पलामू: पलामू समाज कल्याण विभाग में हुए करोड़ो की हेरा फेरी मामले की जांच एंटी करप्शन ब्यूरो (ACB) जांच करेगा. इस संबंध में पलामू पुलिस ने एक प्रस्ताव तैयार कर एसीबी मुख्यालय को भेजा था. मिली जानकारी के अनुसार पलामू पुलिस के प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया है और अब हेरा फेरी की मामले की जांच एंटी करप्शन ब्यूरो करेगा. पलामू में समाज कल्याण विभाग ने 2018 में मेदिनीनगर टाउन थाना में एक एफआईआर दर्ज करवाया गया था. इस एफआईआर में कहा गया था कि समाज कल्याण विभाग में 10.45 करोड़ रुपये की हेरा फेरी हुई है.
मेदिनीनगर थाना में दर्ज एफआईआर 398/18 में पलामू के पूर्व समाज कल्याण पदाधिकारी रंजना कुमारी, सीडीपीओ संचिता भगत, सुधा सिन्हा, लिपिक सतीश उरांव और अज्ञात पोषाहार सप्लायरों को आरोपी बनाया गया है. सभी पर समाज कल्याण विभाग के राशि को नियम विरुद्ध पोषाहार सप्लायरो को खाते में भेजने का आरोप है. पूरे मामले में करोड़ों की राशि इधर से उधर हुई है, इन्हीं कारणों से पलामू पुलिस ने पूरे जांच के लिए एसीबी को लिखा था.
पलामू में उस दौरान नियमविरुद्ध पोषाहार की राशि को आंगनवाड़ी सेविका की जगह पोषाहार सप्लायर के खाते में भेज दी गई. सरकार द्वारा नियम बनाया गया था कि पोषाहार की राशि आंगनवाड़ी सेविका और पोषण समिति के संयुक्त खाते में जाएगी. लेकिन उस दौरान समाज कल्याण विभाग ने एक प्रस्ताव तैयार कर पोषाहार की राशि सीधे पोषाहार सप्लायरों के खाते में भेजने का निर्णय लिया था. करीब 10. 45 करोड़ रुपये की राशि विभिन्न पोषाहार सप्लायरों खाते में भेजी गई थी. पूरे मामले में प्रशासन गंभीर हुआ जिसके बाद टाउन थाना में एफआईआर दर्ज करवाई गई थी.
ACB करेगी पलामू समाज कल्याण विभाग में हुए घोटाले की जांच, कई टॉप अधिकारी हैं आरोपी - Jharkhand news
पलामू समाज कल्याण विभाग में हुए करोड़ो की हेरा फेरी की जांच अब एसीबी करेंगे. इस घोटाल में पलामू समाज कल्याण विभाग कई टॉप के अधिकारी आरोपी हैं. इस मामले में 2018 में ही एफआईआर दर्ज की गई थी.
पलामू: पलामू समाज कल्याण विभाग में हुए करोड़ो की हेरा फेरी मामले की जांच एंटी करप्शन ब्यूरो (ACB) जांच करेगा. इस संबंध में पलामू पुलिस ने एक प्रस्ताव तैयार कर एसीबी मुख्यालय को भेजा था. मिली जानकारी के अनुसार पलामू पुलिस के प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया है और अब हेरा फेरी की मामले की जांच एंटी करप्शन ब्यूरो करेगा. पलामू में समाज कल्याण विभाग ने 2018 में मेदिनीनगर टाउन थाना में एक एफआईआर दर्ज करवाया गया था. इस एफआईआर में कहा गया था कि समाज कल्याण विभाग में 10.45 करोड़ रुपये की हेरा फेरी हुई है.
मेदिनीनगर थाना में दर्ज एफआईआर 398/18 में पलामू के पूर्व समाज कल्याण पदाधिकारी रंजना कुमारी, सीडीपीओ संचिता भगत, सुधा सिन्हा, लिपिक सतीश उरांव और अज्ञात पोषाहार सप्लायरों को आरोपी बनाया गया है. सभी पर समाज कल्याण विभाग के राशि को नियम विरुद्ध पोषाहार सप्लायरो को खाते में भेजने का आरोप है. पूरे मामले में करोड़ों की राशि इधर से उधर हुई है, इन्हीं कारणों से पलामू पुलिस ने पूरे जांच के लिए एसीबी को लिखा था.
पलामू में उस दौरान नियमविरुद्ध पोषाहार की राशि को आंगनवाड़ी सेविका की जगह पोषाहार सप्लायर के खाते में भेज दी गई. सरकार द्वारा नियम बनाया गया था कि पोषाहार की राशि आंगनवाड़ी सेविका और पोषण समिति के संयुक्त खाते में जाएगी. लेकिन उस दौरान समाज कल्याण विभाग ने एक प्रस्ताव तैयार कर पोषाहार की राशि सीधे पोषाहार सप्लायरों के खाते में भेजने का निर्णय लिया था. करीब 10. 45 करोड़ रुपये की राशि विभिन्न पोषाहार सप्लायरों खाते में भेजी गई थी. पूरे मामले में प्रशासन गंभीर हुआ जिसके बाद टाउन थाना में एफआईआर दर्ज करवाई गई थी.