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ठेकेदार शंभूनंदन ने प्रशासन से की सुरक्षा की मांग, कहा- विधायक प्रतिनिधि से है जान का खतरा - Case of attack on contractor Shambhunandan in Pakur

पाकुड़ में ठेकेदार शंभूनंदन पर हुए मामले में ठेकेदार ने प्रशासन से सुरक्षा की मांग की है. ठेकेदार ने सीएम के विधायक प्रतिनिधि पंकज मिश्रा पर आरोप लगाते हुए कहा है कि उनसे उन्हें अब भी खतरा है.

Contractor demanded protection from the administration
ठेकेदार शंभूनंदन
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Published : Jun 27, 2020, 7:49 AM IST

पाकुड़: बरहरवा टोल टैक्स की बंदोबस्ती के दिन नगर पंचायत कार्यालय में ठेकेदार पर किए गए जानलेवा हमले के मामले में किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है. इसे लेकर ठेकेदार शंभूनंदन ने कहा है कि अगर हमला करने वालों की गिरफ्तारी नहीं हुई तो वे न्यायालय का दरवाजा खटखटाएंगे. उनका कहना है कि वे और उनका परिवार खतरे में है.

ठेकेदार शंभूनंदन

ये भी पढ़ें-आदिम जनजातियों के हक पर बिचौलियों का डाका, लाभुक की हुई मौत तो उखाड़ ले गए ईंट

एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में ठेकेदार शंभूनंदन प्रसाद ने अपने और अपने परिवार के लिए सुरक्षा की मांग की है. उनका कहना है कि मुख्यमंत्री के विधायक प्रतिनिधि पंकज मिश्रा और उनके गुर्गों से उन्हें खतरा है. उन्होंने शासन और प्रशासन से सुरक्षा मुहैया कराने के लिए कहा है ताकि निर्भीक होकर वे अपना रोजगार और सरकार को राजस्व का भुगतान कर सके.

क्या है मामला

दरअसल, बीते सोमवार को एक करोड़ 44 लाख की टोल टैक्स की बंदोबस्ती में भाग लेने गए ठेकेदार शंभूनंदन प्रसाद पर जानलेवा हमला हुआ था. इस मामले में ठेकेदार शंभूनंदन ने अपने ऊपर कराए गए जानलेवा हमले की साजिश रचने और ठेका में भाग लेने पर अंजाम भुगतने का सीधा आरोप राज्य के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के विधायक प्रतिनिधि पंकज मिश्रा पर लगाया था.

विधायक प्रतिनिधि पर आरोप

ठेकेदार शंभूनंदन ने सीएम के विधायक प्रतिनिधि पर राजस्व को क्षति पहुंचाने और अपनी पहुंच और पैरवी के बल पर टोल टैक्स की बंदोबस्ती अपने चहेते लोगों को दिला कर अवैध पत्थर, बालू का परिवहन कराने का भी आरोप लगाया है. शंभूनंदन ने कहा कि पंकज मिश्रा अपनी पहुंच के बल पर प्रशासनिक तंत्र का फायदा जरूर ले सकते हैं, लेकिन न्यायालय में उनकी रंगबाजी और गुंडागर्दी न्यायालय में नहीं चलने वाली है.

बता दें कि 22 जून को बरहरवा नगर पंचायत में टोल टैक्स की बंदोबस्ती होने वाली थी, जिसमें भाग लेने शंभूनंदन प्रसाद पहुंचे थे और इस दौरान उनके साथ पुलिस की मौजूदगी में मारपीट और जानलेवा हमला किया गया था. उन्होंने बताया कि हमले के एक दिन पहले मुख्यमंत्री के प्रतिनिधि पंकज मिश्रा ने बंदोबस्ती में भाग नहीं लेने की मोबाइल पर धमकी दी थी. ठेकेदार के साथ मारपीट मामले में राज्य के ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम के अलावा सीएम के विधायक प्रतिनिधि पंकज मिश्रा सहित अन्य लोगों के खिलाफ बरहरवा थाने में एफआईआर भी दर्ज कराया था.

पाकुड़: बरहरवा टोल टैक्स की बंदोबस्ती के दिन नगर पंचायत कार्यालय में ठेकेदार पर किए गए जानलेवा हमले के मामले में किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है. इसे लेकर ठेकेदार शंभूनंदन ने कहा है कि अगर हमला करने वालों की गिरफ्तारी नहीं हुई तो वे न्यायालय का दरवाजा खटखटाएंगे. उनका कहना है कि वे और उनका परिवार खतरे में है.

ठेकेदार शंभूनंदन

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एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में ठेकेदार शंभूनंदन प्रसाद ने अपने और अपने परिवार के लिए सुरक्षा की मांग की है. उनका कहना है कि मुख्यमंत्री के विधायक प्रतिनिधि पंकज मिश्रा और उनके गुर्गों से उन्हें खतरा है. उन्होंने शासन और प्रशासन से सुरक्षा मुहैया कराने के लिए कहा है ताकि निर्भीक होकर वे अपना रोजगार और सरकार को राजस्व का भुगतान कर सके.

क्या है मामला

दरअसल, बीते सोमवार को एक करोड़ 44 लाख की टोल टैक्स की बंदोबस्ती में भाग लेने गए ठेकेदार शंभूनंदन प्रसाद पर जानलेवा हमला हुआ था. इस मामले में ठेकेदार शंभूनंदन ने अपने ऊपर कराए गए जानलेवा हमले की साजिश रचने और ठेका में भाग लेने पर अंजाम भुगतने का सीधा आरोप राज्य के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के विधायक प्रतिनिधि पंकज मिश्रा पर लगाया था.

विधायक प्रतिनिधि पर आरोप

ठेकेदार शंभूनंदन ने सीएम के विधायक प्रतिनिधि पर राजस्व को क्षति पहुंचाने और अपनी पहुंच और पैरवी के बल पर टोल टैक्स की बंदोबस्ती अपने चहेते लोगों को दिला कर अवैध पत्थर, बालू का परिवहन कराने का भी आरोप लगाया है. शंभूनंदन ने कहा कि पंकज मिश्रा अपनी पहुंच के बल पर प्रशासनिक तंत्र का फायदा जरूर ले सकते हैं, लेकिन न्यायालय में उनकी रंगबाजी और गुंडागर्दी न्यायालय में नहीं चलने वाली है.

बता दें कि 22 जून को बरहरवा नगर पंचायत में टोल टैक्स की बंदोबस्ती होने वाली थी, जिसमें भाग लेने शंभूनंदन प्रसाद पहुंचे थे और इस दौरान उनके साथ पुलिस की मौजूदगी में मारपीट और जानलेवा हमला किया गया था. उन्होंने बताया कि हमले के एक दिन पहले मुख्यमंत्री के प्रतिनिधि पंकज मिश्रा ने बंदोबस्ती में भाग नहीं लेने की मोबाइल पर धमकी दी थी. ठेकेदार के साथ मारपीट मामले में राज्य के ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम के अलावा सीएम के विधायक प्रतिनिधि पंकज मिश्रा सहित अन्य लोगों के खिलाफ बरहरवा थाने में एफआईआर भी दर्ज कराया था.

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