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कैमिकल गैस लीकेज आपदा से बचाव के लिए मॉक ड्रिल, NDRF की टीम पहुंची - जमशेदपुर न्यूज

जमशेदपुर में टाटा स्टील में गैस लीकेज से बचाव के लिए माॅक ड्रिल किया गया. जिला प्रशासन ने बिष्टुपुर में यह माॅक ड्रिल कैमिकल गैस लीकेज आपदा से बचाव के उपायों को लेकर किया.

Mock drill in jamshedpur
मॉक ड्रिल
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Published : Feb 25, 2021, 7:25 AM IST

Updated : Feb 25, 2021, 7:40 AM IST

जमशेदपुर: बुधवार को दोपहर में बिष्टुपुर मुख्य सड़क पर अचानक एंबुलेंस दौड़नी शुरू हो गयी. मुख्य सड़क को बंद कर दिया गया और कुछ सड़कों को डायवर्ट कर दिया गया. शहर के लोगों को टाटा स्टील में गैस लीकेज की जानकारी मिली. यही नहीं जिंजर होटल से टीएमएच तक ग्रीन काॅरिडोर बनाया गया ताकि गैस लीकेज के प्रभावित लोगों को टाटा मुख्य अस्पताल ले जाने में परेशानी न हो. यह कोई हादसा नहीं बल्कि गैस लीकेज से बचाव के लिए माॅक ड्रिल था.

देखें पूरी खबर

दरअसल, केमिकल गैस लीकेज आपदा से बचाव के उपायों पर जिला प्रशासन ने बिष्टुपुर में माॅक ड्रिल किया. इसके लिए जिंजर होटल से टाटा मुख्य अस्पताल तक के मार्ग को ग्रीन कॉरिडोर के रूप में परिवर्तित किया गया था. इसके लिए जिंजर होटल में ऐसा दृश्य कृत्रिम रूप से दर्शाया गया. जहां के प्रभावित लोगों को बेहतर इलाज के लिए एंबुलेंस के माध्यम से टाटा मुख्य अस्पताल भेजा गया.

ये भी पढ़ें-रांचीः नक्सली कमांडर के साथ NIA का सर्च अभियान, कुख्यात बोयदा ने खोले बड़े नक्सलियों के राज

सबकुछ सच्ची घटना के जैसा दर्शाया गया, लेकिन लोगों में अफवाह ना फैले इसके लिए मॉक ड्रिल में शामिल सभी वाहनों में माॅक ड्रिल का पोस्टर बड़े-बड़े अक्षरों में लिखकर लगाया गया था. स्वास्थ्यकर्मी और अन्य लोगों की मदद से सभी प्रभावित लोगों को अस्पताल समय से भेज दिया गया और उनका उपचार शुरू किया गया. बिष्टुपुर मुख्य सड़क में यह होने के कारण सुरक्षा के दृष्टिकोण से कई मार्गों को बंद कर दिया गया था तो कई मार्गों का ट्रैफिक डायवर्ट कर दिया गया.

Mock drill in jamshedpur
मॉक ड्रिल में शामिल टीम

इसके लिए बकायदा हेल्पलाइन नंबर भी जारी किया गया था और जिला प्रशासन ने लोगों से अफवाह फैलाने की अपील की. शुरू में शहर में चर्चा उड़ी की टाटा स्टील कंपनी में कोई हादसा हो गया है. स्टेशन से ही यातायात परिवर्तित कर दी गयी. इस मॉक ड्रिल में टाटा स्टील एनडीआरएफ पुलिस और टाटा स्टील सिक्योरिटी के लोग शामिल हुए.

वहीं, जिले के उपायुक्त सूरज कुमार ने मॉक ड्रिल के संबंध में बताया कि इस पूरे अभ्यास में मीडिया को लगातार जिला प्रशासन की ओर से ब्रीफ किया जाता रहा ताकि जनता में किसी तरह की असमंजस और अफवाह की स्थिति उत्पन्न ना हो.

