रांचीः झारखंड में ईडी के हत्थे चढ़े ग्रामीण विकास विभाग के मुख्य अभियंता बिरेंद्र राम को लेकर राज्य की राजनीति गरमा गई है और आरोप-प्रत्यारोप तेज हो गया है. झारखंड बीजेपी विधायक दल के नेता बाबूलाल मरांडी ने इस मामले में मुख्यमंत्री को चिट्ठी लिखी है और करोडों रुपये की अकूत संपत्ति अर्जित करने वाले चीफ इंजीनियर को संरक्षण देने वालों पर कार्रवाई की मांग की है.
मुख्य अभियंता को सुरक्षा गार्ड देने के लिए ग्रामीण विकास मंत्री ने जीडीपी को लिखी चिट्ठी थी, जो चर्चा में है. न्यायिक हिरासत में भेजे गए मुख्य अभियंता मामले में ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम ने ईटीवी भारत से बातचीत में कहा कि जब से महागठबंधन की सरकार बनीं है, तब से भाजपा के निशाने पर हैं.
मंत्री ने कहा कि आज जिस मामले में ईडी जांच कर रही है, वह साल 2019 में बिरेन्द्र राम के खिलाफ एसीबी में दर्ज मामले की कड़ी है. साल 2019 में महागठबंधन की नहीं, बल्कि भाजपा की सरकार थी. वर्तमान में मुख्य अभियंता के खिलाफ ईडी की जांच को कर रही है. इस मामले में मेरा कोई लेना देना नहीं है. वर्ष 2019 में भी एसीबी ने इस अभियंता के पास से ढाई करोड़ रुपये बरामद किया था.
आलमगीर आलम ने कहा कि हमारे विभाग में सैकड़ों इंजीनियर कार्यरत हैं. कौन क्या करता है, वह हम नहीं जानते हैं. हमें सिर्फ योजनाओं के क्रियान्वयन से मतबल है. उन्होंने कहा कि विपक्ष के टारगेट पर हम है. इसलिए मेरा नाम जोड़ दिया जाता है. लेकिन सही बात अंत मे सामने आ ही जायेगा.
कांग्रेस विधायक दल के नेता आलमगीर आलम ने कहा कि रामगढ़ में एनडीए की ओर से आजसू उम्मीदवार की हार और महागठबंधन की ओर से कांग्रेस उम्मीदवार बजरंग महतो की जीत तय है. उन्होंने कहा कि 2 मार्च को नतीजा सबके सामने होगा. उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में 25, 26 और 27 फरवरी को अखिल भारतीय कांग्रेस कमिटी का अधिवेशन होना है. रामगढ़ विधानसभा उपचुनाव को देखते हुए अधिवेशन में शामिल नहीं होंगे. बता दें कि रायपुर में कांग्रेस के अधिवेशन होने वाला है, जिसमें एआईसीसी और राज्यों के पीसीसी के डेलीगेट्स शामिल होंगे. रामगढ़ विधानसभा उपचुनाव को देखते हुए राज्य के कई वरीय नेता अधिवेशन में शामिल नहीं होंगे.