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15 जनवरी को सुबह 8:24 बजे मकर संक्रांति का शुभारंभ, सूर्य, धनु राशि से मकर राशि में करेंगे प्रवेश - रांची में मकर संक्रांति का बाजार

वर्ष के पहले महीने में मकर संक्रांति में भगवान सूर्य की आराधना करते हैं. पंडित और ज्योतिषाचार्य जितेंद्र जी महाराज बताते हैं कि 15 जनवरी को 8 बजकर 24 मिनट पर मकर संक्रांति का शुभारंभ होगा.

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मकर संक्रांति का बाजार
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Published : Jan 14, 2020, 4:49 PM IST

रांची: भारत पर्व और त्योहारों का देश माना जाता है. एक वर्ष में कई तरह के पर्व और त्योहार मनाए जाते हैं. जनवरी में मकर संक्रांति से ही वर्ष के त्योहारों की शुरुआत होती है. वर्ष के पहले महीने में मकर संक्रांति में भगवान सूर्य की आराधना करते हैं.

देखें पूरी खबर

भगवान सूर्य की आराधना
इस पर्व को लेकर रांची के पंडित और ज्योतिषाचार्य जितेंद्र जी महाराज बताते हैं कि 15 जनवरी को 8 बजकर 24 मिनट पर मकर संक्रांति का शुभारंभ होगा. इसके बाद लोग भगवान सूर्य की आराधना कर सकेंगे.

दैत्यों के लिए रात
वह बताते हैं कि अध्यात्म के अनुसार, भगवान सूर्य धनु राशि से मकर राशि में प्रवेश करते हैं, जिससे शुभ मुहूर्त की शुरुआत होती है. पंडित जितेंद्र जी महाराज बताते हैं कि सूर्य के उत्तर की दिशा में होने के बाद 6 माह तक किसी भी शुभ कार्यों की शुरुआत की जा सकती है, जैसे विवाह, राज्याभिषेक और मांगलिक कार्य के लिए उत्तम माना जाता है. मकर संक्रांति की शुरुआत होने के बाद देवताओं के लिए दिन माना जाता है. वहीं दैत्यों के लिए रात हो जाती है.

ये भी पढ़ें- मकर संक्रांति पर बाबा मंदिर में उमड़ी भक्तों की भीड़, भोले नाथ को लगाया गया तिल का भोग

इस मंत्र का करें उच्चारण
मकर संक्रांति के शुभ अवसर पर लोग एक-दूसरे को तिल की मिठाईयां बांटकर आपस में भाईचारे को बढ़ाते हैं. वहीं अध्यात्म के अनुसार काले तिल से शनि महराज खुश होते हैं. मकर संक्रांति पर भक्त भगवान सूर्य की आराधना करते हुए 'ॐ घृणि सूर्याय नमः' मंत्रोच्चारण कर सकते हैं.

रांची: भारत पर्व और त्योहारों का देश माना जाता है. एक वर्ष में कई तरह के पर्व और त्योहार मनाए जाते हैं. जनवरी में मकर संक्रांति से ही वर्ष के त्योहारों की शुरुआत होती है. वर्ष के पहले महीने में मकर संक्रांति में भगवान सूर्य की आराधना करते हैं.

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भगवान सूर्य की आराधना
इस पर्व को लेकर रांची के पंडित और ज्योतिषाचार्य जितेंद्र जी महाराज बताते हैं कि 15 जनवरी को 8 बजकर 24 मिनट पर मकर संक्रांति का शुभारंभ होगा. इसके बाद लोग भगवान सूर्य की आराधना कर सकेंगे.

दैत्यों के लिए रात
वह बताते हैं कि अध्यात्म के अनुसार, भगवान सूर्य धनु राशि से मकर राशि में प्रवेश करते हैं, जिससे शुभ मुहूर्त की शुरुआत होती है. पंडित जितेंद्र जी महाराज बताते हैं कि सूर्य के उत्तर की दिशा में होने के बाद 6 माह तक किसी भी शुभ कार्यों की शुरुआत की जा सकती है, जैसे विवाह, राज्याभिषेक और मांगलिक कार्य के लिए उत्तम माना जाता है. मकर संक्रांति की शुरुआत होने के बाद देवताओं के लिए दिन माना जाता है. वहीं दैत्यों के लिए रात हो जाती है.

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इस मंत्र का करें उच्चारण
मकर संक्रांति के शुभ अवसर पर लोग एक-दूसरे को तिल की मिठाईयां बांटकर आपस में भाईचारे को बढ़ाते हैं. वहीं अध्यात्म के अनुसार काले तिल से शनि महराज खुश होते हैं. मकर संक्रांति पर भक्त भगवान सूर्य की आराधना करते हुए 'ॐ घृणि सूर्याय नमः' मंत्रोच्चारण कर सकते हैं.

Intro:भारत पर्वों एवं त्योहारों का देश माना जाता है।एक वर्ष में कई तरह के पर्व एवं त्योहार मनाए जाते हैं। जनवरी में मकर संक्रांति से ही वर्ष के त्योहारों की शुरुआत होती है। वर्ष के प्रथम माह की 15 तारीख को मकर संक्रांति में लोग भगवान सूर्य की आराधना करते हैं।

इसको लेकर रांची के पंडित एवं ज्योतिषाचार्य जितेंद्र जी महाराज बताते हैं कि 15 जनवरी को 8 बजकर 24 मिनट पर मकर संक्रांति का शुभारंभ होगा और लोग भगवान सूर्य की आराधना कर सकेंगे।


Body:वह बताते हैं कि अध्यात्म के अनुसार भगवान सूर्य धनु राशि से मकर राशि में प्रवेश करते हैं जिससे शुभ मुहूर्त की शुभारंभ होती है।

पंडित जितेंद्र जी महाराज बताते हैं कि सूर्य उत्तर की दिशा में होने के बाद 6 माह तक किसी भी शुभ कार्यों की शुरुआत की जा सकती है, जैसे विवाह, राज अभिषेक तथा मांगलिक कार्य के लिए उत्तम माना जाता है।

मकर संक्रांति की शुरुआत होने के बाद देवताओं के लिए दिन माना जाता है वहीं दैत्यों के लिए रात हो जाती है।


Conclusion:मकर संक्रांति के शुभ अवसर पर लोग एक दूसरे को तिल की मिठाइयां बांटकर आपस के भाईचारे को बढ़ाते हैं वही अध्यात्म के अनुसार काले तिल से शनि ग्रह खुश होते हैं।

मकर संक्रांति पर भक्त भगवान सूर्य की आराधना करते हुए "ॐ घृणि सूर्याय नमः" मंत्रोच्चारण कर सकते हैं।

बाइट- जितेंद्र जी महाराज, पंडित व ज्योतिषाचार्य।
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