झरिया, धनबाद: झरिया में गुरुवार को एक समुदाय के द्वारा उपद्रव, तोड़फोड़ और मारपीट किए जाने को लेकर सांसद पीएन सिंह ने कड़ी निंदा की है. मीडिया से बातचीत के दौरान उन्होंने कहा कि सरकार बदलते ही प्रशासन पूरी तरह नाकाम हो चुकी है. पुलिस अधिकारियों को सस्पेंड होने का डर सताने लगा है. इसलिए पुलिस ऐसे मामलों में कार्यवाही करने से बच रही है. सरकार पुलिस को डेमोरलाइज कर रही है.
झरिया के राजबाड़ी में सांसद पीएन सिंह ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस कर गुरुवार को झरिया में घटी घटना को लेकर मीडिया के समक्ष सरकार पर जमकर हमला किया. मीडिया से बातचीत के दौरान सांसद पीएन सिंह ने कहा कि मुस्लिम युवक उपद्रव करते रहे लोगों के साथ मारपीट, लूटपाट यहां तक कि बच्चों और महिलाओं के साथ भी मारपीट की गई, लेकिन इस पूरे मामले में पुलिस मूकदर्शक बनी रही.
पुलिस घटना के दौरान सामने खड़ी रही, लेकिन कोई भी कार्रवाई करने से उन्होंने परहेज किया. उन्होंने कहा कि राज्य में सरकार बदलते ही पुलिस प्रशासन इतनी निकम्मी हो गई है, जिसका हमने कभी अनुमान भी नहीं किया था. पुलिस को यह डर सता रहा है कि यदि उन्होंने कार्रवाई कि तो उन्हें सस्पेंड कर दिया जाएगा. सांसद ने कहा कि सरकार पुलिस को डेमोरलाइज कर रही है.
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सांसद पीएन सिंह ने कहा कि पूरे मामले में उन्माद फैलाने वाले और उपद्रव करने वाले साथ ही डीएसपी भी पूरी तरह से इस घटना के लिए जिम्मेदार है. सांसद ने कहा कि पुलिस को चाहिए की जिन मोहल्लों को उपद्रवियों के द्वारा निशाना बनाया गया है उन मोहल्लों में कैंप लगाकर पुलिस शिकायत दर्ज करें. उन शिकायतों पर पुलिस अविलंब कार्रवाई करें. सांसद पीएन सिंह के द्वारा चार युवकों के भी नाम बताए गए हैं, जो इस घटना में शामिल हैं. एहसान खान, शमशेर आलम, इरफान खान चौधरी, गोल्डन खान. उन्होंने कहा कि यह चारों घटना के मुख्य दोषी हैं. इनमें से इरफान खान चौधरी थाना का दलाल है.