंद्र में आने से कतरा रहे हैं.

देखें पूरी खबर

महादेवगंज लैंपस अध्यक्ष विष्णुदेव मंडल ने इस पर रोशन डालते हुए कहते हैं कि वर्षों से इस कमिटी को किसी तरह की सरकारी मदद नहीं मिली है. उन्होंने बताया कि वो कमिटी के अध्यक्ष हैं और पुत्र सचिव है पर उन्हें किसी तरह सुविधा अब तक नहीं मिली है, ना बैठने की जगह है ना धान तौलने की मशीन. दफ्तर के बंद रहने से वहां असामाजिक तत्वों का भी जमावड़ा रहता है. धान खरीदी को लेकर पूछे गए सवाल पर महादेवगंज लैंपस अध्यक्ष विष्णुदेव बताते हैं कि अभी तो किसानों ने धान काटा ही नहीं है, धान अब तक पहुंचा नहीं है जनवरी के महीने से धान की खरीदी शुरू होगी. लैंपस में कुत्ता और गेट पर Beware of Dog के बोर्ड को लेकर उन्होंने कहा कि ऐसी कोई बात नहीं वहां कोई कुत्ता नहीं है, अगर है तो उसे वहां से निकाल दिया जाएगा.

इस पूरे मामले पर ईटीवी भारत ने जिला सहकारिता पदाधिकारी नरेंद्र कुमार दास से फोन पर बात की. जिसमें महादेवगंज लैंपस की बदहाली को लेकर सवाल किए गए साथ ही दफ्तर में कुत्ता रखने की बात भी पूछी गयी. इन सवालों पर जिला सहकारिता पदाधिकारी ने कहा कि उनके संज्ञान में यह मामला नहीं आया है, आपके माध्यम के जानकारी मिली है. इस पर जांच कर निश्चित रुप से महादेवगंज लैंपस कमिटी पर कार्रवाई की जाएगी.

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क्या ऐसे पूरा होगा धान खरीदी का लक्ष्य

धान खरीदी 15 दिसंबर से शुरू हो चुकी है. इस बार किसानों से अधिकतम 200 क्विंटल ही लिए जाएंगे. इस साल धान की बंपर फसल को देखते हुए 80 लाख क्विंटल धान खरीदी का लक्ष्य रखा गया है. इस साल हर प्रखंडों के लैंपस में कुल 562 धान क्रय केंद्र बनाया गया है. इन केंद्रों पर किसान सरकार के निर्धारित दर पर धान बेच सकते हैं. इस वर्ष 2021-22 के दौरान 2 लाख 14 हजार 087 निबंधित किसान हैं जो राज्यभर के धान क्रय केंद्र पर धान बेच सकेंगे. लेकिन ऐसी कोताही रही तो राज्य सरकार धान खरीदी का लक्ष्य कैसे हासिल कर पाएगा, ये एक बड़ा सवाल है.

Last Updated : Dec 18, 2021, 4:31 PM IST
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