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हेमंत सरकार के 1 साल पूरे होने पर कृषि मंत्री ने ईटीवी भारत से साझा किया लेखा-जोखा

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Published : Dec 28, 2020, 7:05 AM IST

हेमंत सोरेन सरकार अपनी पहली वर्षगांठ मना रही है. कृषि मंत्री बादल पत्रलेख ने ईटीवी भारत से झारखंड सरकार की उपलब्धियों को साझा किया. उन्होंने बताया कि हेमंत सरकार ने सबसे बड़ा तोहफा राज्य के किसानों को दिया है.

jharkhand agriculture minister badal patralekh
हेमंत सरकार के 1 साल पूरे होने पर कृषि मंत्री ने ईटीवी भारत से साझा किया लेखा-जोखा

रांचीः जेएमएम, कांग्रेस और आरजेडी की गठबंधन वाली सरकार के एक साल पूरे हो चुके हैं. हेमंत सरकार के एक साल पूरे होने पर कृषि मंत्री बादल पत्रलेख ने ईटीवी भारत से सरकार का लेखा-जोखा साझा किया.

एक रुपए खर्च पर 50 हजार माफ

झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने किसानों को बड़ा तोहफा दिया है. कृषि मंत्री बादल पत्रलेख ने बताया कि सूबे के सभी किसानों का 50 हजार रुपए तक का कर्ज माफ कर दिया जाएगा. इसके लिए कैबिनेट की बैठक में मुहर भी लग चुकी है. उन्होंने कहा कि इसके लिए किसान को मात्र एक रुपए का टोकन देना होगा, यानी एक रुपए खर्च कर किसान 50 हजार के कृषि ऋण से मुक्त हो जाएंगे.

'किसानों का ऋण होगा माफ'

कृषि मंत्री बादल पत्रलेख ने बताया कि राज्य सरकार ने किसानों के लिए कुल 2 हजार करोड़ की राशि मंजूर की है. हेमंत सोरेन सरकार के सामने किसानों की कर्ज माफी बड़ी चुनौती थी. सत्ता पक्ष के नेताओं ने खजाना खाली होने को लेकर पिछली सरकार को जिम्मेदार ठहराया था.

चुनाव में किए वादे को निभाया

कृषि मंत्री बादल पत्रलेख ने कहा कि जैसे ही सरकार बनी, वैसे ही बजट आया. इसके साथ ही कोरोना महामारी भी आई. देश-प्रदेश के साथ दुनिया की अर्थव्यवस्था बेपटरी हो गई. इसके बावजूद उनकी सरकार ने किसानों से किए वादे को पूरा किया. बादल पत्रलेख ने आगे कहा कि उन्होंने किसानों को कभी वोट बैंक की तरह इस्तेमाल नहीं किया, वह खुद किसान के बेटे हैं.

किसानों को राहत देना लक्ष्य'

फसल बीमा पर सवाल

बादल पत्रलेख ने बताया कि जब से उन्होंने कृषि मंत्रालय का पदभार सभाला है, तब से लगातार उन्होंने हर पहलू की समीक्षा की है. इस दौरान उन्होंने पाया कि पिछले 3 साल में बीमा कंपनियों को 477 करोड़ रुपये ट्रेजरी के माध्यम से भुगतान किए जाने के बाद भी किसान भाइयों को सिर्फ 80 करोड़ रुपये ही प्राप्त हुए हैं. इसलिए उन्होंने इस साल बीमा कंपनी को पैसा ना देकर किसान राहत योजना की शुरू की. साथ ही उन्होंने कहा कि पहली बार राज्य के ओलावृष्टि प्रभावित 18 जिलों में कुल 15 करोड़ रुपये का भुगतान किया जा रहा है. वहीं बादल पत्रलेख ने कहा कि पिछली सरकार ने 3.7 लाख मीट्रिक टन धान खरीदा था. इस साल सरकार का लक्ष्य 10 लाख मीट्रिक टन धान खरीदने का है.

'जिसका हक, उसीको मिलेगा'

रांचीः जेएमएम, कांग्रेस और आरजेडी की गठबंधन वाली सरकार के एक साल पूरे हो चुके हैं. हेमंत सरकार के एक साल पूरे होने पर कृषि मंत्री बादल पत्रलेख ने ईटीवी भारत से सरकार का लेखा-जोखा साझा किया.

एक रुपए खर्च पर 50 हजार माफ

झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने किसानों को बड़ा तोहफा दिया है. कृषि मंत्री बादल पत्रलेख ने बताया कि सूबे के सभी किसानों का 50 हजार रुपए तक का कर्ज माफ कर दिया जाएगा. इसके लिए कैबिनेट की बैठक में मुहर भी लग चुकी है. उन्होंने कहा कि इसके लिए किसान को मात्र एक रुपए का टोकन देना होगा, यानी एक रुपए खर्च कर किसान 50 हजार के कृषि ऋण से मुक्त हो जाएंगे.

'किसानों का ऋण होगा माफ'

कृषि मंत्री बादल पत्रलेख ने बताया कि राज्य सरकार ने किसानों के लिए कुल 2 हजार करोड़ की राशि मंजूर की है. हेमंत सोरेन सरकार के सामने किसानों की कर्ज माफी बड़ी चुनौती थी. सत्ता पक्ष के नेताओं ने खजाना खाली होने को लेकर पिछली सरकार को जिम्मेदार ठहराया था.

चुनाव में किए वादे को निभाया

कृषि मंत्री बादल पत्रलेख ने कहा कि जैसे ही सरकार बनी, वैसे ही बजट आया. इसके साथ ही कोरोना महामारी भी आई. देश-प्रदेश के साथ दुनिया की अर्थव्यवस्था बेपटरी हो गई. इसके बावजूद उनकी सरकार ने किसानों से किए वादे को पूरा किया. बादल पत्रलेख ने आगे कहा कि उन्होंने किसानों को कभी वोट बैंक की तरह इस्तेमाल नहीं किया, वह खुद किसान के बेटे हैं.

किसानों को राहत देना लक्ष्य'

फसल बीमा पर सवाल

बादल पत्रलेख ने बताया कि जब से उन्होंने कृषि मंत्रालय का पदभार सभाला है, तब से लगातार उन्होंने हर पहलू की समीक्षा की है. इस दौरान उन्होंने पाया कि पिछले 3 साल में बीमा कंपनियों को 477 करोड़ रुपये ट्रेजरी के माध्यम से भुगतान किए जाने के बाद भी किसान भाइयों को सिर्फ 80 करोड़ रुपये ही प्राप्त हुए हैं. इसलिए उन्होंने इस साल बीमा कंपनी को पैसा ना देकर किसान राहत योजना की शुरू की. साथ ही उन्होंने कहा कि पहली बार राज्य के ओलावृष्टि प्रभावित 18 जिलों में कुल 15 करोड़ रुपये का भुगतान किया जा रहा है. वहीं बादल पत्रलेख ने कहा कि पिछली सरकार ने 3.7 लाख मीट्रिक टन धान खरीदा था. इस साल सरकार का लक्ष्य 10 लाख मीट्रिक टन धान खरीदने का है.

'जिसका हक, उसीको मिलेगा'
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