चतरा: भाजपा नेता गिरिराज सिंह द्वारा हरे रंग पर दिए बयान के बाद सियासी पारा सातवें आसमान पर है. बिहार के साथ-साथ झारखंड की भी राजनीति गरमा गई है. गिरिराज के इस बयान को अब विपक्षी पार्टियां चुनावी मुद्दा बना चुकी है. इस पर चतरा लोकसभा प्रत्याशी सुभाष यादव ने गिरिराज के बयान पर पलटवार किया है.
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महागठबंधन से अलग राह पर चल रहे राजद के चतरा लोकसभा प्रत्याशी सुभाष यादव ने गिरिराज और भाजपा को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि हरा रंग राष्ट्रगान का प्रतीक है. लेकिन भाजपा और आरएसएस का भगवा रंग न तो किसी का प्रतीक है और ना ही उसका कोई समुचित अर्थ.
राजद प्रत्याशी ने भाजपा पर सांप्रदायिक ताकतों को बढ़ावा देते हुए प्रजातंत्र की सेवा करने के बजाय ड्रामेबाजी करने का आरोप लगाया है. उन्होंने कहा कि जो जनता के बीच नहीं जाएगा, उसे लोकतंत्र के भगवान सबक सिखाएंगे क्योंकि लोकतंत्र में सभी जाति और धर्म का अस्तित्व बराबर है सभी मिलकर ही लोकतांत्रिक व्यवस्था में अपनी भागीदारी सुनिश्चित कराते हुए देश में मजबूत सरकार का गठन कराते हैं.
पार्टी कार्यालय में राजद प्रत्याशी ने कहा कि पार्टी कभी सांप्रदायिक ताकतों से समझौता नहीं कर सकती. इसका जीता जागता उदाहरण पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष लालू यादव का जेल जाना है. उन्होंने कहा कि अगर राजद भाजपा से गठबंधन कर लेती तो आज लालू जेल के बजाय मंत्री और सांसद होते वही तेजस्वी मुख्यमंत्री.
उन्होंने जनसंपर्क अभियान के दौरान भाजपा प्रत्याशी का क्षेत्र में हो रहे विरोध पर तंज कसते हुए कहा कि विगत पांच सालों तक क्षेत्र में विकास के बजाय लूट की राजनीति को बढ़ावा देने वाले सांसद की एक भी योजना धरातल पर नहीं उतरी है. यही कारण है कि आज इस क्षेत्र में लोगों से मिलने के बजाय डरे सहमे होटल में बैठकर सीमित लोगों से मिल रहे हैं. उन्होंने जीत के बाद कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी को पीएम के रूप में समर्थन देने की बात कही है.