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मोहरदा पेयजल परियोजना के इंटक वेल में लगी लोहे की जाली, अब मिलेगा शुद्ध पानी - Jharkhand News

मोहरदा पेयजल परियोजना के इंटक वेल में जंगरोधी लोहे की जाली लगाने का काम किया जा रहा है. जिसका निरीक्षण करने गए जमशेदपुर पूर्वी के विधायक सरयू राय ने बताया कि कूड़ा-कचड़ा रोकने के लिए सिर्फ एक ही जाली थी जो पानी को साफ रखने के लिए पर्याप्त नहीं था. इसलिए अब दो अतिरिक्त जाली लगाई जा रही है.

Moharda drinking water project
Moharda drinking water project
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Published : May 25, 2022, 3:17 PM IST

जमशेदपुर: मोहरदा पेयजल परियोजना के इंटक वेल में लोहे की जाली लगाने के कार्य में प्रगति का निरीक्षण करने जमशेदपुर पूर्वी के विधायक सरयू राय पहुंचे. उन्होंने बताया कि नदी में जल प्रवाह कम हो जाने से इंटेक वेल के चारों ओर शैवाल और कूड़ा-कचरा इकट्ठा हो गया है. पानी का रंग भी वहां काला हो गया है. परियोजना के तकनीकि जानकारों ने बताया कि इंटक वेल के निर्माण काल से ही कूड़ा-कचड़ा रोकने के लिए सिर्फ एक जाली लगाया गया था जो पर्याप्त नहीं था. आम जनता को हमेशा पानी की गुणवत्ता की शिकायत रहती थी. इस संबंध में विधायक सरयू राय ने जुस्को प्रबंधन को शुद्ध और गुणवत्तापूर्ण पेयजल आपूर्ति हेतु आवश्यक सुधार करने का निर्देश दिया जिसके फलस्वरूप लोहे के दो अतिरिक्त जाली लगाई जा रही है.



लगा दी गई पहली जाली: मोहरदा पेयजल परियोजना के इंटक वेल को कूड़ा-कचरा से बचाने के लिये वेल में जंगरोधी लोहे की जाली लगाने का काम जुस्को प्रबंधन कर रहा है. नदी में नीचे जाकर मिस्त्री और विशेषज्ञों ने पहली जाली लगाकर और पानी के नीचे वेल्डिंग किया है. दूसरी जाली 6 जून को लगाई जाएगी. टाटा स्टील के सुरक्षा पैमाना पर खरा उतरने के बाद जोखिम भरा यह काम सफलतापूर्वक किया गया है. जमशेदपुर में ऐसा जटिल तकनीकी काम पहली बार हुआ है. तीनों जालियां लग जाने के बाद मोहरदा पेयजल परियोजना के इंटक वेल में बारिश के पानी के साथ प्लास्टिक और अन्य तरह के कूड़े-कचरे इंटेक वेल में नहीं जा पाएंगे. बाढ़ के कारण नदी में जानेवाला कूड़ा-कचरा इंटेक वेल के पम्प में फंस जाता था, जिसके कारण पेयजल परियोजना को कई दिनों तक बंद रखना पड़ता था.


दो साल के भीतर जुस्को ने किए कई काम: मोहरदा पेयजल परियोजना की कई कमियों को दो साल के भीतर जुस्को ने दूर किया है. जैसे निर्माणकाल से ही मोहरदा जलापूर्ति से क्षेत्रवासियों को सिर्फ एक दिन में एक बार पानी आपूर्ति की जाती थी परंतु विधायक सरयू राय के सार्थक प्रयास से अब दो बार पेयजल आपूर्ति की जा रही है, टंकी निर्माण के बाद पहली बार विगत 5 महीने में 5 टंकी की सफाई की गयी है. शेष टंकियों की सफाई अभी प्रगति पर है. मोहरदा पेयजल परियोजना की क्षमता बढ़ाने और कई मुहल्लों में नया पाइप लाइन डालने का काम हुआ है. पेयजल की आपूर्ति में सुधार हुआ है और इसके लिये समय सारिणी के अनुसार काम हो रहा है. सबसे बढ़कर पेयजल की गुणवत्ता बढ़ाने पर काम हुआ है. फिर भी अनेक काम अभी होने बाकी हैं जिन्हें परियोजना के फेज-2 में समाहित करना है.

