पाकुड़: जिला स्वास्थ महकमा इलाके में मलेरिया की रोकथाम को लेकर लगातार प्रयास कर रहा है. वहीं कुछ गांवों में ग्रामीणों का आक्रोश भी स्वास्थकर्मियों को झेलना पड़ रहा है. ऐसा ही एक वाक्या शुक्रवार को लिट्टीपाड़ा प्रखंड में जामजोड़ी पंचायत के तेलोपाड़ा गांव में सामने आया है. जहां मलेरिया की रोकथाम के दौरान दवा देने के बाद मल्टी पर्पस वर्कर मो. निजामुद्दीन अंसारी के साथ घटी.
प्राप्त जानकारी के मुताबिक एमपीडब्ल्यू मो. निजामुद्दीन ने गांव के कुछ लोगों और बच्चों को दवा दी थी. इसी बीच दवा खाने के बाद एक बच्चे को उल्टी होने लग गयी. बच्चे को उल्टी करता देख गुस्साए परिजन सहित ग्रामीण आक्रोश हो गये. इस बीच परिजन और कुछ लोगों ने मो. निजामुद्दीन को बंधक बना लिया. मामले की जानकारी मिलते ही स्वास्थ विभाग हरकत में आया. एमपीडब्ल्यू सह प्रभारी कार्यक्रम प्रबंधक ओमप्रकाश पांडेय को टीम के साथ तेलोपाड़ा गांव भेजा गया. कार्यक्रम प्रबंधक और पहुंची टीम में शामिल कर्मियों के द्वारा मो. निजामुद्दीन को ग्रामीणों से मुक्त कराकर सुरक्षित लिट्टीपाड़ा लाया गया.
इस घटना की पुष्टि करते हुए जिला मलेरिया पदाधिकारी डॉ. कौशल किशोर सिंह ने बताया कि मलेरिया की रोकथाम को लेकर ग्रामीणों को जागरूक करने, मरीजो को दवा देने समेत अन्य कार्य को लेकर मल्टी पर्पस वर्कर मो. निजामुद्दीन शुक्रवार को तेलोपाड़ा गये थे. जहां पर कुछ कन्फ्युजन होने के कारण ग्रामीणों द्वारा मो. निजामुद्दीन को वहीं पर रोक लिया गया था. जिला मलेरिया पदाधिकारी ने बताया कि लोगों के सहयोग से एमपीडब्लू को सुरक्षित निकालकर सहिया के घर पर रखा गया है. जिसे कर्मियों के सहयोग से प्रखंड मुख्यालय लाया गया.
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