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जामताड़ा: साइबर अपराध पर अंकुश लगाने को लेकर एसपी ने बैंकर्स को दिया सख्त निर्देश - जामताड़ा में अपराध की खबर

जामताड़ा पुलिस प्रशासन ने साइबर अपराध पर अंकुश लगाने को लेकर जिला के सभी बैंक पदाधिकारियों के साथ बैठक की. इस दौरान एसपी ने बैंकर्स को सख्त निर्देश दिए. बैंक में संचालित सीएसपी और पोस मशीन पर निगरानी रखने और आरबीआई के तहत पालन किया जा रहा है या नहीं, इसको लेकर जांच करने का निर्देश दिया गया.

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बैंक पदाधिकारियों के साथ बैठक
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Published : Nov 8, 2020, 4:14 PM IST

जामताड़ा: साइबर अपराध के मामले में पूरे देश भर में चर्चित जामताड़ा जिला को साइबर से पूरी तरह से मुक्त बनाने और साइबर अपराध पर अंकुश लगाने को लेकर पुलिस प्रशासन पूरी तरह से तैयारी में जुट गई है. जामताड़ा जिला पुलिस प्रशासन ने साइबर अपराध को नियंत्रण करने और इस पर अंकुश लगाने को लेकर जिले के सभी बैंक और बैंक के पदाधिकारियों के साथ बैठक की. इस दौरान बैंक के संचालित सीएसपी और पीओएस मशीन का अनुपालन आरबीआई के नियम के तहत किया है या नहीं इस पर निगरानी रखने और जांच करने का सख्त निर्देश और आदेश दिया.

देखें पूरी खबर


मशीन से ब्लैक मनी को किया जा रहा है वाइट मनी
बैंक ने अधिकतर सीएसपी बनाया है और सीएसपी का संचालन किया जा रहा है. इसके अलावा कई दुकानदारों और लोगों को पोस मशीन भी निर्गत किया है. यह दोनों यूनिट बैंक ने संचालित सीएसपी और पोस मशीन से पुलिस को जांच के दौरान और जांच के क्रम में यह पता चला है कि सीएसपी और पोस मशीन से ब्लैक मनी को वाइट मनी किया जा रहा है. हालांकि पुलिस प्रशासन ने अभी यह खुलासा नहीं किया कि किस सीएसपी संचालक पोस मशीन से किस बैंक के सीएसपी और पोस मशीन के निर्गत से ब्लैक मनी को वाइट मनी किया जा रहा है, जो कि पुलिस के अनुसंधान का विषय है.

पुलिस कप्तान ने दी जानकारी
पुलिस कप्तान दीपक कुमार सिन्हा ने बैंक के साथ साइबर अपराध पर नियंत्रण अंकुश लगाने को लेकर बैठक की. उन्होंने बताया कि बैंक के अधिकारी अपने स्तर से जांच करेंगे और पुलिस पदाधिकारी अपने स्तर से जांच करेंगे. पुलिस अधीक्षक ने यह खुलासा किया और बताया कि किस बैंक के सीएसपी और निर्गत पीओएस मशीन से ब्लैक मनी को वाइट मनी किया जा रहा है.

ये भी पढ़े- पाकुड़ में प्रशिक्षु दारोगा ने की आत्महत्या, जांच में जुटी पुलिस

जामताड़ा साइबर अपराध के मामले में गढ़ माना जाता है. पूरे देश भर में साइबर अपराध का नेटवर्क का जाल जामताड़ा से बिछा हुआ है. साइबर अपराधी जामताड़ा से बैठ कर साइबर अपराध को अंजाम देते हैं. जिला पुलिस प्रशासन और साइबर थाना की पुलिस ने लगातार साइबर अपराध पर अंकुश लगाने को लेकर छापेमारी अभियान चलाया. यहां तक कि साइबर अपराधियों ने साइबर अपराध से अटूट अर्जित किए गए संपत्ति को जब्त करने और इस पर कार्रवाई करने को लेकर ईडी को भी प्रस्ताव भेजा है. वहीं, अब इस पर नियंत्रण करने को लेकर बैंक के पदाधिकारियों का भी अब सहयोग लिया जा रहा है. अब नई बात यह सामने आ रही है कि बैंक ने संचालित सीएसपी केंद्र और निर्गत पीओएस मशीन से साइबर अपराधी इसका लाभ उठा रहे हैं.