जमशेदपुर: मोहरदा पेयजल परियोजना के इंटक वेल में लोहे की जाली लगाने के कार्य में प्रगति का निरीक्षण करने जमशेदपुर पूर्वी के विधायक सरयू राय पहुंचे. उन्होंने बताया कि नदी में जल प्रवाह कम हो जाने से इंटेक वेल के चारों ओर शैवाल और कूड़ा-कचरा इकट्ठा हो गया है. पानी का रंग भी वहां काला हो गया है. परियोजना के तकनीकि जानकारों ने बताया कि इंटक वेल के निर्माण काल से ही कूड़ा-कचड़ा रोकने के लिए सिर्फ एक जाली लगाया गया था जो पर्याप्त नहीं था. आम जनता को हमेशा पानी की गुणवत्ता की शिकायत रहती थी. इस संबंध में विधायक सरयू राय ने जुस्को प्रबंधन को शुद्ध और गुणवत्तापूर्ण पेयजल आपूर्ति हेतु आवश्यक सुधार करने का निर्देश दिया जिसके फलस्वरूप लोहे के दो अतिरिक्त जाली लगाई जा रही है.



लगा दी गई पहली जाली: मोहरदा पेयजल परियोजना के इंटक वेल को कूड़ा-कचरा से बचाने के लिये वेल में जंगरोधी लोहे की जाली लगाने का काम जुस्को प्रबंधन कर रहा है. नदी में नीचे जाकर मिस्त्री और विशेषज्ञों ने पहली जाली लगाकर और पानी के नीचे वेल्डिंग किया है. दूसरी जाली 6 जून को लगाई जाएगी. टाटा स्टील के सुरक्षा पैमाना पर खरा उतरने के बाद जोखिम भरा यह काम सफलतापूर्वक किया गया है. जमशेदपुर में ऐसा जटिल तकनीकी काम पहली बार हुआ है. तीनों जालियां लग जाने के बाद मोहरदा पेयजल परियोजना के इंटक वेल में बारिश के पानी के साथ प्लास्टिक और अन्य तरह के कूड़े-कचरे इंटेक वेल में नहीं जा पाएंगे. बाढ़ के कारण नदी में जानेवाला कूड़ा-कचरा इंटेक वेल के पम्प में फंस जाता था, जिसके कारण पेयजल परियोजना को कई दिनों तक बंद रखना पड़ता था.


दो साल के भीतर जुस्को ने किए कई काम: मोहरदा पेयजल परियोजना की कई कमियों को दो साल के भीतर जुस्को ने दूर किया है. जैसे निर्माणकाल से ही मोहरदा जलापूर्ति से क्षेत्रवासियों को सिर्फ एक दिन में एक बार पानी आपूर्ति की जाती थी परंतु विधायक सरयू राय के सार्थक प्रयास से अब दो बार पेयजल आपूर्ति की जा रही है, टंकी निर्माण के बाद पहली बार विगत 5 महीने में 5 टंकी की सफाई की गयी है. शेष टंकियों की सफाई अभी प्रगति पर है. मोहरदा पेयजल परियोजना की क्षमता बढ़ाने और कई मुहल्लों में नया पाइप लाइन डालने का काम हुआ है. पेयजल की आपूर्ति में सुधार हुआ है और इसके लिये समय सारिणी के अनुसार काम हो रहा है. सबसे बढ़कर पेयजल की गुणवत्ता बढ़ाने पर काम हुआ है. फिर भी अनेक काम अभी होने बाकी हैं जिन्हें परियोजना के फेज-2 में समाहित करना है.

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