रांची: झारखंड विधानसभा चुनाव की चुनावी बिगुल बजते ही राजनीतिक दलों के साथ ही सामाजिक संगठनों की भूमिका सक्रिय होती नजर आ रही है. सामाजिक संगठन आदिवासी कुर्मी समाज ने राज्य के तमाम राजनीतिक दलों से अपनी 3 सूत्री मांगों को चुनावी एजेंडे में शामिल करने की मांग की है.
सामाजिक संगठन आदिवासी कुर्मी समाज का साफ शब्दों में कहना है कि राजनीतिक दल आदिवासी कुर्मी समाज की मांगों को अगर अपने चुनावी एजेंडे में शामिल करेंगे, तो कुर्मी समाज विधानसभा चुनाव में उन्हें सहयोग करेगा.
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आदिवासी कुर्मी समाज के मुताबिक, लंबे समय से वे लोग से कुर्मी जाति को अनुसूचित जाति में शामिल करने, सरना धर्म कोड लागू करने और कुरमाली भाषा को राजकीय भाषा का दर्जा देने की मांग करते रहे हैं. हालांकि आज तक राज्य में जितनी भी सरकारें आईं, उन्होंने उनका मांगों पर कोई ध्यान नहीं दिया.