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दिल्ली के लाल किला की घटना पर बोले कृषि मंत्री बादल पत्रलेख, हिंसक प्रदर्शन के लिए पीएम मोदी दोषी - दिल्ली के लाल पर किसानों का विरोध

दिल्ली के लाल किला पर हुए किसानों के विरोध प्रदर्शन पर कृषि मंत्री बादल पत्रलेख ने अपना पक्ष रखा है. उन्होंने ने इस प्रदर्शन के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को दोषी ठहराया है. साथ ही कहा कि मैं किसानों के साथ हूं.

agriculture minister badal patralekh reaction on kisan tractor rally
ट्रैक्टर मार्च के लिए मोदी सरकार दोषी
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Published : Jan 27, 2021, 9:56 AM IST

हजारीबाग: गणतंत्र दिवस के अवसर पर दिल्ली के लाल किला पर जिस तरह से किसानों ने प्रदर्शन किया है इसे लेकर हर ओर चर्चा का बाजार गर्म है. वहीं किसानों के इस तरह के प्रदर्शन के लिए प्रधानमंत्री को झारखंड कृषि मंत्री बादल पत्रलेख ने दोषी करार दिया है.

देखें पूरी खबर
ट्रैक्टर मार्च के लिए मोदी सरकार दोषी26 जनवरी गणतंत्र दिवस के अवसर पर दिल्ली की सड़कों पर कृषि कानून के विरोध में ट्रैक्टर मार्च निकाला गया. इस दौरान जमकर उत्पात की मचाया गया. आलम यह रहा कि किसानों ने लाल किला पर चढ़कर मर्यादा तोड़ दी. इसे लेकर कई मंत्रियों ने अपनी प्रतिक्रिया दी है. वहीं झारखंड सरकार के मंत्री बादल पत्रलेख ने इस घटना के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को दोषी करार दिया है. उनका कहना है कि सैकड़ों जान जाने के बाद भी इस कानून पर विचार नहीं किया और सिर्फ तारीख पर तारीख दिया है. ऐसे में किसान आपा खोकर सड़क पर प्रदर्शन कर रहे हैं. उनका यह भी कहना है कि किसानों का दर्द सड़कों पर दिख रहा था. जब उनसे यह पूछा गया कि जिस तरह से कानून को अपने हाथों में किसानों ने लिया है, तो उन्होंने अपना स्वर बदलते हुए कहा कि जो गलत है वो गलत है. लेकिन गलत के पीछे का कारण क्या है इसे भी हमें सोचना चाहिए.इसे भी पढ़ें-डायन-बिसाही के खिलाफ जंग को मिला सम्मान, पद्मश्री से नवाजी जाएंगी सरायकेला की छुटनी देवी


किसान के साथ कृषि मंत्री
कृषि मंत्री बादल पत्रलेख ने कहा कि मैं अभी भी किसानों के साथ हूं.आने वाले 31 जनवरी को विशाल किसान रैली गोड्डा से निकाली जाएगी, जो देवघर के रोहनी शहीद स्थल पहुंचेगी. इस रैली का मुख्य उद्देश्य केंद्र सरकार को यह संदेश देना है कि सिर्फ पंजाब और हरियाणा के किसान ही नहीं बल्कि पूरे देश के किसान इस काला कानून के खिलाफ है. उन्होंने हजारीबाग में भी किसानों और उनसे जुड़े संगठन से अपील की है कि वे भी एक रैली निकालकर किसानों के साथ खड़े रहें और सरकार को संदेश दें कि इस कानून को वापस ले.

हजारीबाग: गणतंत्र दिवस के अवसर पर दिल्ली के लाल किला पर जिस तरह से किसानों ने प्रदर्शन किया है इसे लेकर हर ओर चर्चा का बाजार गर्म है. वहीं किसानों के इस तरह के प्रदर्शन के लिए प्रधानमंत्री को झारखंड कृषि मंत्री बादल पत्रलेख ने दोषी करार दिया है.

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ट्रैक्टर मार्च के लिए मोदी सरकार दोषी26 जनवरी गणतंत्र दिवस के अवसर पर दिल्ली की सड़कों पर कृषि कानून के विरोध में ट्रैक्टर मार्च निकाला गया. इस दौरान जमकर उत्पात की मचाया गया. आलम यह रहा कि किसानों ने लाल किला पर चढ़कर मर्यादा तोड़ दी. इसे लेकर कई मंत्रियों ने अपनी प्रतिक्रिया दी है. वहीं झारखंड सरकार के मंत्री बादल पत्रलेख ने इस घटना के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को दोषी करार दिया है. उनका कहना है कि सैकड़ों जान जाने के बाद भी इस कानून पर विचार नहीं किया और सिर्फ तारीख पर तारीख दिया है. ऐसे में किसान आपा खोकर सड़क पर प्रदर्शन कर रहे हैं. उनका यह भी कहना है कि किसानों का दर्द सड़कों पर दिख रहा था. जब उनसे यह पूछा गया कि जिस तरह से कानून को अपने हाथों में किसानों ने लिया है, तो उन्होंने अपना स्वर बदलते हुए कहा कि जो गलत है वो गलत है. लेकिन गलत के पीछे का कारण क्या है इसे भी हमें सोचना चाहिए.इसे भी पढ़ें-डायन-बिसाही के खिलाफ जंग को मिला सम्मान, पद्मश्री से नवाजी जाएंगी सरायकेला की छुटनी देवी


किसान के साथ कृषि मंत्री
कृषि मंत्री बादल पत्रलेख ने कहा कि मैं अभी भी किसानों के साथ हूं.आने वाले 31 जनवरी को विशाल किसान रैली गोड्डा से निकाली जाएगी, जो देवघर के रोहनी शहीद स्थल पहुंचेगी. इस रैली का मुख्य उद्देश्य केंद्र सरकार को यह संदेश देना है कि सिर्फ पंजाब और हरियाणा के किसान ही नहीं बल्कि पूरे देश के किसान इस काला कानून के खिलाफ है. उन्होंने हजारीबाग में भी किसानों और उनसे जुड़े संगठन से अपील की है कि वे भी एक रैली निकालकर किसानों के साथ खड़े रहें और सरकार को संदेश दें कि इस कानून को वापस ले.

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