रांचीः चारा घोटाला मामले में सजायाफ्ता राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव के रिम्स निदेशक के बंगले में लालू के लोगों से मिलने पर सियासत गर्म हो गई है. इस पर भड़की बीजेपी ने राजद सुप्रीमो को वीआईपी ट्रीटमेंट दिए जाने पर सवाल उठाए हैं. बीजेपी के प्रदेश प्रवक्ता प्रतुल शाहदेव ने मंगलवार को कहा कि इलाज के बहाने रिम्स निदेशक के बंगले में रह रहे राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद के सामने राज्य सरकार ने घुटने टेक दिए हैं. उन्होंने आरोप लगाया कि हेमंत सोरेन सरकार लालू प्रसाद के मामले में 'राजधर्म' नहीं 'लालू धर्म' निभा रही है.
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बंगले में एकत्र किया जा रहा बायोडाटा
प्रदेश प्रवक्ता शाहदेव ने कहा कि रोज खबर आती है कि बिहार से सैकड़ों नेता लॉकडाउन का उल्लंघन कर बिना परमिशन के झारखंड में प्रवेश कर रहे हैं. वहीं रांची में लालू प्रसाद जिस बंगले में कैद हैं, वहां बिहार से आनेवाले लोगों का जमावड़ा लग रहा है. सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ रही हैं. उन्होंने आरोप लगाया कि यहां बिहार चुनाव के मद्देनजर लोगों का बायोडाटा भी कलेक्ट किया जा रहा है.
रिम्स निदेशक के बंगले से किया जा रहा चुनावी कार्य
शाहदेव ने आरोप लगाया कि रिम्स निदेशक का बंगला राजद के प्रधान चुनावी कार्यालय के रूप में काम कर रहा है. हैरत की बात यह है कि सरकार इस मुद्दे पर मौन है. बीजेपी प्रवक्ता ने कहा कि इस मुद्दे पर झारखंड हाई कोर्ट में एक पीआईएल भी दाखिल की गई है. उन्होंने कहा कि उम्मीद है कि कोर्ट इस मुद्दे पर संज्ञान लेकर सरकार को कानून का पालन कराने का निर्देश देगी क्योंकि राज्य सरकार ने सत्ता के लिए लालू प्रसाद के सामने घुटने टेक दिए हैं. प्रदेश की महागठबंधन सरकार में झारखंड मुक्ति मोर्चा, कांग्रेस के अलावा राजद की भी हिस्सेदारी है. राजद के इकलौते विधायक सत्यानंद भोक्ता राज्य सरकार में श्रम मंत्री हैं.