रांचीः 1932 खतियान आधारित स्थानीयता की मांग को लेकर सत्तारूढ़ दल झारखंड मुक्ति मोर्चा (जेएमएम) में सब कुछ ठीक नहीं लग रहा है. यही वजह है कि जेएमएम विधायक लोबिन हेम्ब्रम की नाराजगी खुलकर सामने आ गई. लोबिन हेम्ब्रम ने शुक्रवार को सदन के भीतर और बाहर सरकार के खिलाफ नाराजगी व्यक्त करते हुए बयान दिया, उससे राज्य की राजनीति गरमा गई है.
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जेएमएम विधायक के बयान आने के बाद झारखंड बीजेपी के साथ साथ आजसू को लगता है कि सत्तारूढ़ दल के अंदर बढ़ रहा असंतोष कम होने के बजाय बढ़ेगा. हालांकि, जेएमएम के भीतर उठे इस चिंगारी को शांत करने की कोशिश की जा रही है. बीजेपी विधायक समरीलाल ने कहा है कि यह आग अभी थमने वाला नहीं हैं, बल्कि यह आगे और बढे़गा. उन्होंने झामुमो के चुनावी घोषणा पत्र को याद दिलाते हुए कहा कि 1932 खतियान आधारित स्थानीय नीति का क्या हुआ?
बीजेपी के फीलगुड पर कांग्रेस और झारखंड मुक्ति मोर्चा ने पलटवार करते हुए कहा है कि सबकुछ जल्द ही खत्म हो जायेगा. कांग्रेस नेता शमशेर आलम ने कहा कि लोबिन हेम्ब्रम की नाराजगी का कोई खास असर सरकार पर नहीं पड़ेगा. वहीं, झामुमो नेता मनोज पांडे ने लोबिन हेम्ब्रम की भावना का सम्मान करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन स्थानीय और नियोजन नीति जैसे मुद्दे पर गंभीर हैं और शीघ्र ही स्थानीय नीति लागू किया जाएगा.