रांची: झारखंड ग्रामीण विकास विभाग की सचिव आराधना पटनायक ने राज्यभर के 100 आजीविका संकुल संगठन की महिलाओं से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए विकास कार्यों पर चर्चा की. उन्होंने महिलाओं को कोविड एंबेसेडर बनाकर त्योहार मनाने के लिए प्रोत्साहित किया, साथ ही बताया जब तक कोरोना की दवाई नहीं आ जाती, तब तक बस दो ही दवा है, मास्क का उपयोग और उचित दूरी का पालन करना, जिसका दीदियों को कड़ाई से पालन करना चाहिए.
ऑनलाइन चर्चा का उद्देश्य दीदियों से गांव के विकास की बात करना, विभिन्न योजनाओं से जुड़ने, हर ग्रामीण गरीब परिवार को आजीविका से जोड़ने के लिए प्रेरित करना और त्योहारों के मौसम में कोविड-19 के खतरे को देखते हुए जागरूक करना था. ग्रामीण विकास की सचिव ने दीदियों को स्वच्छता और कुपोषण पर विशेष ध्यान देने को कहा, साथ ही घर के आसपास साफ-सफाई रखने और नियमित तौर पर हाथ धोने के लिए गांव में जागरूकता लाने की बात कही है. उन्होंने आजीविका संवर्धन हुनर अभियान के तहत सखी मंडल की महिलाओं को आजीविका से विभिन्न साधनों से जोड़ने के कार्य पर संतोष जाहिर की है. उन्होंने दीदियों से कहा कि संकुल संगठन की सभी दीदियों को एक और एक से अधिक आजीविका के साधनों से जोड़कर संकुल संगठन को मजबूत बनाया जा सकता है और गांव की उन्नति की जा सकती है.
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झारखंड में ग्रामीण विकास विभाग के तहत झारखंड स्टेट लाइवलीहुड प्रमोशन सोसाइटी संपोषित 2.52 लाख सखी मंडल हैं. लगभग 790 आजीविका संकुल संगठन हैं. एक संकुल संगठन में करीब 2 से ढाई हजार परिवार जुड़े होते हैं, जो सखी मंडल की उच्च संस्था है. राज्य में 31 लाख से अधिक ग्रामीण महिलाएं सखी मंडल से जुड़ी हैं.