उपायुक्त ने बताया कि जब हमने एक दूसरे पदाधिकारियों को इस घटना को लेकर जानकारी साझा कि तो बिल्कुल वास्तविक घटना मानते हुए किया ताकि आकस्मिक स्थिति में जिला प्रशासन किस तरह रिस्पांस करेगा. इसकी सटीक जानकारी मिल सके उन्होंने बताया कि पूरे मॉक ड्रिल में पदाधिकारियों का अच्छा समन्वय सामने आया. साथ ही कुछ कमियां भी पाई गई जिसे दुरुस्त करने की कार्रवाई की जाएगी.

जमशेदपुर: बुधवार को दोपहर में बिष्टुपुर मुख्य सड़क पर अचानक एंबुलेंस दौड़नी शुरू हो गयी. मुख्य सड़क को बंद कर दिया गया और कुछ सड़कों को डायवर्ट कर दिया गया. शहर के लोगों को टाटा स्टील में गैस लीकेज की जानकारी मिली. यही नहीं जिंजर होटल से टीएमएच तक ग्रीन काॅरिडोर बनाया गया ताकि गैस लीकेज के प्रभावित लोगों को टाटा मुख्य अस्पताल ले जाने में परेशानी न हो. यह कोई हादसा नहीं बल्कि गैस लीकेज से बचाव के लिए माॅक ड्रिल था.

देखें पूरी खबर

दरअसल, केमिकल गैस लीकेज आपदा से बचाव के उपायों पर जिला प्रशासन ने बिष्टुपुर में माॅक ड्रिल किया. इसके लिए जिंजर होटल से टाटा मुख्य अस्पताल तक के मार्ग को ग्रीन कॉरिडोर के रूप में परिवर्तित किया गया था. इसके लिए जिंजर होटल में ऐसा दृश्य कृत्रिम रूप से दर्शाया गया. जहां के प्रभावित लोगों को बेहतर इलाज के लिए एंबुलेंस के माध्यम से टाटा मुख्य अस्पताल भेजा गया.

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सबकुछ सच्ची घटना के जैसा दर्शाया गया, लेकिन लोगों में अफवाह ना फैले इसके लिए मॉक ड्रिल में शामिल सभी वाहनों में माॅक ड्रिल का पोस्टर बड़े-बड़े अक्षरों में लिखकर लगाया गया था. स्वास्थ्यकर्मी और अन्य लोगों की मदद से सभी प्रभावित लोगों को अस्पताल समय से भेज दिया गया और उनका उपचार शुरू किया गया. बिष्टुपुर मुख्य सड़क में यह होने के कारण सुरक्षा के दृष्टिकोण से कई मार्गों को बंद कर दिया गया था तो कई मार्गों का ट्रैफिक डायवर्ट कर दिया गया.

Mock drill in jamshedpur
मॉक ड्रिल में शामिल टीम

इसके लिए बकायदा हेल्पलाइन नंबर भी जारी किया गया था और जिला प्रशासन ने लोगों से अफवाह फैलाने की अपील की. शुरू में शहर में चर्चा उड़ी की टाटा स्टील कंपनी में कोई हादसा हो गया है. स्टेशन से ही यातायात परिवर्तित कर दी गयी. इस मॉक ड्रिल में टाटा स्टील एनडीआरएफ पुलिस और टाटा स्टील सिक्योरिटी के लोग शामिल हुए.

वहीं, जिले के उपायुक्त सूरज कुमार ने मॉक ड्रिल के संबंध में बताया कि इस पूरे अभ्यास में मीडिया को लगातार जिला प्रशासन की ओर से ब्रीफ किया जाता रहा ताकि जनता में किसी तरह की असमंजस और अफवाह की स्थिति उत्पन्न ना हो.

उपायुक्त ने बताया कि जब हमने एक दूसरे पदाधिकारियों को इस घटना को लेकर जानकारी साझा कि तो बिल्कुल वास्तविक घटना मानते हुए किया ताकि आकस्मिक स्थिति में जिला प्रशासन किस तरह रिस्पांस करेगा. इसकी सटीक जानकारी मिल सके उन्होंने बताया कि पूरे मॉक ड्रिल में पदाधिकारियों का अच्छा समन्वय सामने आया. साथ ही कुछ कमियां भी पाई गई जिसे दुरुस्त करने की कार्रवाई की जाएगी.

Last Updated : Feb 25, 2021, 7:40 AM IST
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