हजारीबाग: सांसद और पूर्व केंद्रीय राज्य मंत्री जयंत सिन्हा ने सांसदों की वेतन से 30% कटौती का स्वागत किया है. उन्होंने कहा है कि यह देश कि वर्तमान समय की मांग है. यह जरूरी है कि सरकार की एक-एक पैसा कोरोना वायरस के महामारी के युद्ध खिलाफ उपयोग हो.
केंद्र की मोदी सरकार ने कोरोना वायरस से लड़ने के लिए सोमवार को एक बड़ा फैसला लिया है. सरकार ने प्रधानमंत्री समेत सभी कैबिनेट मंत्रियों और सांसदों की सैलरी की 30% कटौती करने का फैसला लिया है. यह कटौती एक साल तक चलेगा. इस फैसले को हजारीबाग के सांसद और भारत सरकार के पूर्व राज्य मंत्री जयंत सिन्हा ने भी स्वागत किया है. उन्होंने कहा है कि हम हमेशा देश के साथ खड़े हैं. हमें जो भी बलिदान देना होगा उसका हम स्वागत करते हैं. सरकार ने जो निर्णय लिया है वह काबिले तारीफ है.
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वहीं, भारत में कोविड-19 के प्रबंधन के लिए 2020-21 और 2021-22 के लिए सांसदों को मिलने वाले MPLAD फंड को अस्थायी तौर पर निलंबित कर दिया है. 2 साल के लिए MPLAD फंड के 7900 करोड़ रुपए का उपयोग भारत की संचित निधि में किया जाएगा. राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति, राज्यों के राज्यपालों ने स्वेच्छा से सामाजिक जिम्मेदारी के रूप में वेतन कटौती का फैसला किया है.