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पिता ने ही 25 हजार में बेटे को दिया था बेच, बंधक बनाकर कराया जा रहा था नशे का कारोबार

रांची लोअर बाजार पुलिस ने सोमवार की शाम एक दस वर्ष के बच्चे को भटकता हुआ बरामद किया. बच्चे ने कई चौंकाने वाली जानकारियां दी हैं. इसके बाद सभी के होश उड़ गए. बच्चे ने बताया कि उसके पिता ने ही उसे 25 हजार रुपये में करीब दो वर्ष पहले बेच दिया था. उसे रांची के हरमू रोड के आनंद विहार में बेचा गया था. वहां एक होटल संचालक ने दो वर्षों से बंधक बना रखा था. उसे गांजा के कारोबार में लगा रखा था.

बेचे गए बच्चे को बरामद किया गया
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Published : Mar 11, 2019, 11:56 PM IST

रांची: लोअर बाजार पुलिस ने सोमवार की शाम एक दस वर्ष के बच्चे को भटकता हुआ बरामद किया. इसके बाद चाइल्ड लाइन की मदद से उसे सीडब्ल्यूसी के पास भेजा गया. सीडब्ल्यूसी को बच्चे ने कई चौंकाने वाली जानकारियां दी हैं. इसके बाद सभी के होश उड़ गए.

बेचे गए बच्चे को बरामद किया गया

मारपीट की जाती थी

बच्चे ने सीडब्ल्यूसी सदस्य श्रीकांत कुमार को काउंसिलिंग के दौरान बताया कि उसके पिता ने ही उसे 25 हजार रुपये में करीब दो वर्ष पहले बेच दिया था. उसे रांची के हरमू रोड के आनंद विहार में बेचा गया था. वहां एक होटल संचालक ने दो वर्षों से बंधक बना रखा था. उसे गांजा के कारोबार में लगा रखा था. उसे गांजा को प्लास्टिक में भरवाया जाता था, इसके बाद बिक्री भी करवाई जाती थी.

दोबारा काउंसिलिंग की जाएगी
बच्चे ने बताया कि इसके अलावा पूरे दिन झाड़ू-पोंछा करवाया जाता था. छोटी-छोटी गलती पर मारपीट की जाती थी. इससे तंग आकर बच्चा भाग निकला. बच्चा मूल रूप से समस्तीपुर का रहने वाला है. उसके पिता खेती बारी का काम करते हैं. फिलहाल बच्चे को शेल्टर होम में रखा गया है. उसकी दोबारा काउंसिलिंग की जाएगी. बच्चे ने बताया कि वह किसी रामबाबू यादव नाम के होटल संचालक के पास बंधुआ मजदूर बना था. वहां प्रताड़ना से तंग आकर भाग गया था. बच्चे के पास से 8, 800 रुपये बरामद किए गए हैं.

ये भी पढ़ें- झारखंड में काटा जा रहा था ATM तो मुंबई में बजने लगा सायरन, तुरंत आया अलर्ट कॉल

नुकसान पहुंचाने का डर
बच्चा काउंसिलिंग के दौरान काफी डरा हुआ था. वह बोल रहा था कि उसे और परिवार वालों को बंधुआ रखने वाले नुकसान पहुंचा सकते हैं. बच्चे ने बताया कि उसे फोन कर पिता ने बताया कि दादी बीमार है. वह घर जाना चाहता था, लेकिन उसे नहीं जाने दिया जाता था. उसे धमकाया जाता था. सीडब्ल्यूसी सदस्य श्रीकांत कुमार ने बताया कि बच्चे को बंधुआ मजदूरी से संबंधित प्रमाण पत्र दिलाया जाएगा, ताकि उसे बंधुआ मजदूरी से संबंधित रेस्क्यू के बाद लाभ मिल सके.

रांची: लोअर बाजार पुलिस ने सोमवार की शाम एक दस वर्ष के बच्चे को भटकता हुआ बरामद किया. इसके बाद चाइल्ड लाइन की मदद से उसे सीडब्ल्यूसी के पास भेजा गया. सीडब्ल्यूसी को बच्चे ने कई चौंकाने वाली जानकारियां दी हैं. इसके बाद सभी के होश उड़ गए.

बेचे गए बच्चे को बरामद किया गया

मारपीट की जाती थी

बच्चे ने सीडब्ल्यूसी सदस्य श्रीकांत कुमार को काउंसिलिंग के दौरान बताया कि उसके पिता ने ही उसे 25 हजार रुपये में करीब दो वर्ष पहले बेच दिया था. उसे रांची के हरमू रोड के आनंद विहार में बेचा गया था. वहां एक होटल संचालक ने दो वर्षों से बंधक बना रखा था. उसे गांजा के कारोबार में लगा रखा था. उसे गांजा को प्लास्टिक में भरवाया जाता था, इसके बाद बिक्री भी करवाई जाती थी.

