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विश्वविद्यालयों को मिला उनका अधिकार, तृतीय और चतुर्थ वर्ग के कर्मचारियों का चयन खुद करेगा विवि प्रबंधन

झारखंड में विश्वविद्यालय अब अपने शिक्षक-शिक्षकेतर कर्मचारियों का चयन खुद कर सकेगा. इसे लेकर उच्च शिक्षा विभाग ने हरी झंडी दी है.

Jharkhand Higher Education Department
झारखंड उच्च शिक्षा विभाग
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Published : Jan 11, 2020, 4:58 PM IST

रांची: राज्य के सभी विश्वविद्यालय अब अपने शिक्षक-शिक्षकेतर कर्मचारियों का चयन खुद कर सकेगा. इसे लेकर उच्च शिक्षा विभाग ने हरी झंडी दी है. इसके अलावा विश्वविद्यालय अपने स्तर पर शिक्षकों और शिक्षकेतर कर्मचारियों का वेतन भी निर्धारण कर सकेगा.

देखिए पूरी खबर

पहले यह अधिकार उच्च एवं तकनीकी शिक्षा विभाग के पास था और इससे काफी परेशानियों का सामना लगातार करना पड़ रहा था. अब इस निर्णय के बाद नियुक्तियों का रास्ता साफ हो गया है. राज्य सरकार के उच्च शिक्षा विभाग ने राज्य भर के विश्वविद्यालयों के हक में एक बड़ा निर्णय लिया है. दरअसल, उच्च शिक्षा निदेशक ने विश्वविद्यालयों में तृतीय और चतुर्थ श्रेणी के पदों पर नियुक्ति पहले की तरह हो इसे लेकर हरी झंडी दे दी है.

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नियुक्ति का रास्ता साफ
हालांकि, इस निर्देश के बाद अब नियुक्ति का रास्ता साफ हो गया है. विश्वविद्यालय अपनी शक्ति से अपने कर्मचारियों की नियुक्ति कर सकते हैं. इसके साथ ही विश्वविद्यालय प्रशासन अब अपने शिक्षक-शिक्षकेतर कर्मचारियों का वेतन भी निर्धारण कर सकेगा. फिलहाल, यह अधिकार उच्च और तकनीकी शिक्षा विभाग के पास था. इस निर्णय का राज्य के तमाम विश्वविद्यालयों के साथ-साथ कर्मचारी संघ से जुड़े पदाधिकारियों ने भी स्वागत किया है.

रांची: राज्य के सभी विश्वविद्यालय अब अपने शिक्षक-शिक्षकेतर कर्मचारियों का चयन खुद कर सकेगा. इसे लेकर उच्च शिक्षा विभाग ने हरी झंडी दी है. इसके अलावा विश्वविद्यालय अपने स्तर पर शिक्षकों और शिक्षकेतर कर्मचारियों का वेतन भी निर्धारण कर सकेगा.

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पहले यह अधिकार उच्च एवं तकनीकी शिक्षा विभाग के पास था और इससे काफी परेशानियों का सामना लगातार करना पड़ रहा था. अब इस निर्णय के बाद नियुक्तियों का रास्ता साफ हो गया है. राज्य सरकार के उच्च शिक्षा विभाग ने राज्य भर के विश्वविद्यालयों के हक में एक बड़ा निर्णय लिया है. दरअसल, उच्च शिक्षा निदेशक ने विश्वविद्यालयों में तृतीय और चतुर्थ श्रेणी के पदों पर नियुक्ति पहले की तरह हो इसे लेकर हरी झंडी दे दी है.

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नियुक्ति का रास्ता साफ
हालांकि, इस निर्देश के बाद अब नियुक्ति का रास्ता साफ हो गया है. विश्वविद्यालय अपनी शक्ति से अपने कर्मचारियों की नियुक्ति कर सकते हैं. इसके साथ ही विश्वविद्यालय प्रशासन अब अपने शिक्षक-शिक्षकेतर कर्मचारियों का वेतन भी निर्धारण कर सकेगा. फिलहाल, यह अधिकार उच्च और तकनीकी शिक्षा विभाग के पास था. इस निर्णय का राज्य के तमाम विश्वविद्यालयों के साथ-साथ कर्मचारी संघ से जुड़े पदाधिकारियों ने भी स्वागत किया है.

Intro:रांची।

विश्वविद्यालय अब अपने शिक्षक -शिक्षकेतर कर्मचारियों का चयन खुद कर सकेगा. इसे लेकर उच्च शिक्षा विभाग ने हरी झंडी दे दिया है .इसके अलावा विश्वविद्यालय अपने स्तर पर शिक्षकों और शिक्षकेतर कर्मचारियों का वेतन भी निर्धारण कर सकेगा. गौरतलब है कि पहले यह अधिकार उच्च एवं तकनीकी शिक्षा विभाग के पास था और इससे काफी परेशानियों का सामना लगातार करना पड़ रहा था .अब इस निर्णय के बाद नियुक्तियों का रास्ता साफ हो गया है.


Body:राज्य सरकार के उच्च शिक्षा विभाग द्वारा राज्य भर के विश्वविद्यालयों के हक में एक बड़ा निर्णय लिया गया है. दरअसल उच्च शिक्षा निदेशक ने विश्वविद्यालयों में तृतीय और चतुर्थ श्रेणी के पदों पर नियुक्ति ,पूर्व की तरह हो इसे लेकर हरी झंडी दे दी है. गौरतलब है कि इससे पहले इन पदों पर नियुक्ति झारखंड राज्य कर्मचारी चयन आयोग से कराने की बात सामने आई थी. जेएसएससी की सुस्ती के कारण विश्वविद्यालयों में लंबे अरसे से नियुक्ति लटकी हुई थी.

नियुक्ति का रास्ता साफ.

हालांकि इस निर्देश के बाद अब नियुक्ति का रास्ता साफ हो गया है .विश्वविद्यालय अपनी शक्ति से अपने कर्मचारियों की नियुक्ति कर सकते हैं .साथ ही विश्वविद्यालय प्रशासन अब अपने शिक्षक -शिक्षकेतर कर्मचारियों का वेतन भी निर्धारण कर सकेगा. फिलहाल यह अधिकार उच्च और तकनीकी शिक्षा विभाग के पास था .इस निर्णय का राज्य के तमाम विश्वविद्यालयों के साथ-साथ कर्मचारी संघ से जुड़े पदाधिकारियों ने भी स्वागत किया है.


Conclusion:विश्वविद्यालयों में तृतीय और चतुर्थ वर्ग कर्मचारियों की फिर से सीधी नियुक्ति होगी .पहले भी अधिकार विश्वविद्यालयों के पास ही था. सभी विश्वविद्यालयों से प्राचार्य असिस्टेंट प्रोफेसर एसोसिएट प्रोफेसर और अधिकारियों के रिक्त पदों का ब्यौरा भी विभाग द्वारा मांगा गया है. जल्द ही इस निर्णय पर अमलीजामा पहनाया जाएगा.


बाइट- अमर कुमार चौधरी, कुलसचिव, आरयू।

बाइट- अर्जुन राम ,कर्मचारी संघ, आरयू।
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