रांची: एंटी करप्शन ब्यूरो रांची की टीम ने सुखदेव नगर थाने में पदस्थापित जमादार मिथिलेश कुमार सिंह को 3000 हजार रुपये रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार किया है. मिथिलेश ने दहेज प्रताड़ना के एक मामले में मामले को रफा-दफा करने के लिए रिश्वत की मांग की थी.
क्या है पूरा मामला ?
रांची के इंद्रपुरी इलाके के रहने वाले राहुल देव उपाध्याय की पत्नी ने उनके और उनके परिवार के खिलाफ दहेज प्रताड़ना का मामला सुखदेव नगर थाने में दर्ज करवाया था. इस केस के आईओ मिथिलेश कुमार सिंह को बनाया गया था. इस दौरान जब राहुल देव उपाध्याय ने मिथिलेश सिंह से संपर्क कर कहा कि वे इस मामले में निर्दोष हैं तो उनकी मदद की जाए. इस पर मिथिलेश कुमार सिंह ने राहुल देव उपाध्याय से 15000 हजार की रिश्वत की मांग की और मामले को रफा-दफा करने की बात कही. 15000 रुपये नहीं होने की बात कह राहुल देव ने कहा कि वे उनका काम कर दें क्योंकि वह निर्दोष हैं.लेकिन बिना पैसे दिए मिथिलेश सिंह ने काम करने से इंकार कर दिया.
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जाल बिछाकार एसीबी ने किया गिरफ्तार
इस मामले पर काफी तोल-मोल के बाद 3000 देने पर सहमति बनी, राहुल ने एसीबी से किया संपर्क मिथिलेश सिंह के रवैये से तंग आकर राहुल देव ने रांची के एंटी करप्शन ब्यूरो में मिथलेश ने की शिकायत की. जांच करने के बाद यह बात साबित हो गई कि मिथलेश लगातार राहुल से पैसे की डिमांड कर रहे हैं. जिसके बाद एंटी करप्शन ब्यूरो की टीम ने मिथलेश सिंह को ट्रैप करने के लिए जाल बिछाया और उन्हें राहुल की तरफ से पैसे देने के लिए बरियातू थाना क्षेत्र स्थित उनके घर के पास बुलाया. जैसे ही एएसआइ मिथलेश पैसे लेने के लिए पहुंचे और पैसा अपने हाथ मे लिया एंटी करप्शन ब्यूरो की टीम ने उन्हें रंगे हाथ धर दबोचा.