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साहिबगंज: किसानों को मिलेगी बाढ़ में बर्बाद फसल की क्षतिपूर्ति, प्रशासन ने शुरू किया सर्वे

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Published : Sep 11, 2021, 2:06 PM IST

साहिबगंज में किसानों को बाढ़ की वजह से बर्बाद हुई फसल का मुआवजा मिलेगा. इसके लिए प्रशासन ने सर्वे शुरू कर दिया है. रिपोर्ट आने के बाद किसानों को राशि दी जाएगी.

Crop ruined in Sahibganj
साहिबगंज में फसल बर्बाद

साहिबगंज: किसानों के लिए एक अच्छी खबर है. किसानों को बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में डूबी हुई फसल की क्षतिपूर्ति मिलेगी. इसके लिए जिला प्रशासन की तरफ से सर्वे का काम शुरू कर दिया गया है. सर्वे रिपोर्ट आने के बाद आपदा विभाग से किसानों को राशि मिलेगी.

यह भी पढ़ें: पाकुड़ के लिए अब शहर में ही तैयार होंगे बेकरी उत्पाद, प. बंगाल पर खत्म होगी निर्भरता

साहिबगंज में गंगा अभी भी खतरे के निशान से ऊपर बह रहीं हैं. हालांकि, हर दिन गंगा का जलस्तर घट रहा है. बाढ़ आने से सबसे अधिक नुकसान किसानों को हुआ है. दियारा क्षेत्र में हजारों एकड़ जमीन पर खड़ी भदई फसल, मक्का, बाजरा आदि बर्बाद हो गई. निचले इलाकों में बाढ़ का पानी घुसने से कई एकड़ जमीन पर धान की फसल भी बर्बाद हो गई. ऐसी स्थिति में किसान आर्थिक रूप से कमजोर हो गए हैं.

किसानों को जल्द मिलेगी राहत

किसानों को क्षतिपूर्ति धान और मक्का के डूबने पर मिलता है. बाजरा या अन्य फसल के लिए प्रावधान नहीं है. एक किसान ने कहा कि दियारा क्षेत्र बाढ़ से प्रभावित है. लेकिन अभी तक किसान को लाभ नहीं मिला है. उपायुक्त ने ईटीवी भारत को बताया कि दियारा क्षेत्र में हजारों एकड़ में लगी मक्का की फसल डूब चुकी है. निश्चित रूप से किसान की मुश्किलें बढ़ी हैं लेकिन जिला प्रशासन द्वारा सभी अंचलाधिकारी को सर्वे करने का आदेश दिया गया है ताकि किसान को फसल को क्षतिपूर्ति दी जा सके.

देखें पूरी खबर

उपायुक्त ने बताया कि सदर प्रखंड के सभी पंचायत, राजमहल और उधवा प्रखंड के सभी पंचायत और तालझारी प्रखंड का आंशिक क्षेत्र बाढ़ से प्रभावित था. सर्वे का काम चल रहा है. एक बार रिपोर्ट आने के बाद राज्य सरकार को क्षतिपूर्ति राशि दिलाने के लिए भेजा जाएगा ताकि जल्द किसानों को राहत दी जा सके.

साहिबगंज: किसानों के लिए एक अच्छी खबर है. किसानों को बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में डूबी हुई फसल की क्षतिपूर्ति मिलेगी. इसके लिए जिला प्रशासन की तरफ से सर्वे का काम शुरू कर दिया गया है. सर्वे रिपोर्ट आने के बाद आपदा विभाग से किसानों को राशि मिलेगी.

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साहिबगंज में गंगा अभी भी खतरे के निशान से ऊपर बह रहीं हैं. हालांकि, हर दिन गंगा का जलस्तर घट रहा है. बाढ़ आने से सबसे अधिक नुकसान किसानों को हुआ है. दियारा क्षेत्र में हजारों एकड़ जमीन पर खड़ी भदई फसल, मक्का, बाजरा आदि बर्बाद हो गई. निचले इलाकों में बाढ़ का पानी घुसने से कई एकड़ जमीन पर धान की फसल भी बर्बाद हो गई. ऐसी स्थिति में किसान आर्थिक रूप से कमजोर हो गए हैं.

किसानों को जल्द मिलेगी राहत

किसानों को क्षतिपूर्ति धान और मक्का के डूबने पर मिलता है. बाजरा या अन्य फसल के लिए प्रावधान नहीं है. एक किसान ने कहा कि दियारा क्षेत्र बाढ़ से प्रभावित है. लेकिन अभी तक किसान को लाभ नहीं मिला है. उपायुक्त ने ईटीवी भारत को बताया कि दियारा क्षेत्र में हजारों एकड़ में लगी मक्का की फसल डूब चुकी है. निश्चित रूप से किसान की मुश्किलें बढ़ी हैं लेकिन जिला प्रशासन द्वारा सभी अंचलाधिकारी को सर्वे करने का आदेश दिया गया है ताकि किसान को फसल को क्षतिपूर्ति दी जा सके.

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उपायुक्त ने बताया कि सदर प्रखंड के सभी पंचायत, राजमहल और उधवा प्रखंड के सभी पंचायत और तालझारी प्रखंड का आंशिक क्षेत्र बाढ़ से प्रभावित था. सर्वे का काम चल रहा है. एक बार रिपोर्ट आने के बाद राज्य सरकार को क्षतिपूर्ति राशि दिलाने के लिए भेजा जाएगा ताकि जल्द किसानों को राहत दी जा सके.

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