रांची/दिल्ली: इन्वेस्टर समिट के पहले दिन बिजनेस टू गवर्नमेंट मीटिंग में मुख्यमंत्री ने टाटा समूह, हुंडई मोटर्स, होंडा, मारुति सुजुकी, डालमिया सीमेंट, एनटीपीसी, वेदांता के शीर्ष नेतृत्व के साथ भाग लिया. इस दौरान स्टील ऑटोमोबाइल, ई-व्हीकल्स, सीमेंट, पावर, ऑयल एंड गैस के क्षेत्र में निवेश को लेकर चर्चा की गई.
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के साथ बैठक में कई कंपनियों ने झारखंड में निवेश करने का प्लान शेयर किया. बीएसएल के प्रभारी डायरेक्टर अमरेंदु प्रकाश ने अगले तीन साल में गुआ माइन्स में चार हजार करोड़ के निवेश की इच्छा जताई है. इसके तहत गुआ माइन्स के कैपेसिटी को चार एमटी से बढ़ाकर 10 एमटी करने की बात कही गई है. वहीं चार एमटी के नए प्लांट स्थापित करने की बात कही गई है.
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दिल्ली के इन्वेस्टर समिट में टाटा स्टील ने भी अगले तीन साल में तीन हजार करोड़ के निवेश का प्लान मुख्यमंत्री के साने रखा है. टाटा कंपनी तीन साल में झारखंड में कोयला और आयरन माइन्स का विस्तार करेगी. इसके साथ ही स्टील प्रोडक्श के क्षेत्र में विस्तार करने की मंशा टाटा स्टील ने जताई है.
आधुनिक पावर एंड नेचुरल रिसोर्सेज लिमिटेड ने सरायकेला के कांड्रा में 1900 कोरोड़ के निवेश का प्रस्ताव सरकार के सामने रखा है. इधर देश सेब से बड़ी स्टील निर्माता कंपनी सेल (स्टील ऑथरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड) राज्य में 5,000 करोड़ रुपए का निवेश करेगी. इन्वेस्टर समिट के पहले दिन की बैठक के दौरान डालमिया सीमेंट समूह ने झारखंड में 500 करोड़ रूपए निवेश करने की सहमति जताई है.
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पहले दिन की बैठक में झारखंड की उद्योग विभाग की सचिव पूजा सिंघल ने निवेशकों को प्रस्तावित इलेक्ट्रिक वाहन नीति के तहत प्रोत्साहन और प्रावधानों के बारे में बताया. उन्होंने कहा कि सरकार कंपनियों को स्टांप शुल्क और पंजीकरण शुल्क में 100 फीसदी छूट प्रदान करने जा रही है, साथ ही जो कंपनी इलेक्ट्रिक वन क्षेत्र में EV नीति के लॉन्च होने के बाद से पहले 2 वर्षों के भीतर निवेश करते हैं, उन्हें जियाडा की ओर से 50% अनुदान पर भूमि उपलब्ध कराई जाएगी. एमएसएमई के लिए 7 साल के लिए जीएसटी पर 100% प्रोत्साहन जबकि बड़े और वृहद उद्योगों के लिए 9 और 13 वर्ष के लिए छूट का प्रावधान है. इसके अतिरिक्त वाहन पंजीकरण शुल्क से 100% और रोड टैक्स 100% छूट का प्रावधान है.