रांचीः झारखंड के राज्यपाल सीपी राधाकृष्णन ने जस्टिस संजय कुमार मिश्रा को झारखंड के चीफ जस्टिस के रूप में शपथ दिलाई. उन्होंने झारखंड उच्च न्यायालय के 14वें मुख्य न्यायाधीश के रूप में शपथ ली. रांची में राजभवन के बिरसा मंडप में शपथ ग्रहण समारोह का आयोजन किया गया. जिसमें मुख्यमंत्री हेमंत, मंत्री मिथिलेश ठाकुर समेत हाई कोर्ट के तमाम जज और न्यायिक पदाधिकारी मौजूद रहे.
संजय कुमार मिश्रा के झारखंड उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश बनने पर राज्यपाल सीपी राधाकृष्णन और मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने उनको गुलदस्ता देकर शुभकामनाएं दीं. बिरसा मंडप में शपथ ग्रहण समारोह से पहले झारखंड सरकार के मुख्य सचिव सुखदेव सिंह ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की ओर से जारी अधिसूचना को पढ़ा. जिसके बाद शपथ ग्रहण समारोह शुरू किया गया. झारखंड हाई कोर्ट में न्यायाधीशों की स्वीकृत संख्या 25 है, इसमें मौजूदा समय में झारखंड हाई कोर्ट में जजों की संख्या चीफ जस्टिस को मिलाकर कुल 21 है.
बता दें कि इससे पहले कोलेजियम की 13 दिसंबर को हुई बैठक में उत्तराखंड हाई कोर्ट के न्यायाधीश संजय कुमार मिश्रा के नाम की सिफारिश हुई थी. जिसके बाद 17 फरवरी ने कोलेजियम की सिफारिश को अपनी मंजूरी दे दी. झारखंड उच्च न्यायालय की स्थापना 2000 में हुई थी. हाई कोर्ट राज्य की राजधानी रांची में है.
झारखंड में अब तक के चीफ जस्टिसः झारखंड हाई कोर्ट के पहले चीफ जस्टिस विनोद कुमार गुप्ता, 5 दिसंबर 2000-4 मार्च 2003, पी. के. बालासुब्रमण्यन, 10 मार्च 2003-26 अगस्त 2004, अल्तमस कबीर, 1 मार्च 2005-8 सितंबर 2005, नेलावॉय दिनाकर, 4 दिसंबर 2005-9 जून 2006, एम. करपगा विनयागम, 17 सितंबर 2006-15 मई 2008, ज्ञान सुधा मिश्रा, 13 जुलाई 2008-30 अप्रैल 2010, भगवती प्रसाद, 22 अगस्त 2010-12 मई 2011,
इसके अलावा प्रकाश चंद्र टाटिया, 11 सितंबर 2011-3 अगस्त 2013, आर भानुमति, 16 नवंबर 2013-12 अगस्त 2014, वीरेंद्र सिंह, 1 नवंबर 2014-6 अक्टूबर 2016, प्रदीप कुमार मोहंती, 24 मार्च 2017-9 जून 2017, अनिरुद्ध बोस, 11 अगस्त 2018-23 मई 2019 और चीफ जस्टिस रवि रंजन का कार्यकाल 17 नवंबर 2019 से 19 दिसंबर 2022 तक रहा. संजय कुमार मिश्रा ने 14वें चीफ जस्टिस के रूप में 20 फरवरी 2023 को शपथ ली.
हाई कोर्ट का नया भवनः झारखंड उच्च न्यायालय का पुराना भवन डोरंडा इलाके में नेपाल हाउस के पास स्थित है. लेकिन इसके नए भवन को मंजूरी दे दी गई है. धुर्वा इलाके के एचईसी इंडस्ट्रियल कॉम्प्लेक्स के पास 165 एकड़ जमीन दी गई है, जिसका इस्तेमाल हाई कोर्ट के विकास, जजों और वकीलों के चैंबर के लिए एक आवासीय परिसर के विकास के लिए किया जा रहा है. इस परियोजना की अनुमानित लागत लगभग 460 करोड़ रुपए. इस परिसर में एक हजार की सीट क्षमता वाला एक सभागार, चार सम्मेलन कक्ष, आठ समिति बैठक हॉल, महाधिवक्ता और सरकारी वकील के लिए अलग भवन भी बनाया जा रहा है. झारखंड उच्च न्यायालय ने 15 दिसंबर 2021 को सोशल मीडिया यूट्यूब पर वर्चुअल सुनवाई की लाइव कार्यवाही शुरू की. झारखंड उच्च न्यायालय यूट्यूब पर अपनी कार्यवाही की लाइव स्ट्रीमिंग शुरू करने वाला देश का छठा हाई कोर्ट है.
झारखंड उच्च न्यायालय की स्थापनाः बिहार के पटना उच्च न्यायालय के पत्र पेटेंट के खंड 36 के तहत 6 मार्च 1972 को रांची में पटना उच्च न्यायालय की एक सर्किट बेंच की स्थापना की गई. पटना उच्च न्यायालय (रांची में स्थायी पीठ की स्थापना) अधिनियम 1976 (1976 का अधिनियम 57) की ओर से 8 अप्रैल 1976 को सर्किट बेंच पटना उच्च न्यायालय की स्थायी पीठ बन गयी. यह स्थायी पीठ आखिर में झारखंड उच्च न्यायालय बन गई. 5 नवंबर 2000 को बिहार से अलग होकर झारखंड राज्य का पुनर्गठन हुआ और राजधानी से हाई कोर्ट मूर्त रूप में आया.
5 दिसंबर 2000 को विनोद कुमार गुप्ता ने अलग झारखंड के पहले चीफ जस्टिस के रूप में शपथ ली. इसके बाद प्रदेश के 14वें मुख्य न्यायाधीश के रूप में संजय कुमार मिश्रा ने सोमवार 20 फरवरी 2023 को शपथ ली. चीफ जस्टिस से पहले रवि रंजन झारखंड हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश के रूप में 17 नवंबर 2019 को पदभार संभाला और 19 दिसंबर 2022 को उनका कार्यकाल खत्म हुआ था.