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नेपाल बॉर्डर पर तैनात जवान का घर पहुंचा पार्थिव शरीर, नम आंखों से गांव वालों ने दी अंतिम विदाई

नेपाल बॉर्डर पर तैनात बीएसएफ जवान गोपाल कुमार महतो की इलाज के दौरान मौत हो गई. बीएसएफ जवान के पार्थिव शरीर को उनके पैतृक गांव धनबाद पहुंचाया गया. जहां विधि-विधान से उनका अंतिम संस्कार (BSF Jawan Last Rites In Bishunpur) किया गया.

BSF Jawan
शहीद बीएसएफ जवान गोपाल कुमार महतो
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Published : Dec 25, 2022, 7:58 AM IST

बीएसएफ जवान की अंतिम विदाई

धनबाद: नेपाल बॉर्डर पर तैनात धनबाद के लाल ने इलाज के दौरान दम तोड़ दिया. उनके पार्थिव शरीर के घर पहुंचने के बाद इलाके में मातम पसर गया. वह तोपंचांची प्रखंड के बिशुनपुर के रहने वाले (BSF Jawan Last Rites In Bishunpur) थे.

यह भी पढ़ें: बीएसएफ जवान की श्रीनगर में हुई मौत, पैतृक गांव चक्रधरपुर में हुआ अंतिम संस्कार

इलाज के दौरान तोड़ा दम : बिशुनपुर गांव के रहने वाले शूकर महतो के बेटे गोपाल कुमार महतो, सीमा सुरक्षा बल में जवान के पद पर नेपाल बलरामपुर में तैनात थे. नेपाल बॉर्डर पर तैनात रहने के दौरान वह गंभीर बीमारी के चपेट में आ गए थे. इस दौरान उसे लखनऊ के चंदन अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया गया. जहां उसने इलाज के दौरान दम तोड़ दिया. शनिवार को गोपाल महतो के पार्थिव शरीर को सीमा सुरक्षा बल बटालियन के जवान पूरे सम्मान के साथ उनके पैतृक आवास लेकर पहुंचे. जहां जवानों ने अंतिम संस्कार में शामिल होकर उन्हें सलामी दी.

बीएसएफ जवानों ने सलामी दी: जवान का पार्थिव शरीर आने की सूचना पर हजारों की संख्या में लोग जुट गए. भारत माता की जय और जब तक सूरज चांद रहेगा, गोपाल महतो का नाम रहेगा के नारे से सारा इलाका गुंजायमान हो रहा था. उसके पार्थिव शरीर को सीमा सुरक्षा बल बटालियन के जवानों ने सलामी दी. पार्थिव शरीर तिरंगा से ढका रहा. उनका अंतिम संस्कार जमुनिया नदी के बिशुनपुर शमशान घाट पर किया गया.

नम आंखों से लोगों ने दी अंतिम बिदाई: पिता शुकर महतो ने नम आंखों से कहा कि वह पर्व त्योहार में कभी- कभार घर आया करता था. घर में सभी से उसका व्यवहार काफी अच्छा था. हंसी खुशी से घर में लोगों के साथ समय बिताता था. छुट्टी खत्म होने के बाद मुस्कुराते हुए अपनी ड्यूटी पर लौट जाता था. उसके नहीं रहने से हमसब को उसकी कमी खलेगी. लेकिन हमें गर्व है कि मेरा बेटा सेना में रहकर इस देश की सेवा पूरी श्रद्धा से कर रहा था. हम उसे कभी नहीं भूल पाएंगे. हमारा धनबाद और पूरा देश उसे हमेशा हमेशा याद रखेगा. अंतिम संस्कार के दौरान गांव वालों की आंखे नम थी.

बीएसएफ जवान की अंतिम विदाई

धनबाद: नेपाल बॉर्डर पर तैनात धनबाद के लाल ने इलाज के दौरान दम तोड़ दिया. उनके पार्थिव शरीर के घर पहुंचने के बाद इलाके में मातम पसर गया. वह तोपंचांची प्रखंड के बिशुनपुर के रहने वाले (BSF Jawan Last Rites In Bishunpur) थे.

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इलाज के दौरान तोड़ा दम : बिशुनपुर गांव के रहने वाले शूकर महतो के बेटे गोपाल कुमार महतो, सीमा सुरक्षा बल में जवान के पद पर नेपाल बलरामपुर में तैनात थे. नेपाल बॉर्डर पर तैनात रहने के दौरान वह गंभीर बीमारी के चपेट में आ गए थे. इस दौरान उसे लखनऊ के चंदन अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया गया. जहां उसने इलाज के दौरान दम तोड़ दिया. शनिवार को गोपाल महतो के पार्थिव शरीर को सीमा सुरक्षा बल बटालियन के जवान पूरे सम्मान के साथ उनके पैतृक आवास लेकर पहुंचे. जहां जवानों ने अंतिम संस्कार में शामिल होकर उन्हें सलामी दी.

बीएसएफ जवानों ने सलामी दी: जवान का पार्थिव शरीर आने की सूचना पर हजारों की संख्या में लोग जुट गए. भारत माता की जय और जब तक सूरज चांद रहेगा, गोपाल महतो का नाम रहेगा के नारे से सारा इलाका गुंजायमान हो रहा था. उसके पार्थिव शरीर को सीमा सुरक्षा बल बटालियन के जवानों ने सलामी दी. पार्थिव शरीर तिरंगा से ढका रहा. उनका अंतिम संस्कार जमुनिया नदी के बिशुनपुर शमशान घाट पर किया गया.

नम आंखों से लोगों ने दी अंतिम बिदाई: पिता शुकर महतो ने नम आंखों से कहा कि वह पर्व त्योहार में कभी- कभार घर आया करता था. घर में सभी से उसका व्यवहार काफी अच्छा था. हंसी खुशी से घर में लोगों के साथ समय बिताता था. छुट्टी खत्म होने के बाद मुस्कुराते हुए अपनी ड्यूटी पर लौट जाता था. उसके नहीं रहने से हमसब को उसकी कमी खलेगी. लेकिन हमें गर्व है कि मेरा बेटा सेना में रहकर इस देश की सेवा पूरी श्रद्धा से कर रहा था. हम उसे कभी नहीं भूल पाएंगे. हमारा धनबाद और पूरा देश उसे हमेशा हमेशा याद रखेगा. अंतिम संस्कार के दौरान गांव वालों की आंखे नम थी.

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