हजारीबाग: जिले के चौपारण में कोरोना वायरस का प्रभाव और लॉकडाउन शुरू होते ही विभिन्न राज्यों के प्रवासी मजदूरों की घर वापसी हो रही है. सरकार और जिला प्रशासन के निर्देश पर सामुदायिक अस्पताल में कोविड-19 जांच की जा रही है. सामुदायिक अस्पताल में 30 मई तक 11893 प्रवासी मजदूरों की स्क्रीनिंग की गई. जिसमें पुरुषों की संख्या 11302 और महिलाओं की संख्या 591 है.
पहले लॉकडाउन से ही कोविड-19 केयर वार्ड और चिकित्सक और स्वास्थ्य टीम का गठन कर प्रवासी मजदूरों की स्क्रीनिंग जांच शुरू हो गई. पहले लॉकडाउन में 4856 और दूसरे लॉकडाउन में 1105 प्रवासी मजदूरों की स्क्रीनिंग कर प्रशासन के निर्देशों का पालन किया गया. वहीं, प्रवासी मजदूरों को होम क्वॉरेंटाइन और सरकार के संचालित क्वॉरेंटाइन सेंटर में रखा गया है. तीन मई से 31 मई तक तीसरे और चौथे लॉकडाउन में 30 मई तक 5984 प्रवासी मजदूरों की स्क्रीनिंग की गई. सामुदायिक अस्पताल में चिकित्सक टीम ने स्क्रीनिंग जांच के क्रम में 254 प्रवासी मजदूरों का स्वाब जांच कराया. जिसमें 247 मरीजों की रिपोर्ट आई और सात प्रवासी भुनेश्वर साव, महेंद्र भुइयां, चंद्रिका, बाबर, शाजीना, मुसाहिद और हादिस का जांच रिपोर्ट पेंडिंग है.
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अस्पताल प्रभारी डॉ धीरज कुमार ने बताया कि लैब की तकनीकि त्रुटि के कारण इन लोगों का रिपार्ट नहीं आई है. ये सभी करमा अस्पताल में क्वॉरेंटाइन हैं. सभी सामान्य स्थिति में है. जिला स्वास्थ्य विभाग को इसकी जानकारी भेज दी गई है. चिकित्सा प्रभारी डॉ धीरज कुमार, हेल्थ मैनेजर मनीष कुमार, अस्पताल प्रबंधक जागेश्वर शर्मा ने बताया कि 45 प्रवासी मजदूरों को स्वाब जांच के बाद हजारीबाग आइसोलेशन में रेफर कर दिया गया था. जिसमे जांच के तीन प्रवासी कोरोना संक्रमित होने की पुष्टि हुई. तीनों संक्रमित करमा अस्पताल क्वॉरेंटाइन में थे. जिसे संक्रमण के बाद हजारीबाग रेफर कर दिया गया. उन्होंने बताया कि कोरोना संक्रमित का समुचित उपचार हो रहा है.