जमशेदपुर: ऑल इंडिया बैंक ऑफ एम्पलॉइज एसोसिएशन (एआईबीए) ने बैंको के निजीकरण और सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के विलय के खिलाफ और कई अन्य मांगों के समर्थन में 5 अक्टूबर को राष्ट्रव्यापी हड़ताल का आह्वान किया. केंद्र सरकार की तरफ से बैंकों के विलय के प्रयासों का बैंक कर्मचारी लगातार विरोध कर रहे हैं.
ऑल इंडिया बैंक ऑफ एंप्लाइज एसोसिएशन
बैंक कर्मियों के संगठन ऑल इंडिया बैंक ऑफ एंप्लाइज एसोसिएशन ने सोमवार को बैंक ऑफ इंडिया के कर्मचारी एक दिवसीय हड़ताल पर रहे. जमशेदपुर के बैंक ऑफ इंडिया के सभी कर्मचारियों ने बैंकों में काम करने से अपने आप को दूर रखा बैंकों की शाखाओं के समक्ष हड़ताली बैंक कर्मियों ने एकजुटता दिखाते हुए सरकार की बैंकिंग नीति की आलोचना की और बैंक उपभोक्ताओं से उनके आंदोलन में सहयोग का आग्रह किया. बैंक यूनियन से जुड़े नेताओं का कहना है बैंकों का विनिवेशीकरण और निजीकरण किया जा रहा है.
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बैंकिंग नीति की आलोचना
बैंकों की शाखाओं के समक्ष हड़ताली बैंक कर्मियों ने एक जुटता दिखाते हुए सरकार की बैंकिंग नीति की आलोचना की और बैंक उपभोक्ताओं से उनके आंदोलन में सहयोग का आग्रह किया. बैंक यूनियन से जुड़े नेताओं का कहना था कि सरकार की तरफ से बैंक ऑफ बड़ौदा के विलय के प्रयासों का हम कड़ा प्रतिवाद करते हैं. वहीं, सरकार से मांग करते हैं कि कॉरपोरेट ऋण चूककर्ताओं के विशाल खराब ऋणों की वसूली के लिए त्वरित कार्रवाई की जाए. यूनियन नेताओं का यह भी कहना है कि सरकार उनकी जायज मांगों की अनदेखी कर हठधर्मिता पर अड़ी दिखाई दे रही है. बैंकों के विलय से बड़ी संख्या में बैंक कर्मियों के समक्ष रोजगार से वंचित होने का खतरा उत्पन्न होगा. जिसे यूएफबीयू किसी भी सूरत में स्वीकार नहीं करेगा और जरूरत पड़ी तो भविष्य में अनिश्चितकालीन हड़ताल पर भी जाएंगे.