दोबारा काउंसिलिंग की जाएगी
बच्चे ने बताया कि इसके अलावा पूरे दिन झाड़ू-पोंछा करवाया जाता था. छोटी-छोटी गलती पर मारपीट की जाती थी. इससे तंग आकर बच्चा भाग निकला. बच्चा मूल रूप से समस्तीपुर का रहने वाला है. उसके पिता खेती बारी का काम करते हैं. फिलहाल बच्चे को शेल्टर होम में रखा गया है. उसकी दोबारा काउंसिलिंग की जाएगी. बच्चे ने बताया कि वह किसी रामबाबू यादव नाम के होटल संचालक के पास बंधुआ मजदूर बना था. वहां प्रताड़ना से तंग आकर भाग गया था. बच्चे के पास से 8, 800 रुपये बरामद किए गए हैं.

ये भी पढ़ें- झारखंड में काटा जा रहा था ATM तो मुंबई में बजने लगा सायरन, तुरंत आया अलर्ट कॉल

नुकसान पहुंचाने का डर
बच्चा काउंसिलिंग के दौरान काफी डरा हुआ था. वह बोल रहा था कि उसे और परिवार वालों को बंधुआ रखने वाले नुकसान पहुंचा सकते हैं. बच्चे ने बताया कि उसे फोन कर पिता ने बताया कि दादी बीमार है. वह घर जाना चाहता था, लेकिन उसे नहीं जाने दिया जाता था. उसे धमकाया जाता था. सीडब्ल्यूसी सदस्य श्रीकांत कुमार ने बताया कि बच्चे को बंधुआ मजदूरी से संबंधित प्रमाण पत्र दिलाया जाएगा, ताकि उसे बंधुआ मजदूरी से संबंधित रेस्क्यू के बाद लाभ मिल सके.

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रांची: लोअर बाजार पुलिस ने सोमवार की शाम एक दस वर्ष के बच्चे को भटकता हुआ बरामद किया. इसके बाद चाइल्ड लाइन की मदद से उसे सीडब्ल्यूसी के पास भेजा गया. सीडब्ल्यूसी को बच्चे ने कई चौंकाने वाली जानकारियां दी हैं. इसके बाद सभी के होश उड़ गए.





बच्चे ने सीडब्ल्यूसी सदस्य श्रीकांत कुमार को काउंसिलिंग के दौरान बताया कि उसके पिता ने ही उसे 25 हजार रुपये में करीब दो वर्ष पहले बेच दिया था. उसे रांची के हरमू रोड के आनंद विहार में बेचा गया था. वहां एक होटल संचालक ने दो वर्षों से बंधक बना रखा था. उसे गांजा के कारोबार में लगा रखा था. उसे गांजा को प्लास्टिक में भरवाया जाता था, इसके बाद बिक्री भी करवाई जाती थी.

दोबारा काउंसिलिंग की जाएगी

बच्चे ने बताया कि इसके अलावा पूरे दिन झाड़ू-पोंछा करवाया जाता था. छोटी-छोटी गलती पर मारपीट की जाती थी. इससे तंग आकर बच्चा भाग निकला. बच्चा मूल रूप से समस्तीपुर का रहने वाला है. उसके पिता खेती बारी का काम करते हैं. फिलहाल बच्चे को शेल्टर होम में रखा गया है. उसकी दोबारा काउंसिलिंग की जाएगी.



पुलिस की नजर पड़ने पर चाइल्डलाइन को सौंपा 

बच्चे ने बताया कि वह किसी रामबाबू यादव नाम के होटल संचालक के पास बंधुआ मजदूर बना था. वहां प्रताड़ना से तंग आकर भाग गया था. बच्चे के पास से 8, 800 रुपये बरामद किए गए हैं. 

नुकसान पहुंचाने का डर 

बच्चा काउंसिलिंग के दौरान काफी डरा हुआ था. वह बोल रहा था कि उसे और परिवार वालों को बंधुआ रखने वाले नुकसान पहुंचा सकते हैं. बच्चे ने बताया कि उसे फोन कर पिता ने बताया कि दादी बीमार है. वह घर जाना चाहता था, लेकिन उसे नहीं जाने दिया जाता था. उसे धमकाया जाता था. सीडब्ल्यूसी सदस्य श्रीकांत कुमार ने बताया कि बच्चे को बंधुआ मजदूरी से संबंधित प्रमाण पत्र दिलाया जाएगा, ताकि उसे बंधुआ मजदूरी से संबंधित रेस्क्यू के बाद लाभ मिल सके.


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