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त्रिपक्षीय समझौता और सीएम के काफिले पर हमला मामले में क्या बोले बाबूलाल मरांडी - Protest against police action in Kishoreganj

आरबीआई और केंद्रीय ऊर्जा मंत्रालय के बीच हुए समझौते से सीएम सोरेन को खुद को अलग करने के मामले में भाजपा विधायक दल के नेता बाबूलाल मरांडी ने प्रतिक्रिया दी है. मरांडी ने कहा कि सरकार क्या कर रही है उससे कोई मतलब नहीं है. लोगों को हर हाल में बिजली चाहिए.

बाबूलाल मरांडी
बाबूलाल मरांडी
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Published : Jan 7, 2021, 7:34 PM IST

Updated : Jan 7, 2021, 7:48 PM IST

रांचीः हेमंत सरकार ने बिजली की बकाया राशि की वसूली को लेकर आरबीआई और केंद्रीय ऊर्जा मंत्रालय के बीच हुए समझौते से खुद को अलग कर लिया है. सरकार के इस फैसले पर जब प्रदेश भाजपा विधायक दल के नेता बाबूलाल मरांडी से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि अभी इस पर कुछ नहीं कहूंगा. थोड़े दिन बाद इस पर जवाब दूंगा. बाबूलाल मरांडी ने कहा कि सरकार क्या कर रही है उससे कोई मतलब नहीं है. लोगों को हर हाल में बिजली चाहिए.

प्रतिक्रिया देते बाबूलाल मरांडी.

उन्होंने कहा कि जब वह झारखंड के मुख्यमंत्री हुआ करते थे तब कई निजी कंपनी के लोग उनसे मिलकर बिजली खरीद की पेशकश करते थे. बदले में पार्टी फंड में सहयोग की बात करते थे, लेकिन मैंने ऐसा कभी नहीं किया क्योंकि निजी कंपनियों की बिजली महंगी थी और सरकारी कंपनियों की बिजली सस्ती.

अब यही देखना है कि मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन झारखंड की जनता को कहां से और कैसे बिजली पहुंचाते हैं. यह पूछे जाने पर कि बिजली बकाया मद की वैसी राशि काटी जा रही थी जो कल्याणकारी काम के लिए 15वें वित्त आयोग की तरफ से मिलती थी.

जबकि राज्य सरकार का दावा है कि केंद्र सरकार खुद उसका कई मद में बकाया पड़ा हुआ है. उसको भी एडजस्ट किया जा सकता था. इस पर बाबूलाल मरांडी ने कहा कि सिर्फ बोलने से बात नहीं बनती है. अगर राज्य सरकार मानती है कि केंद्र सरकार के पास उसके पैसे पड़े हुए हैं तो वह विभागवार राशि का जिक्र करते हुए श्वेत पत्र जारी करें.

यह भी पढ़ेंः सांसद दीपक प्रकाश ने सीएम सोरेन पर साधा निशाना, कहा- किसान विरोधी है झारखंड सरकार

बाबूलाल मरांडी ने खुलकर कहा कि किशोरगंज इलाके में भाजपा की जबरदस्त पकड़ है. इस बात को सभी जानते हैं. लेकिन जिस तरह से पुलिस बर्ताव कर रही है वह सही नहीं है.

उन्होंने कहा कि क्या पुलिस के पास ऐसा कोई वीडियो है जिसमें कोई पत्थर चलाते या पुलिस पर डंडा चलाते दिख रहा है. अगर ऐसा है तो वैसे लोगों को चिन्हित कर कार्रवाई की जानी चाहिए. उन्होंने कहा कि अगर लोग अपनी बात रखना चाह रहे थे तो सीएम को खुद रुकना चाहिए था लेकिन वह भाग निकले.

रांचीः हेमंत सरकार ने बिजली की बकाया राशि की वसूली को लेकर आरबीआई और केंद्रीय ऊर्जा मंत्रालय के बीच हुए समझौते से खुद को अलग कर लिया है. सरकार के इस फैसले पर जब प्रदेश भाजपा विधायक दल के नेता बाबूलाल मरांडी से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि अभी इस पर कुछ नहीं कहूंगा. थोड़े दिन बाद इस पर जवाब दूंगा. बाबूलाल मरांडी ने कहा कि सरकार क्या कर रही है उससे कोई मतलब नहीं है. लोगों को हर हाल में बिजली चाहिए.

प्रतिक्रिया देते बाबूलाल मरांडी.

उन्होंने कहा कि जब वह झारखंड के मुख्यमंत्री हुआ करते थे तब कई निजी कंपनी के लोग उनसे मिलकर बिजली खरीद की पेशकश करते थे. बदले में पार्टी फंड में सहयोग की बात करते थे, लेकिन मैंने ऐसा कभी नहीं किया क्योंकि निजी कंपनियों की बिजली महंगी थी और सरकारी कंपनियों की बिजली सस्ती.

अब यही देखना है कि मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन झारखंड की जनता को कहां से और कैसे बिजली पहुंचाते हैं. यह पूछे जाने पर कि बिजली बकाया मद की वैसी राशि काटी जा रही थी जो कल्याणकारी काम के लिए 15वें वित्त आयोग की तरफ से मिलती थी.

जबकि राज्य सरकार का दावा है कि केंद्र सरकार खुद उसका कई मद में बकाया पड़ा हुआ है. उसको भी एडजस्ट किया जा सकता था. इस पर बाबूलाल मरांडी ने कहा कि सिर्फ बोलने से बात नहीं बनती है. अगर राज्य सरकार मानती है कि केंद्र सरकार के पास उसके पैसे पड़े हुए हैं तो वह विभागवार राशि का जिक्र करते हुए श्वेत पत्र जारी करें.

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बाबूलाल मरांडी ने खुलकर कहा कि किशोरगंज इलाके में भाजपा की जबरदस्त पकड़ है. इस बात को सभी जानते हैं. लेकिन जिस तरह से पुलिस बर्ताव कर रही है वह सही नहीं है.

उन्होंने कहा कि क्या पुलिस के पास ऐसा कोई वीडियो है जिसमें कोई पत्थर चलाते या पुलिस पर डंडा चलाते दिख रहा है. अगर ऐसा है तो वैसे लोगों को चिन्हित कर कार्रवाई की जानी चाहिए. उन्होंने कहा कि अगर लोग अपनी बात रखना चाह रहे थे तो सीएम को खुद रुकना चाहिए था लेकिन वह भाग निकले.

Last Updated : Jan 7, 2021, 7:48 PM IST
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