रांची: कोविड-19 के मद्देनजर हाई पावर कमेटी के दिशा निर्देश पर 7 साल से कम सजा पाने वाले 58 विचाराधीन कैदियों को छोड़ने के लिए जिला विधिक सेवा प्राधिकार को आवेदन प्राप्त हुआ है. जिसके बाद सभी विचाराधीन कैदियों को कानूनी सहायता प्रदान कर संबंधित कोर्ट में अवेदन भेजा गया है.
वैश्विक महामारी कोरोना के मद्देनजर सुप्रीम कोर्ट के गाइडलाइन के अनुसार हाईकोर्ट ने राज्य के सभी सिविल कोर्ट के 7 साल से कम सजा पाने वाले विचाराधीन कैदियों को जमानत पर छोड़ने को लेकर आदेश जारी किया था. जिसके बाद से विचाराधीन कैदियों को जेल से छोड़ने की यह प्रक्रिया लगातार जारी है. लॉकडाउन के दौरान कुल 275 कैदियों को छोड़ने को लेकर डालसा ने आवेदन किया था. जिसमें 154 विचाराधीन कैदियों को बिरसा मुंडा केंद्रीय कारागार से छोड़ा जा चुका है.
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अब लॉकडाउन के इस पीरियड में 58 विचाराधीन कैदियों का जिला विधिक सेवा प्राधिकार में आवेदन आया है. जिसके आधार पर जिला विधिक सेवा प्राधिकार ने कानूनी सहायता देते हुए अधिवक्ता मुहैया कराई है. साथ ही संबंधित कोर्ट में कैदियों के आवेदन को भेजा गया है. जिसके बाद इन विचाराधीन कैदियों को छोड़ने की प्रक्रिया की जाएगी.
7 साल से कम सजा पाने वालों को 45 दिन के लिए जमानत
जिला विधिक सेवा प्राधिकार के सचिव अभिषेक कुमार ने बताया कि कोरोना महामारी को देखते हुए जेल में बंद 7 साल से कम सजा पाने वाले विचाराधीन कैदियों को 45 दिनों के लिए सशर्त जमानत पर छोड़ा जा रहा है. जिला विधिक सेवा प्राधिकार में 58 विचाराधीन कैदियों के आवेदन आए हैं और विचाराधीन कैदियों को कानूनी सहायता के लिए अधिवक्ता मुहैया कराई जा रही है. संबंधित कोर्ट में उनके आवेदन को भेज दिया गया, ताकि उन विचाराधीन कैदियों को छोड़ने पर विचार किया जा सके.