खूंटीः जिले के रनिया प्रखंड क्षेत्र की एक आदिवासी बच्ची को खूंटी सीडब्ल्यूसी की टीम और महिला थाना की पुलिस ने नोएडा से सकुशल बरामद कर लिया है. बच्ची 19 साल से मानव तस्करों के चंगुल में फंसी हुई थी. प्रक्रिया पूरी करने के बाद बच्ची को उसके परिजनों के सुपूर्द कर दिया जाएगा. जानकारी के अनुसार रनिया के एक मानव तस्कर ने 19 वर्ष पहले काम दिलाने का झांसा देकर बच्ची को दिल्ली ले जाकर बेच दिया था. जिसे गठित टीम ने नोएडा के एक्सप्रेस-वे थाना क्षेत्र के अरिस्टा सनवर्ल्ड सेक्टर 168 के एक मकान से बरामद किया है.
19 वर्ष पहले मानव तस्कर ने बच्ची को दिल्ली ले जाकर बेच दिया थाः सीडब्ल्यूसी और महिला थाना की टीम ने रेस्क्यू की गई बच्ची से पूछताछ की तो बच्ची ने बताया कि जब वो नाबालिग थी तो उसी वक्त गांव का एक पुरुष तस्कर ने बहला-फुसलाकर दिल्ली के एक घर में बेच दिया था. पहले दो घरों में काम कराने के बाद उसे नोएडा के एक घर में ले जाकर बेच दिया गया था. जहां बच्ची पिछले 13 वर्षों से काम कर रही थी. हालांकि काम के एवज में बच्ची को एक रुपये का भी भुगतान नहीं किया गया. बच्ची घर का खाना बनाने से लेकर कपड़े धोना, बर्तन धोना समेत बच्चों की देखभाल करती थी.
बंधुआ मजदूर की तरह दिल्ली में रखा गया था बच्ची कोः जानकारी के अनुसार नोएडा में बच्ची जिस घर में रहती थी उसके मकान मालिक सुनील निरुल्ला और उसकी पत्नी पूजा निरुल्ला 13 वर्षों से उसे अपने घर में बंधुआ मजदूर की तरह काम कराते रहे. साल में कभी-कभार कुछ कपड़े दे देते थे और नहाने-धोने के लिए साबुन दिया जाता था. जरूरत के समान और पैसे मांगने पर उसे प्रताड़ित किया जाता था.
बच्ची के पिता ने बचपन बचाओ आंदोलन संस्था को लिखा था पत्रः बताया जाता है कि बच्ची के पिता ने बचपन बचाओ आंदोलन को एक पत्र लिखकर अपनी बेटी को ढूंढने की अपील की थी. पिता द्वारा दिया गया आवेदन डीसी और एसपी को भेजा गया था. जिसके बाद डीसी शशि रंजन और एसपी अमन कुमार ने टीम गठित कर मानव तस्करी को शिकार बच्ची को रेस्क्यू करने का निर्देश दिया था.
काम दिलाने के बहाने तस्कर ने बच्ची को बेच दिया था दिल्ली मेंः बच्ची के पिता ने बताया था कि रनिया थाना क्षेत्र के डाहू गांव के राजाडेरा के अगुस्तीन सुरीन नाम के शख्स ने काम दिलाने के बहाने उसकी बेटी को दिल्ली ले गया था. तब से लेकर आज तक बेटी से कोई बातचीत नहीं हो पाई थी. जिसके कारण बच्ची को ढूंढ नहीं पा रहे थे. बचपन बचाओ आंदोलन से बच्ची को ढूंढने की गुहार लगाई गई थी. टीम में महिला थाना प्रभारी दुलारमनी टुडू, बाल संरक्षण पदाधिकारी शिवाजी प्रसाद, तपकरा थाना के रमजानुल हक शामिल थे. सोमवार को बच्ची को लेकर टीम खूंटी वापस लौटेगी.