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डुमरी का चुनावी जंग: झामुमो के गढ़ में सेंध लगाने की तैयारी में एनडीए, उम्मीदवारी पर सस्पेंस बरकरार - डुमरी में आजसू का प्रत्याशी

चुनाव आयोग की ओर से डुमरी उपचुनाव की घोषणा हो गई है. 5 सितंबर को मतदान होना है. राजनीतिक दल अपनी जीत पक्की करने में जुट गए हैं. एक तरफ एनडीए इस सीट को जीतने की कोशिश में है तो दूसरी तरफ सत्ताधारी दल अपनी सीट बचाने के लिए जोर लगाए हुए है.

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Published : Aug 9, 2023, 9:59 PM IST

Updated : Aug 9, 2023, 10:14 PM IST

कांग्रेस-बीजेपी के विधायकों के बयान

रांची: डुमरी विधानसभा उपचुनाव के लिए चुनावी डुगडुगी बजते ही सियासत तेज हो गई है. 5 सितंबर को होने वाले इस विधानसभा उपचुनाव पर सबकी नजरें टिकी हुई हैं. सत्तारूढ़ दल के लिए यह चुनाव लिटमस टेस्ट की तरह है. वहीं, विपक्ष के लिए यह चुनाव किसी प्रतिष्ठा से कम नहीं है. इस सीट को जीतने के लिए सत्तारूढ़ दल झारखंड मुक्ति मोर्चा ने पिछले कुछ दिनों से तैयारियां शुरू कर दी थी अब चुनाव की घोषणा होने के बाद यह तैयारियां कितना रंग लाता है वो समय ही बतायेगा.

ये भी पढ़ें- डुमरी में बजी चुनावी डुगडुगी, जयराम महतो की क्या होगी भूमिका, क्या है झारखंडी भाषा खतियान संघर्ष समिति की तैयारी

हालांकि, सत्तारूढ़ दल झारखंड मुक्ति मोर्चा, कांग्रेस और राजद को उम्मीद है कि दिवंगत शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो की क्षेत्र में रही छवि और सरकार के कामकाज के आधार पर जनता एक बार फिर झारखंड मुक्ति मोर्चा के प्रत्याशी बेबी देवी को प्रचंड वोट देकर जीताने का काम करेगी. कांग्रेस विधायक राजेश कच्छप कहते हैं कि डुमरी की जनता हर हाल में बेबी देवी को वोट देकर जगरनाथ दा को श्रद्धासुमन अर्पित करेगी. यूपीए पूरी ताकत के साथ इस चुनाव को लड़ेगा.

एनडीए में असमंजस की स्थिति बरकरार: डुमरी विधानसभा उपचुनाव के बहाने झारखंड मुक्ति मोर्चा के गढ में एनडीए सेंध लगाने की तैयारी में है. हालांकि बीजेपी-आजसू के बीच प्रत्याशी किसका होगा अभी तक तय नहीं हो पाया है लेकिन दोनों दलों के बीच एक साथ चुनाव लड़ने की सहमति बन चुकी है. आजसू प्रवक्ता देवशरण भगत का मानना है कि दोनों दलों के बीच प्रत्याशी के मुद्दे पर जल्द ही फैसले होंगे. आजसू की ओर से भी अपनी दावेदारी एनडीए के अंदर रखी गई है. संभावना है कि एक दो दिनों के अंदर इस पर निर्णय हो जाए.

भाजपा विधायक सीपी सिंह का मानना है कि प्रत्याशी का निर्णय करना भाजपा केंद्रीय नेतृत्व का काम है. प्रदेश भाजपा और आजसू के बीच जो भी निर्णय होगा उसके अनुसार से काम किया जाएगा. मगर इतना तो साफ है कि डुमरी में एनडीए पूरी ताकत से चुनाव लड़ेगी. सरकार की सफलता को जनता तक ले जाने की कोशिश एनडीए के द्वारा होगी.

डुमरी सीट पर झामुमो का रहा है कब्जा: डुमरी विधानसभा सीट पर झारखंड मुक्ति मोर्चा का लंबे समय से कब्जा रहा है. इस सीट पर 2005 से लगातार दिवंगत शिक्षा मंत्री जगन्नाथ महतो जीतते रहे हैं. 2005 में राजद के टिकट पर चुनाव मैदान में खड़े लालचंद महतो को हराकर जगन्नाथ महतो ने जो जीत दर्ज की वह पिछले विधानसभा चुनाव 2019 तक जारी रहा. 2019 के विधानसभा चुनाव में आजसू के यशोदा देवी दूसरे नंबर पर रही थी. इस चुनाव में आजसू और बीजेपी अलग-अलग चुनाव मैदान में उतरे थे. तीसरे नंबर पर रहे भाजपा प्रत्याशी प्रदीप साहू को इस चुनाव में 36,013 वोट आए थे जबकि यशोदा देवी दूसरे नंबर पर रहकर 36,840 वोट लाई थी. इस चुनाव में जगन्नाथ महतो को 71 128 वोट आए थे.

