हजारीबाग: झारखंड में विधानसभा चुनाव के मद्देनजर राजनीतिक पारा चढ़ता ही जा रहा है. प्रदेश में राजनीतिक पार्टियों ने कई सीटों से अपने उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है और उम्मीदवारों की घोषणा के साथ ही साथ पार्टी में नेताओं के बागी होने का दौर भी जारी है. ऐसे में कई नेता दूसरी पार्टी का दामन थाम रहे हैं. इन बागी नेताओं में हजारीबाग के नेता मुन्ना सिंह का नाम भी जुड़ गया है. गुरूवार को मुन्ना सिंह ने कांग्रेस का साथ छोड़कर जेवीएम का दामन थाम लिया है.
डॉ आरसी मेहता को टिकट मिलने से थे नाराज
हजारीबाग के कांग्रेसी नेता मुन्ना सिंह टिकट नहीं मिलने से नाखुश चल रहे थे. मुन्ना सिंह इस विधानसभा चुनाव में हजारीबाग से कांग्रेस के प्रबल दावेदार के रूप में देखे जा रहे थे. लेकिन पार्टी ने उन्हें टिकट नहीं देते हुए डॉ. आरसी मेहता को उम्मीदवार बना दिया. पार्टी के इस कदम से नाराज होकर मुन्ना मलिक ने कांग्रेस को अलविदा कह दिया और जेवीएम में शामिल हो गए. जेवीएम के नेता मुन्ना मलिक ने पार्टी का अंग वस्त्र पहनाकर उनका स्वागत किया. इस दौरान मुन्ना सिंह के साथ सैकड़ों की संख्या में कांग्रेसी कार्यकर्ताओं ने भी जेवीएम का दामन थामा है.
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हजारीबाग सदर से लड़ेंगे चुनाव
जेवीएम में शामिल होने के दौरान ईटीवी भारत से बात करते हुए मुन्ना सिंह ने कहा कि वे पिछले कई साल से कांग्रेस की सेवा कर रहे थे. कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की तरफ से आश्वासन भी दिया गया था कि वह इस बार हजारीबाग विधानसभा सीट से उम्मीदवार होंगे. लेकिन अंतिम समय में पार्टी ने धोखा दिया और बाहरी को उम्मीदवार बना दिया. ऐसे में जेवीएम की ओर से उन्हें प्रस्ताव आया और उन्होंने प्रस्ताव स्वीकार करते हुए सदस्यता ग्रहण कर ली. उन्होंने कहा कि चुनाव में वे जेवीएम से हजारीबाग सदर से उम्मीदवार भी हैं.