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प्रलोभन और लिंक पर क्लिक करने की सलाह पर हो जाएं चौकन्ना, जानें कैसे-कैसे तरीकों से ठग रहे साइबर अपराधी - एप का लिंग भेजकर चूना

जामताड़ा में साइबर अपराधी इन दिनों नए-नए तरीकों से लोगों के खातों से पैसे उड़ा रहे हैं. पहले साइबर अपराधी फर्जी बैंक अधिकारी बनकर केवाईसी के नाम पर डेटेल लेकर लोगों के अकाउंट से पैसे उड़ाते थे, लेकिन इन दिनों ये साइबर अपराधी लोगों को एप का लिंक भेजकर चूना लगा रहे हैं.

Cyber criminals are cheating in new ways in jamtara
साइबर अपराध
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Published : Feb 10, 2021, 12:05 AM IST

जामताड़ा: जामताड़ा में एप के जरिए और फर्जी लिंक के माध्यम से लोगों को चूना लगाने वाले सक्रिय हैं. इसे लेकर पुलिस अलर्ट हो गई है, जांच के दौरान पुलिस को ठगी के लिए अपनाए जाने वाले नए-नए हथकंडों की जानकारी मिली है. पुलिस ने लोगों से सतर्क रहने की अपील की है.

देखें पूरी खबर



ऐसे बना रहे शिकार
जामताड़ा के साइबर अपराधी पहले फर्जी बैंक अधिकारी बनकर लोगों से केवाईसी कराने का झांसा देकर जानकारी ले लेते थे और उनके अकाउंट से पैसा उड़ाते थे, लेकिन जैसे-जैसे लोग जागरूक होते गए अपराधियों ने भी अपना तरीका बदल दिया. पुलिस अफसरों का कहना है कि साइबर अपराधी टेक्निक का प्रयोग कर ठगी कर रहे हैं. कई मामले ऐसे आए हैं जिसमें अपराधियों ने किसी व्यक्ति को कोई लिंक भेजा और लोगों को झांसा देकर उस पर क्लिक कराया. इसके बाद पीड़ितों के अकाउंट से पैसे उड़ा लिए.

दरअसल बोगस लिंक पर क्लिक करने से सारी जानकारी ठग को भी पता चल जाती है. इसके अलावा कई बार अपराधी anydesk जैसे अप्लीकेशन इंस्टाल करा लेते हैं, और उसकी आईडी लेने से आपके गैजेट का कंट्रोल हासिल कर लेते हैं. वे आपसे कोई फाइनेंशियल जानकारी नहीं लेते पर आपका पूरा गैजेट उनके नियंत्रण में होता है और आपको कोई शक भी नहीं होता. इससे जैसे ही कोई इन चीजों से संबंधित सलाह दे तो सतर्क हो जाइए.



फर्जी लिंक भेजकर लोगों को देते हैं प्रलोभन
साइबर अपराधी फर्जी लिंक भेजकर ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन और खरीदारी करने के अलावा लोगों को तरह-तरह के प्रलोभन भी देते हैं. जिससे लोग उनकी बातों में आ जाते हैं, जैसे ही कोई फोन पर मेहरबानी दिखाए एक बार खुद से सवाल जरूर करिए कि संबंधित व्यक्ति आपको यह प्रस्ताव क्यों दे रहा है. जामताड़ा जिला के पुलिस कप्तान दीपक कुमार सिन्हा ने बताया कि जामताड़ा के साइबर अपराधी अब फर्जी बैंक अधिकारी बनकर ठगी नहीं कर रहे हैं, बल्कि एप के लिंक भेजकर लोगों को अपना शिकार बना रहे हैं.

इसे भी पढे़ं: साइबर थाना की पुलिस ने चलाया छापेमारी अभियान, दो साइबर अपराधी गिरफ्तार

ऐसा करने से पहले सोचें जरूर

  • एप के माध्यम से कोई भी रजिस्ट्रेशन अपडेट के नाम पर शुल्क जमा करने से पहले
  • ऑनलाइन लिंक बिना जानकारी के क्लिक करने से पहले

जामताड़ा: जामताड़ा में एप के जरिए और फर्जी लिंक के माध्यम से लोगों को चूना लगाने वाले सक्रिय हैं. इसे लेकर पुलिस अलर्ट हो गई है, जांच के दौरान पुलिस को ठगी के लिए अपनाए जाने वाले नए-नए हथकंडों की जानकारी मिली है. पुलिस ने लोगों से सतर्क रहने की अपील की है.

देखें पूरी खबर



ऐसे बना रहे शिकार
जामताड़ा के साइबर अपराधी पहले फर्जी बैंक अधिकारी बनकर लोगों से केवाईसी कराने का झांसा देकर जानकारी ले लेते थे और उनके अकाउंट से पैसा उड़ाते थे, लेकिन जैसे-जैसे लोग जागरूक होते गए अपराधियों ने भी अपना तरीका बदल दिया. पुलिस अफसरों का कहना है कि साइबर अपराधी टेक्निक का प्रयोग कर ठगी कर रहे हैं. कई मामले ऐसे आए हैं जिसमें अपराधियों ने किसी व्यक्ति को कोई लिंक भेजा और लोगों को झांसा देकर उस पर क्लिक कराया. इसके बाद पीड़ितों के अकाउंट से पैसे उड़ा लिए.

दरअसल बोगस लिंक पर क्लिक करने से सारी जानकारी ठग को भी पता चल जाती है. इसके अलावा कई बार अपराधी anydesk जैसे अप्लीकेशन इंस्टाल करा लेते हैं, और उसकी आईडी लेने से आपके गैजेट का कंट्रोल हासिल कर लेते हैं. वे आपसे कोई फाइनेंशियल जानकारी नहीं लेते पर आपका पूरा गैजेट उनके नियंत्रण में होता है और आपको कोई शक भी नहीं होता. इससे जैसे ही कोई इन चीजों से संबंधित सलाह दे तो सतर्क हो जाइए.



फर्जी लिंक भेजकर लोगों को देते हैं प्रलोभन
साइबर अपराधी फर्जी लिंक भेजकर ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन और खरीदारी करने के अलावा लोगों को तरह-तरह के प्रलोभन भी देते हैं. जिससे लोग उनकी बातों में आ जाते हैं, जैसे ही कोई फोन पर मेहरबानी दिखाए एक बार खुद से सवाल जरूर करिए कि संबंधित व्यक्ति आपको यह प्रस्ताव क्यों दे रहा है. जामताड़ा जिला के पुलिस कप्तान दीपक कुमार सिन्हा ने बताया कि जामताड़ा के साइबर अपराधी अब फर्जी बैंक अधिकारी बनकर ठगी नहीं कर रहे हैं, बल्कि एप के लिंक भेजकर लोगों को अपना शिकार बना रहे हैं.

इसे भी पढे़ं: साइबर थाना की पुलिस ने चलाया छापेमारी अभियान, दो साइबर अपराधी गिरफ्तार

ऐसा करने से पहले सोचें जरूर

  • एप के माध्यम से कोई भी रजिस्ट्रेशन अपडेट के नाम पर शुल्क जमा करने से पहले
  • ऑनलाइन लिंक बिना जानकारी के क्लिक करने से पहले
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