रांची: 2015 में झारखंड पुलिस के लिए 7200 की नियुक्ति निकली थी. लेकिन सरकार ने 4000 लोगों की नियुक्ति की थी और बाकी तीन हजार अभ्यर्थियों को मेधा सूची जल्द से जल्द जारी करने का आश्वासन दिया गया था. लेकिन विगत 5 वर्षों में 3000 अभ्यर्थियों की नियुक्ति ना होने की वजह से सभी अभ्यर्थी नाराज हैं. मोरहाबादी मैदान में ये लोग धरना प्रदर्शन पर बैठे है. जिनमें से पांच सफल अभ्यर्थी अनशन पर हैं, जिसमें से दो की तबीयत ज्यादा खराब हो गई, जिसके बाद जिला प्रशासन ने दो अभ्यर्थियों को सदर अस्पताल में भर्ती कराया है.
क्या है आरोप
अभ्यर्थियों का आरोप है कि सरकार का कोई भी प्रतिनिधि अभ्यर्थियों का हालचाल लेने नहीं आया और न ही सरकार की तरफ से कोई नोटिफिकेशन हो रहा है. इस वजह से वो धरना पर बैठे. इससे पहले अभ्यार्थियों की ओर से भिक्षाटन का भी कार्यक्रम किया गया था.
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पैसे देकर मिलती है नौकरी
पुलिस बल की भर्ती परीक्षा में सफल अभ्यर्थी सेकंड मेरिट लिस्ट जारी करने की मांग को लेकर रांची में धरन पर बैठे हुए हैं. इनका कहना है कि जब तक सरकार उनकी मांग नहीं मानती है, तब तक यह धरना पर बैठे रहेंगे. इन्होंने झारखंड सरकार पर आरोप लगाया कि सरकार एक तरफ नक्सलियों को मुख्यधारा में शामिल करने के लिए फूल गुलदस्ता से स्वागत करती है, पैसा देकर नौकरी देती है. लेकिन दूसरी तरफ राज्य के युवा नौकरी की मांग को लेकर धरना पर बैठे रहते हैं. लेकिन सरकार गंभीर नहीं होती है और न ही हाल-चाल लेने आती है