कांग्रेस-बीजेपी के विधायकों के बयान

रांची: डुमरी विधानसभा उपचुनाव के लिए चुनावी डुगडुगी बजते ही सियासत तेज हो गई है. 5 सितंबर को होने वाले इस विधानसभा उपचुनाव पर सबकी नजरें टिकी हुई हैं. सत्तारूढ़ दल के लिए यह चुनाव लिटमस टेस्ट की तरह है. वहीं, विपक्ष के लिए यह चुनाव किसी प्रतिष्ठा से कम नहीं है. इस सीट को जीतने के लिए सत्तारूढ़ दल झारखंड मुक्ति मोर्चा ने पिछले कुछ दिनों से तैयारियां शुरू कर दी थी अब चुनाव की घोषणा होने के बाद यह तैयारियां कितना रंग लाता है वो समय ही बतायेगा.

ये भी पढ़ें- डुमरी में बजी चुनावी डुगडुगी, जयराम महतो की क्या होगी भूमिका, क्या है झारखंडी भाषा खतियान संघर्ष समिति की तैयारी

हालांकि, सत्तारूढ़ दल झारखंड मुक्ति मोर्चा, कांग्रेस और राजद को उम्मीद है कि दिवंगत शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो की क्षेत्र में रही छवि और सरकार के कामकाज के आधार पर जनता एक बार फिर झारखंड मुक्ति मोर्चा के प्रत्याशी बेबी देवी को प्रचंड वोट देकर जीताने का काम करेगी. कांग्रेस विधायक राजेश कच्छप कहते हैं कि डुमरी की जनता हर हाल में बेबी देवी को वोट देकर जगरनाथ दा को श्रद्धासुमन अर्पित करेगी. यूपीए पूरी ताकत के साथ इस चुनाव को लड़ेगा.

एनडीए में असमंजस की स्थिति बरकरार: डुमरी विधानसभा उपचुनाव के बहाने झारखंड मुक्ति मोर्चा के गढ में एनडीए सेंध लगाने की तैयारी में है. हालांकि बीजेपी-आजसू के बीच प्रत्याशी किसका होगा अभी तक तय नहीं हो पाया है लेकिन दोनों दलों के बीच एक साथ चुनाव लड़ने की सहमति बन चुकी है. आजसू प्रवक्ता देवशरण भगत का मानना है कि दोनों दलों के बीच प्रत्याशी के मुद्दे पर जल्द ही फैसले होंगे. आजसू की ओर से भी अपनी दावेदारी एनडीए के अंदर रखी गई है. संभावना है कि एक दो दिनों के अंदर इस पर निर्णय हो जाए.

भाजपा विधायक सीपी सिंह का मानना है कि प्रत्याशी का निर्णय करना भाजपा केंद्रीय नेतृत्व का काम है. प्रदेश भाजपा और आजसू के बीच जो भी निर्णय होगा उसके अनुसार से काम किया जाएगा. मगर इतना तो साफ है कि डुमरी में एनडीए पूरी ताकत से चुनाव लड़ेगी. सरकार की सफलता को जनता तक ले जाने की कोशिश एनडीए के द्वारा होगी.

डुमरी सीट पर झामुमो का रहा है कब्जा: डुमरी विधानसभा सीट पर झारखंड मुक्ति मोर्चा का लंबे समय से कब्जा रहा है. इस सीट पर 2005 से लगातार दिवंगत शिक्षा मंत्री जगन्नाथ महतो जीतते रहे हैं. 2005 में राजद के टिकट पर चुनाव मैदान में खड़े लालचंद महतो को हराकर जगन्नाथ महतो ने जो जीत दर्ज की वह पिछले विधानसभा चुनाव 2019 तक जारी रहा. 2019 के विधानसभा चुनाव में आजसू के यशोदा देवी दूसरे नंबर पर रही थी. इस चुनाव में आजसू और बीजेपी अलग-अलग चुनाव मैदान में उतरे थे. तीसरे नंबर पर रहे भाजपा प्रत्याशी प्रदीप साहू को इस चुनाव में 36,013 वोट आए थे जबकि यशोदा देवी दूसरे नंबर पर रहकर 36,840 वोट लाई थी. इस चुनाव में जगन्नाथ महतो को 71 128 वोट आए थे.

Last Updated : Aug 9, 2023, 10:14 PM IST
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