जामताड़ा: साइबर अपराध के मामले में पूरे देश भर में चर्चित जामताड़ा जिला को साइबर से पूरी तरह से मुक्त बनाने और साइबर अपराध पर अंकुश लगाने को लेकर पुलिस प्रशासन पूरी तरह से तैयारी में जुट गई है. जामताड़ा जिला पुलिस प्रशासन ने साइबर अपराध को नियंत्रण करने और इस पर अंकुश लगाने को लेकर जिले के सभी बैंक और बैंक के पदाधिकारियों के साथ बैठक की. इस दौरान बैंक के संचालित सीएसपी और पीओएस मशीन का अनुपालन आरबीआई के नियम के तहत किया है या नहीं इस पर निगरानी रखने और जांच करने का सख्त निर्देश और आदेश दिया.

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मशीन से ब्लैक मनी को किया जा रहा है वाइट मनी
बैंक ने अधिकतर सीएसपी बनाया है और सीएसपी का संचालन किया जा रहा है. इसके अलावा कई दुकानदारों और लोगों को पोस मशीन भी निर्गत किया है. यह दोनों यूनिट बैंक ने संचालित सीएसपी और पोस मशीन से पुलिस को जांच के दौरान और जांच के क्रम में यह पता चला है कि सीएसपी और पोस मशीन से ब्लैक मनी को वाइट मनी किया जा रहा है. हालांकि पुलिस प्रशासन ने अभी यह खुलासा नहीं किया कि किस सीएसपी संचालक पोस मशीन से किस बैंक के सीएसपी और पोस मशीन के निर्गत से ब्लैक मनी को वाइट मनी किया जा रहा है, जो कि पुलिस के अनुसंधान का विषय है.

पुलिस कप्तान ने दी जानकारी
पुलिस कप्तान दीपक कुमार सिन्हा ने बैंक के साथ साइबर अपराध पर नियंत्रण अंकुश लगाने को लेकर बैठक की. उन्होंने बताया कि बैंक के अधिकारी अपने स्तर से जांच करेंगे और पुलिस पदाधिकारी अपने स्तर से जांच करेंगे. पुलिस अधीक्षक ने यह खुलासा किया और बताया कि किस बैंक के सीएसपी और निर्गत पीओएस मशीन से ब्लैक मनी को वाइट मनी किया जा रहा है.

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जामताड़ा साइबर अपराध के मामले में गढ़ माना जाता है. पूरे देश भर में साइबर अपराध का नेटवर्क का जाल जामताड़ा से बिछा हुआ है. साइबर अपराधी जामताड़ा से बैठ कर साइबर अपराध को अंजाम देते हैं. जिला पुलिस प्रशासन और साइबर थाना की पुलिस ने लगातार साइबर अपराध पर अंकुश लगाने को लेकर छापेमारी अभियान चलाया. यहां तक कि साइबर अपराधियों ने साइबर अपराध से अटूट अर्जित किए गए संपत्ति को जब्त करने और इस पर कार्रवाई करने को लेकर ईडी को भी प्रस्ताव भेजा है. वहीं, अब इस पर नियंत्रण करने को लेकर बैंक के पदाधिकारियों का भी अब सहयोग लिया जा रहा है. अब नई बात यह सामने आ रही है कि बैंक ने संचालित सीएसपी केंद्र और निर्गत पीओएस मशीन से साइबर अपराधी इसका लाभ उठा रहे हैं.

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