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स्थानीय नीति पर राजनीतिः 23 सितंबर से पदयात्रा कर राज्यपाल को ज्ञापन सौंपने का आजसू का ऐलान

झारखंड में स्थानीय नीति को लेकर एक बार फिर से सियासत गरमा गयी (politics over local policy) है. इसको लेकर आजसू सुप्रीमो सुदेश महतो ने प्रेस वार्ता कर ऐलान किया है कि 23 सितंबर से राज्य के 81 विधानसभा से हर दिन पार्टी कार्यकर्ता पदयात्रा कर राज्यपाल को ज्ञापन सौंपेंगे (AJSU will submit memorandum to Governor) और राज्य सरकार पर 1932 खतियान आधारित स्थानीय नीति लागू करने का दबाव बनाएंगे.

AJSU will submit memorandum to Governor regarding local policy in Jharkhand
आजसू
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Published : Sep 13, 2022, 1:34 PM IST

रांचीः आजसू सुप्रीमो सुदेश महतो (AJSU supremo Sudesh Mahto) ने झारखंड में 1932 खतियान आधारित स्थानीय नीति लागू (1932 Khatian Based Local Policy) करने की मांग तेज कर दी है. इसको लेकर 23 सितंबर विनोद बिहारी महतो की जयंती से प्रत्येक दिन प्रदेश के 81 विधानसभा से आजसू कार्यकर्ता रांची पदयात्रा कर राज्यपाल को ज्ञापन सौंपेंगे. मंगलवार को रांची में प्रेस वार्ता कर पार्टी प्रमुख ने इसका ऐलान किया है.


इसे भी पढ़ें- विधानसभा अध्यक्ष रबींद्र नाथ महतो का बयानः हेमंत सरकार ने 1932 खतियान लागू करने का लिया है फैसला

राज्य में एक बार फिर 1932 खतियान पर स्थानीय नीति बनाने की मांग तेज हो गई है. झारखंड विधानसभा के विशेष सत्र के दौरान मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन द्वारा सदन में दिए गए संकेत के बाद स्पीकर रवींद्रनाथ महतो का सोमवार को जामताड़ा में दिए बयान से सरकार द्वारा इस दिशा में कदम उठाये जाने की संभावना बढ़ गई है. इन सबके बीच आजसू प्रमुख सुदेश महतो ने 1932 के आधार पर झारखंड में स्थानीय नीति लागू करने की मांग को लेकर 23 सितंबर विनोद बिहारी महतो की जयंती से प्रत्येक दिन हर विधानसभा क्षेत्र से कार्यकर्ताओं द्वारा रांची पदयात्रा कर ज्ञापन राज्यपाल को (AJSU will submit memorandum to Governor) सौंपने की घोषणा की है.

आजसू सुप्रीमो सुदेश महतो

मंगलवार को आजसू कार्यालय में मीडियाकर्मियों को संबोधित करते हुए आजसू प्रमुख ने कहा कि मुख्यमंत्री की कथनी और करनी में अंतर जगजाहिर है. पहले उन्होंने चुनाव के वक्त जनता से 1932 खतियान पर स्थानीय नीति (local policy in Jharkhand) बनाने का वादा कर वोट लिया, फिर सत्ता में आने के बाद जो काम तीन महीने में करना था, उसे तीन वर्ष में भी नहीं किया. जब दबाव बढ़ने लगा तो सदन में स्थानीय नीति खतियान आधारित संभव नहीं होने की बात कही. इसके बाद विशेष सत्र बुलाया गया तो उन्होंने स्थानीय नीति बनाने के संकेत सदन में देकर चले गए. सुदेश महतो ने कहा कि आजसू पार्टी शुरू से ही 1932 खतियान के आधार पर स्थानीय नीति की मांग करती रही है. इसलिए सरकार पर दबाव बनाने के लिए राज्यपाल को प्रत्येक दिन आजसू कार्यकर्ता हर एक विधानसभा क्षेत्र से रांची पदयात्रा कर ज्ञापन सौंपने का काम करेंगे.

