रांची: झारखंड में भाकपा माओवादियों को अर्थतंत्र को तोड़ने के लिए राज्य पुलिस प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की मदद लेगी. राज्य पुलिस मुख्यालय ने दो दर्जन से अधिक भाकपा माओवादियों की संपत्ति की जानकारी जुटाई है. इसमें से कई माओवादियों की संपत्ति यूएपीए एक्ट के तहत राज्य पुलिस ने जब्त भी की है लेकिन राज्य पुलिस मुख्यालय ने अब प्रिवेंशन आफ मनी लाउंड्रिंग एक्ट के तहत कार्रवाई के लिए दो दर्जन से अधिक माओवादियों पर कार्रवाई का प्रस्ताव तैयार किया है. जिन उग्रवादियों की संपति पूर्व में जब्त की गई है, उनके खिलाफ मनी लाउंड्रिंग का मामला भी दर्ज किया जाएगा.
कई बड़े नक्सलियों की संपत्ति हो चुकी है जब्त
राज्य पुलिस ने अबतक 30 से अधिक भाकपा माओवादी, पीएलएफआई और टीपीसी नक्सलियों की संपत्ति जब्त की है. माओवादियों की संपत्ति निवेश करने वाले मनोज चौधरी समेत अन्य के खिलाफ एनआईए जांच भी चल रही है. नक्सलियों के लेवी के पैसों के शेल कंपनियों, म्यूचुअल फंड में निवेश के भी सुराग मिल चुके हैं. ऐसे में ईडी ने पूरी संपत्ति की जानकारी जूटाने और मनी लाउंड्रिंग के पहलूओं की जांच कराने का प्रस्ताव बना है.
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पूर्व में दो नक्सलियों की करोड़ों की संपत्ति हुई थी जब्त
झारखंड में अबतक दो टीपीसी नक्सलियों विनोद कुमार गंझू और प्रदीप राम की संपत्ति को ईडी ने जब्त की है. बीते साल सिंतबर महीनें में राज्य पुलिस मुख्यालय के प्रस्ताव पर कार्रवाई करते हुए मनी लाउंड्रिंग की जांच के बाद 2.89 करोड़ की संपत्ति जब्त हुई थी. ईडी ने आरोपियों के घरों से जब्त 1.49 करोड़ रुपये नकद, 89 लाख रुपया मूल्य के पांच वाहन और आठ बैंक खातों में कुल 35.18 लाख रुपये की जमा राशि जब्त की थी. बिहार निवासी और झारखंड में सक्रिय संदीप यादव और प्रद्युम्न शर्मा की संपत्ति भी पूर्व में ईडी ने दर्ज की थी.