हजारीबाग: वैश्विक महामारी कोरोना के इस संकट काल में देश के कई लोग अपनी जिम्मेवारी बखूबी निभा रहे हैं. जिले के 18 महिलाओं का एक समूह मुख्यमंत्री के हाथों को मजबूती प्रदान कर रही है और अपनी जिम्मेवारी का निर्वहन भी कर रही है. दरअसल, ये वे 18 महिलाएं हैं जो हजारीबाग बाजार समिति में मुख्यमंत्री आहार पैकेट तैयार करने में अपना योगदान दे रही हैं.
महिलाएं बन रही आत्मनिर्भर
इन दिनों हजारीबाग बाजार समिति में 18 महिलाओं का समूह मुख्यमंत्री आहार पैकेट बना रहा है. विभिन्न समूह की यह महिलाएं सुबह बाजार समिति पहुंचती है और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए मुख्यमंत्री आहार पैकेट तैयार करती हैं. चेहरे पर मास्क, हाथों में ग्लबस और बैग में सैनिटाइजर यह इनकी पहचान है. इनका कहना है कि उन लोगों को मौका मिला है और वे इस मौके का बखूबी लाभ भी उठा रही हैं. महिलाएं सूखे राशन को तौल कर पैकेट तैयार करती हैं. फिर इस पैकेट को गाड़ी से जगह-जगह वितरण के लिए भेजता जाता है. मुख्यमंत्री आहार पैकेट की गाड़ी हजारीबाग के विभिन्न प्रखंडों में जाकर जरूरतमंदों को सूखे राशन के पैकेज देती है. महिलाओं का यह भी कहना है कि इससे उन्हें दोहरा लाभ मिल रहा है. पहला तो वह अपनी सामाजिक दायित्व पूरा कर रही हैं तो दूसरी ओर उन्हें आर्थिक लाभ भी मिल रहा है. जिससे वह अपना परिवार चला पाएंगी.
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महिलाएं घर चलाने में कर रही मदद
महिलाओं का मानना है कि वर्तमान समय में उनके घर में बैठे मर्दों को काम नहीं मिल रहा है. ऐसे में बेरोजगारी का आलम है. जिला प्रशासन ने उन लोगों को कुछ कमाने का मौका दिया है. वह इज्जत प्रतिष्ठा के साथ काम भी पूरा कर रही हैं और पैसा भी कमा रही हैं. हजारीबाग बाजार समिति के सचिव राकेश कुमार सिंह का ने बताया कि इस काम में महिलाओं को लगाने का मुख्य उद्देश्य उन्हें आर्थिक रूप से सबल करना है. इस उद्देश्य में वे सफल भी हो रही हैं. महिलाएं ईमानदारी पूर्वक पैकेट तैयार कर रही हैं और यह पैकेट अब विभिन्न प्रखंडों में प्रवासी मजदूरों को जाएगा और वह अपना जीवन यापन कर सकेंगी.