रांची: साल 2018 में झारखंड पुलिस में सब इंस्पेक्टर में बहाल होने वाली संध्या टोपनो की हत्या कर दी गई. मंगलवार की रात तुपुदाना में पशु तस्करों ने झारखंड की एक आदिवासी बेटी सब इंस्पेक्टर संध्या को मार डाला. बताया जा रहा है अपराधी पकड़े गए हैं. संध्या की हत्या के बाद उनके बैचमेट और दूसरे पुलिसकर्मियों में भारी आक्रोश है. सब ने यह मांग की है कि आरोपियों को स्पीडी ट्रायल के तहत सजा दिलवाई जाए.
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संध्या को आधी रात को आया था फोन: पूरा झारखंड पशु तस्करी के लिए बदनाम है. पशु तस्करी की वजह से ही झारखंड में बड़े-बड़े कांड होते रहे हैं. पशु तस्करी की वजह से धनबाद में एक इंस्पेक्टर रैंक के अधिकारी ने आत्महत्या तक कर ली थी लेकिन, यह पहली बार हुआ है जब पशु तस्करों का दुस्साहस इतना बढ़ गया कि उन्होंने महिला सब इंस्पेक्टर संध्या की हत्या कर डाली. मंगलवार की रात तकरीबन 1:45 पर संध्या को तुपुदाना ओपी प्रभारी कन्हैया सिंह ने फोन कर यह जानकारी दी कि गुमला के बसिया से कुछ अपराधी रांची की तरफ भागे हैं जिनका गुमला पुलिस भी पीछा कर रही है.
चेंकिग के दौरान हुई घटना: सूचना मिलने पर आनन-फानन में संध्या अपने ड्राइवर और एक सिपाही के साथ वाहनों की चेकिंग में लग गई. चेकिंग के दौरान उजले रंग के पिकअप वैन को संध्या ने रोका और ड्राइवर के चेहरे पर टॉर्च जलाकर संध्या ने उसे बाहर निकलने को कहा लेकिन, अचानक ड्राइवर ने एक्सीलेटर तेज कर दी. इससे पहले कि संध्या अलर्ट को पाती पशु तस्करों ने उन्हें पिकअप वैन से कुचल डाला.
मौके पर ही हो गई थी मौत: पशु तस्करों ने संध्या को इतनी जोरदार टक्कर मारी थी कि मौके पर ही उनकी मौत हो गई थी. 5 फीट 9 इंच की हाइट वाली महिला सब इंस्पेक्टर संध्या शारीर से भी ताकतवर थी लेकिन, 100 से ज्यादा की स्पीड से ठोककर तस्करों ने उनकी जान ले ली. संध्या के साथ मौजूद पुलिस ने बताया कि मैडम की मौत मौके पर ही हो गई थी. हालांकि, फिर भी वे उनके जिंदा रहने की उम्मीद लेकर अस्पताल गए थे.
उठ रहे सवाल: पूरे मामले को लेकर सवाल भी उठ रहे हैं. सवाल यह है कि आखिरकार क्यों एक महिला सब इंस्पेक्टर को आधी रात ड्यूटी पर लगाया गया. वह भी तब जब तुपुदाना ओपी को नक्सल प्रभावित इलाके जैसा थाना माना जाता है. संध्या के मौत के बाद परिवार वाले भी यह सवाल उठा रहे हैं कि एक महिला को रात की ड्यूटी देना कहां तक उचित है.
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दो बहनें थी संध्या: साल 2018 में झारखंड पुलिस में सब इंस्पेक्टर के पद पर बहाल होने वाली संध्या के सर से पिता का साया साल 2016 में ही उठ गया था. उनकी बड़ी बहन सीमा जो एक हाउसवाइफ हैं उन्होंने ही पुलिस की नौकरी के लिए उन्हें तैयार किया था. वहीं संध्या का एक छोटा भाई भी है जो पेयजल विभाग में नौकरी करता है. संध्या के छोटे भाई अजीत ने बताया कि वह मंगलवार की रात 11:00 बजे अपनी बहन को तुपुदाना थाना छोड़ कर आया था. भाई के अनुसार संध्या दीदी को हर रोज थाना पहुंचाना उसी की जिम्मेवारी थी.
बिशप डोरंडा और गोस्सनर कॉलेज से हुई थी पढ़ाई: संध्या के परिवार वालों ने बताया कि वह बचपन से ही पढ़ने में काफी तेज थी. रांची के नामी स्कूलों में शुमार बिशप वेस्टकाट से उसने 10th पास किया था. उसके बाद उसने गोस्सनर कॉलेज से पढ़ाई की. कॉलेज की पढ़ाई करने के बाद उसने रांची यूनिवर्सिटी से एमबीए भी कंप्लीट किया था.