गिरिडीह: जिले में सरकारी बोर्ड की चोरी हो गई है. लोहे के बोर्ड की चोरी हुई है. वैसे तो यह काफी छोटी खबर लगती है लेकिन इस बोर्ड का महत्व समझने पर निश्चित तौर पर कई सवाल खुद ब खुद जन्म लेने लगेंगे. दरअसल, जिस सरकारी बोर्ड की चोरी हुई है उस बोर्ड को न्यायालय भवन के लिए चिन्हित जमीन की रखवाली के लिए लगाया गया था. पूरा मामला सदर अंचल के जरीडीह मौजा का है.
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क्यूं महत्वपूर्ण था यह बोर्ड: जरीडीह में काफी पहले न्यायालय के भवन के लिए जमीन चिन्हित की गई थी. यहां 151 एकड़ सरकारी जमीन के ही हिस्से में न्यायालय का भवन बनने की बात कही गई थी. इस बीच इस भूमि के फर्जी कागजात बनाकर इसकी खरीद बिक्री की जाने लगी. मामला गिरिडीह के डीसी तक पहुंचा तो उन्होंने जांच का आदेश दिया. जनवरी 2022 में जांच की और साथ ही साथ सौ से अधिक बाउंड्री व पीलर को ध्वस्त करते हुए यहां पर बोर्ड भी लगाया गया. प्रशासन की तरफ से लगाए गए इस बोर्ड में साफ लिखा था कि यह जमीन सरकार की है और इसकी खरीद बिक्री नहीं की जा सकती. बोर्ड लगे अभी ढाई माह भी नहीं हुए कि बोर्ड की चोरी कर ली गई.
पुलिस ने शुरू की जांच: इस मामले की सूचना पर पचम्बा थाना प्रभारी नीतीश कुमार हरकत में आए. उन्होंने मामले की जांच शुरू कर दी. यह पता लगाया जा रहा है कि बोर्ड को गायब करने में उन्हीं लोगों का हाथ है जिन्होंने इस सरकारी भूमि को बेचने का काम किया था या फिर उच्चकों ने लोहे के इस बोर्ड पर हाथ साफ कर लिया. आसपास के कई लोगों से पूछताछ भी की गई है.
भवन के लिए हाई कोर्ट ने भी ले रखा है संज्ञान: यहां यह भी बता दें कि गिरिडीह न्यायालय के भवन की स्थिति का मुआयना हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश डॉ. रवि रंजन ने भी किया था. इस दौरान मुख्य न्यायाधीश जरीडीह स्थित इस जमीन पर पहुंचे थे और यहां की स्थिति को भी देखते हुए अधिकारियों को कई निर्देश दिए थे.