जामताड़ा: पर्यटन स्थल के रूप में विकसित जामताड़ा का लादना डैम सैलानियों के लिए आकर्षण का केंद्र बना हुआ है. नौका विहार प्रकृति की हसीन वादियों की सुंदरता की ओर सैलानी अनायास खींचे चले आते हैं.
नए साल और पिकनिक मनाने को लेकर लादना डैम में सैलानियों का आना शुरू हो चुका है. पर्यटन स्थल के रूप में विकसित जामताड़ा का लादना डैम सैलानियों के लिए आकर्षण का केंद्र बना हुआ है. प्रकृति की गोद में बसा लादना डैम पहाड़ों और जंगलों से घिरा हुआ क्षेत्र है. यहां डैम के पानी में नौका विहार लोगों को आनंदित कर देता है. परिवार बच्चों के साथ सैलानी यहां पिकनिक मनाने आते हैं.
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कोरोना के कारण लॉकडाउन में सभी पार्क, पर्यटन स्थल, मनोरंजन स्थल बंद पड़े थे. लोगों का कहीं भी जा पाना मुश्किल था लेकिन अब लॉकडाउन के बाद पर्यटन और पिकनिक स्पॉट और पार्क खुल जाने के बाद धीरे-धीरे अब सैलानियों का आना भी शुरू हो गया है. पार्क और पिकनिक स्पॉट पर लोग पिकनिक मनाने पहुंचने लगे हैं. 25 दिसंबर से ही जामताड़ा के लादना डैम में सैलानियों का आना शुरू हो गया है.
लादना डैम को विकसित करने की जरूरत
जामताड़ा का पर्यटक स्थल के रूप में विकसित लादना डैम का जितना विकास होना चाहिए नहीं हो पाया है. प्रशासन की ओर से प्रतिवर्ष लादना डैम को विकसित करने को लेकर डीपीआर तैयार किया जाता है और इसे विकसित करने की बात की जाती है, लेकिन जमीनी स्तर पर कोई काम नहीं होता. हालांकि, प्रशासन की ओर से पहाड़ पर सीढ़ी और गुंबज यात्री शेड का निर्माण कराया गया है.
डैम को विकसित करने की मांग
पर्यटन स्थल को विकसित रूप देने को लेकर स्थानीय समाजसेवी तरुण कुमार गुप्ता ने सरकार से पहल करने की मांग की है और ऐसे राज्य के पर्यटन स्थल में एक विकसित पर्यटक स्थल के रूप में मानचित्र पर स्थापित करने की मांग की है. उन्होंने कहा है कि पूरे झारखंड में सबसे सुंदर लादना डैम है. इसे अगर पर्यटन स्थल के रूप में विकसित किया जाए तो न सिर्फ यहां सरकार रेवेन्यू जेनरेट कर पाएगी बल्कि लोगों को भी रोजगार मिलेगा और क्षेत्र का विकास होगा.
लादना में नहीं है उचित व्यवस्था
पर्यटन स्थल के रूप में विकसित जामताड़ा के लादना डैम में सैलानी के लिए कोई मुकम्मल व्यवस्था नहीं की गई है. ना सुरक्षा का कोई ख्याल रखा गया है, ना ही साफ सफाई की ही कोई व्यवस्था, ना सैलानियों के लिए शौचालय की व्यवस्था, ना पीने के पानी की व्यवस्था है.
कहने के लिए तो लाखों रुपए खर्च कर शौचालय का निर्माण कराया गया है, लेकिन ना उसमें पानी की व्यवस्था, ना मोटर, ना बिजली नतीजतन यह शोभा की वस्तु बनकर रह गया है और गंदगी का अंबार लगा रहता है. साफ सफाई नहीं होने से जहां-तहां कूड़ा कचरा का अंबार लगा रहता है. आने वाले सैलानियों को इससे काफी परेशानी होती है. यहां आने वाले सैलानियों का कहना है कि मनोरम स्थल तो है लेकिन शौचालय की व्यवस्था ठीक नहीं है. इस ओर प्रशासन को ध्यान देना चाहिए.
बहरहाल, जो भी हो प्रकृति की गोद में अपनी सुंदरता में चार चांद बिखेरता लादना डैम सैलानियों को रिझा रहा है. सैलानी पिकनिक मनाने और प्रकृति का आनंद लेने पहुंचने लगे हैं. यूं तो सालों भर इस मनोरम स्थल का आनंद लेने लोग पहुंचते हैं लेकिन दिसंबर से लेकर फरवरी माह तक सैलानियों का यहां जमघट लगा रहता है. पिकनिक मनाने को लेकर होड़ लगी रहती है.