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DVC की बकाया राशि को लेकर सौतेला व्यवहार कर रही है केंद्र सरकार, सुप्रीम कोर्ट जाने की हो रही है तैयारी:कांग्रेस

कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष डॉ रामेश्वर उरांव ने कहा है कि कहीं ना कहीं केंद्र सरकार झारखंड के साथ सौतेला व्यवहार कर रही है. उन्होंने कहा कि जो समझौता हुआ था, वह कहीं ना कहीं एकपक्षीय था. केंद्र सरकार ने दबाव डालकर झारखंड सरकार को समझौते के लिए राजी कर दिया था कि डीवीसी का बकाया होने पर एकतरफा राशि काट ली जाएगी.

Hemant government will go to Supreme Court after cutting DVC amount
कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष डॉ रामेश्वर उरांव
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Published : Jan 14, 2021, 3:46 PM IST

रांची: डीवीसी की बकाया राशि को समय से पहले काटे जाने पर झारखंड सरकार सुप्रीम कोर्ट जाने की तैयारी में जुट गई है. सत्ताधारी दल कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष डॉ रामेश्वर उरांव ने कहा है कि कहीं ना कहीं केंद्र सरकार झारखंड के साथ सौतेला व्यवहार कर रही है. जिस तरह से झारखंड की बकाया राशि को केंद्र सरकार के इशारे पर काटा जा रहा है, उसी तरह भारत सरकार को झारखंड की बकाया राशि को चुकाना भी चाहिए.

जानकारी देते रामेश्वर उरांव
उन्होंने कहा कि ऐसा लगता है कि केंद्र सरकार डबल इंजन की सरकार में नहीं है. इसलिए वो झारखंड की गठबंधन सरकार के साथ सौतेला व्यवहार कर रही है. उन्होंने कहा कि जो समझौता हुआ था, वह कहीं ना कहीं एकपक्षीय था. केंद्र सरकार ने दबाव डालकर झारखंड सरकार को समझौते के लिए राजी कर लिया था कि डीवीसी का बकाया होने पर एकतरफा राशि काट ली जाएगी. हालांकि झारखंड सरकार का जो पैसा भारत सरकार के पास बकाया है, उसको लेकर समझौते में कोई बातें नहीं लिखी गईं. जबकि समझौते में इसे भी जोड़ना चाहिए था कि डीवीसी का बकाया पैसा भारत सरकार के बकाया से काटा जाएगा.ये भी पढ़ें- झारखंड कांग्रेस में मचा बवाल, अपनों ने ही बढ़ाई मुश्किलें

वहीं, ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम ने कहा कि अचानक बकाया राशि काटने के मामले को लेकर सूबे की सरकार सुप्रीम कोर्ट जाने की तैयारी कर रही है. उन्होंने कहा कि जो त्रिस्तरीय समझौता हुआ था, उससे सरकार बाहर जा चुकी है. 15 जनवरी को डीवीसी की बकाया राशि की एक किस्त देने का समय तय किया गया था, लेकिन उससे पहले ही बकाया राशि काटी गई. इससे साफ हो गया है कि जहां दूसरे राज्यों का बड़ा बकाया होने के बाद भी पैसा नहीं काटा जा रहा है. वहीं, झारखंड में गठबंधन होने की वजह से सरकार को बैकफुट पर लाने का प्रयास किया जा रहा है.

रांची: डीवीसी की बकाया राशि को समय से पहले काटे जाने पर झारखंड सरकार सुप्रीम कोर्ट जाने की तैयारी में जुट गई है. सत्ताधारी दल कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष डॉ रामेश्वर उरांव ने कहा है कि कहीं ना कहीं केंद्र सरकार झारखंड के साथ सौतेला व्यवहार कर रही है. जिस तरह से झारखंड की बकाया राशि को केंद्र सरकार के इशारे पर काटा जा रहा है, उसी तरह भारत सरकार को झारखंड की बकाया राशि को चुकाना भी चाहिए.

जानकारी देते रामेश्वर उरांव
उन्होंने कहा कि ऐसा लगता है कि केंद्र सरकार डबल इंजन की सरकार में नहीं है. इसलिए वो झारखंड की गठबंधन सरकार के साथ सौतेला व्यवहार कर रही है. उन्होंने कहा कि जो समझौता हुआ था, वह कहीं ना कहीं एकपक्षीय था. केंद्र सरकार ने दबाव डालकर झारखंड सरकार को समझौते के लिए राजी कर लिया था कि डीवीसी का बकाया होने पर एकतरफा राशि काट ली जाएगी. हालांकि झारखंड सरकार का जो पैसा भारत सरकार के पास बकाया है, उसको लेकर समझौते में कोई बातें नहीं लिखी गईं. जबकि समझौते में इसे भी जोड़ना चाहिए था कि डीवीसी का बकाया पैसा भारत सरकार के बकाया से काटा जाएगा.ये भी पढ़ें- झारखंड कांग्रेस में मचा बवाल, अपनों ने ही बढ़ाई मुश्किलें

वहीं, ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम ने कहा कि अचानक बकाया राशि काटने के मामले को लेकर सूबे की सरकार सुप्रीम कोर्ट जाने की तैयारी कर रही है. उन्होंने कहा कि जो त्रिस्तरीय समझौता हुआ था, उससे सरकार बाहर जा चुकी है. 15 जनवरी को डीवीसी की बकाया राशि की एक किस्त देने का समय तय किया गया था, लेकिन उससे पहले ही बकाया राशि काटी गई. इससे साफ हो गया है कि जहां दूसरे राज्यों का बड़ा बकाया होने के बाद भी पैसा नहीं काटा जा रहा है. वहीं, झारखंड में गठबंधन होने की वजह से सरकार को बैकफुट पर लाने का प्रयास किया जा रहा है.

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