रांची: झारखंड साइबर अपराधी आम लोगों के साथ वीवीआईपी लोगों को भी निशाना बनाने से नहीं चूक रहे हैं. ऐसा ही एक मामला झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के प्रेस सलाहकार अभिषेक श्रीवास्तव उर्फ पिंटू के साथ हुआ. उनके साथ ठगी का ये मामला वैष्णो देवी के दर्शन से जुड़ा हुआ है. ठगी का पता चलते ही रांची के गोंदा थाने में एफआईआर दर्ज कराई गई है.
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सीएम के प्रेस सलाहकार के साथ ठगी: दरअसल मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के प्रेस सलाहकार अभिषेक प्रसाद उर्फ पिंटू अपने पूरे परिवार के साथ इसी महीने 12 जून को वैष्णो देवी के दर्शन के लिए जम्मू के कटरा जाने वाले थे. वैष्णो देवी में दर्शन पूजा की व्यवस्था और वैष्णो देवी के दरबार में जाने के लिए हेलीकॉप्टर सेवा उपलब्ध करवाने की जिम्मेवारी मुख्यमंत्री सचिवालय के एक कर्मचारी को दी गई थी. मुख्यमंत्री सचिवालय के कर्मचारी ने बुकिंग के लिए इंटरनेट का प्रयोग कर मोबाइल नंबर 84209 84902 हासिल किया था. यही से ठगी की प्रक्रिया शुरू हो गई थी.
हेलिकॉप्टर के नाम पर ठगी: मोबाइल नंबर 84209 84902 पर फोन करने पर ठगी कर रहे व्यक्ति ने अपना नाम आकाश बताया. उसने कहा कि वह वैष्णो देवी के लिए यात्रा, हेलीकॉप्टर और दर्शन सहित सभी बुकिंग करता है. बात करने के बाद आकाश कुमार ने सीएमओ के कर्मचारी से तत्काल 13 हजार 840 रुपये ऑनलाइन जमा करने को कहा और अपना अकाउंट नंबर भी उपलब्ध करवा दिया जिसके बाद सीएमओ के कर्मचारी ने उस खाते में पूरी राशि भी जमा कर दी. पैसे जमा करने के बाद उस व्यक्ति के द्वारा दो टिकट भी उपलब्ध कराए गए. इसके बाद तीन अन्य लोगों के दर्शन के लिए प्रति व्यक्ति 2100 रुपये की मांग की गई. जिसके बाद सीएमओ के कर्मी ने 6300 भी ट्रांसफर कर दिए. पैसे जमा होने के बाद हेलीकॉप्टर सेवा के लिए इंश्योरेंस कराने के नाम पर सीएमओ के कर्मी से फिर एक बार 17 हजार की मांग की गई. बुकिंग कराने वाले व्यक्ति ने सीएमओ के कर्मचारी को यह भरोसा दिलाया कि इंश्योरेंस की राशि 160 काटकर बाकी लौटा दी जाएगी. जैसे ही पूरे पैसे अकाउंट में जमा हुए ठगी कर रहे व्यक्ति ने अपना मोबाइल स्वीच ऑफ कर लिया. तब जाकर सब को यह बात समझ में आई कि वैष्णो देवी दर्शन के नाम पर किसी साइबर फ्रॉड ने ठगी कर ली है.
गोंदा थाना में मामला दर्ज: पूरे मामले को लेकर सीएम के प्रधान आप सचिव उदय शंकर के लिखित आवेदन पर अज्ञात के खिलाफ रांची के गोंदा थाने में एफआईआर दर्ज की गई है. प्राथमिकी दर्ज करने के बाद पुलिस मामले की जांच में जुटी हुई है. बता दें कि साइबर अपराधी ठगी के लिए गूगल में अपना फेक नंबर रखते हैं जो कोई भी उन नंबरों के चक्कर में फंसता है उनके खाते से अक्सर पैसे गायब हो जाते हैं. यही घटना सीएम के प्रेस सलाहकार के साथ हुआ.