जातीय जनगणना के बाद हो ओबीसी आरक्षण तय- सुदेश महतोः आजसू प्रमुख सुदेश महतो ने कहा कि जातीय जनगणना कराने बाद सरकार ओबीसी आरक्षण तय करें. इस संबंध में वो राज्यपाल से मिलकर मांग पत्र सौंपेंगे. उन्होंने कहा कि जातीय जनगणना के बाद यह साफ हो जाएगा कि राज्य में किन जातियों की कितनी आबादी है और बाद में आरक्षण का दायरा भी उसी हिसाब से तय किया जाए. आजसू कार्यालय में मीडियाकर्मियों से बात करते हुए सुदेश महतो ने कहा कि आजसू का एक शिष्टमंडल जल्द ही राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मिलकर सरना धर्म कोड को लागू करने की मांग करेगा.

रांचीः आजसू सुप्रीमो सुदेश महतो (AJSU supremo Sudesh Mahto) ने झारखंड में 1932 खतियान आधारित स्थानीय नीति लागू (1932 Khatian Based Local Policy) करने की मांग तेज कर दी है. इसको लेकर 23 सितंबर विनोद बिहारी महतो की जयंती से प्रत्येक दिन प्रदेश के 81 विधानसभा से आजसू कार्यकर्ता रांची पदयात्रा कर राज्यपाल को ज्ञापन सौंपेंगे. मंगलवार को रांची में प्रेस वार्ता कर पार्टी प्रमुख ने इसका ऐलान किया है.


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राज्य में एक बार फिर 1932 खतियान पर स्थानीय नीति बनाने की मांग तेज हो गई है. झारखंड विधानसभा के विशेष सत्र के दौरान मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन द्वारा सदन में दिए गए संकेत के बाद स्पीकर रवींद्रनाथ महतो का सोमवार को जामताड़ा में दिए बयान से सरकार द्वारा इस दिशा में कदम उठाये जाने की संभावना बढ़ गई है. इन सबके बीच आजसू प्रमुख सुदेश महतो ने 1932 के आधार पर झारखंड में स्थानीय नीति लागू करने की मांग को लेकर 23 सितंबर विनोद बिहारी महतो की जयंती से प्रत्येक दिन हर विधानसभा क्षेत्र से कार्यकर्ताओं द्वारा रांची पदयात्रा कर ज्ञापन राज्यपाल को (AJSU will submit memorandum to Governor) सौंपने की घोषणा की है.

आजसू सुप्रीमो सुदेश महतो

मंगलवार को आजसू कार्यालय में मीडियाकर्मियों को संबोधित करते हुए आजसू प्रमुख ने कहा कि मुख्यमंत्री की कथनी और करनी में अंतर जगजाहिर है. पहले उन्होंने चुनाव के वक्त जनता से 1932 खतियान पर स्थानीय नीति (local policy in Jharkhand) बनाने का वादा कर वोट लिया, फिर सत्ता में आने के बाद जो काम तीन महीने में करना था, उसे तीन वर्ष में भी नहीं किया. जब दबाव बढ़ने लगा तो सदन में स्थानीय नीति खतियान आधारित संभव नहीं होने की बात कही. इसके बाद विशेष सत्र बुलाया गया तो उन्होंने स्थानीय नीति बनाने के संकेत सदन में देकर चले गए. सुदेश महतो ने कहा कि आजसू पार्टी शुरू से ही 1932 खतियान के आधार पर स्थानीय नीति की मांग करती रही है. इसलिए सरकार पर दबाव बनाने के लिए राज्यपाल को प्रत्येक दिन आजसू कार्यकर्ता हर एक विधानसभा क्षेत्र से रांची पदयात्रा कर ज्ञापन सौंपने का काम करेंगे.

जातीय जनगणना के बाद हो ओबीसी आरक्षण तय- सुदेश महतोः आजसू प्रमुख सुदेश महतो ने कहा कि जातीय जनगणना कराने बाद सरकार ओबीसी आरक्षण तय करें. इस संबंध में वो राज्यपाल से मिलकर मांग पत्र सौंपेंगे. उन्होंने कहा कि जातीय जनगणना के बाद यह साफ हो जाएगा कि राज्य में किन जातियों की कितनी आबादी है और बाद में आरक्षण का दायरा भी उसी हिसाब से तय किया जाए. आजसू कार्यालय में मीडियाकर्मियों से बात करते हुए सुदेश महतो ने कहा कि आजसू का एक शिष्टमंडल जल्द ही राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मिलकर सरना धर्म कोड को लागू करने की मांग करेगा.

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