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भारत बायोटेक के अध्यक्ष ने 64 देशों के राजदूतोंं को किया संबोधित

कोविड वैक्सीन निर्माण को लेकर भारत काफी दिलचस्पी दिखा रहा है. इसी सिलसिले में 64 देशों के राजदूत और राजनयिक भारत का दौरा कर रहे है. वे सभी आज हैदराबाद पहुंचे.

64 heads of missions in india to visit bharat biotech
विदेश मंत्रालय के साथ हैदराबाद पहुंचा यह दल
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Published : Dec 9, 2020, 9:24 AM IST

Updated : Dec 9, 2020, 3:04 PM IST

नई दिल्ली : भारत में कोरोना वैक्सीन के निर्माण को लेकर पूरी दुनिया की निगाहें टिकी हुई हैं. इसी सिलसिले में बुधवार को दुनिया के 64 देशों के राजदूत और राजनयिक हैदराबाद दौरे पर यहां पहुंचे. इन राजदूतों और राजनयिकों की बैठक शुरू हो गई है. बता दें, इस बैठक को भारत बायोटेक इंटरनेशनल लिमिटेड के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक डॉ. कृष्णा एला ने संबोधित किया.

एयरपोर्ट पर किया गया स्वागत

विदेश मंत्रालय के साथ हैदराबाद आया विदेशी राजनयिकों का यह दल भारत-बायोटेक और बायोलॉजिकल-ई देसी कंपनियों का दौरा करेगा. सरकारी सूत्रों ने बताया कि करीब एक महीने पहले विदेश मंत्रालय ने 190 से ज्यादा राजनयिक मिशनों और प्रमुख अंतरराष्ट्रीय संगठनों को कोविड-19 से संबंधित मुद्दों पर जानकारी दी थी.

बता दें, ये दोनों कंपनियां कोरोना महामारी के खिलाफ वैक्सीन निर्माण और उत्पादन में महत्वपूर्ण भूमिका अदा कर रही हैं. भारत-बायोटेक ने जहां को-वैक्सीन नामक टीका विकसित किया है. वहीं, दूसरी तरफ बायोलॉजिकल-ई कंपनी के साथ अमेरिका के ओहायो स्टेट इनोवेशन फंड ने नई वैक्सीन तकनीक में साझेदारी बनाई है. विदेश मंत्रालय ने जानकारी दी कि विदेश मंत्रालय की कोविड-19 ब्रीफिंग पहल के तहत भारत में विदेशी मिशनों के प्रमुखों को हैदराबाद ले जाया जा रहा है. उन्हें अन्य शहरों में भी ले जाया जाएगा. उन्होंने कहा कि भारत कोविड-19 महामारी से निपटने में वैश्विक प्रयासों में अहम योगदान दे रहा है.

  • Delhi: 64 Heads of Missions in India leave for Hyderabad, where they are scheduled to visit Bharat Biotech and Biological E. Ltd, in continuation of the briefing by Ministry of External Affairs (MEA). The facilities are developing #COVID19 vaccine. pic.twitter.com/LqlZtsT5Cr

    — ANI (@ANI) December 9, 2020 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

पढ़ें: सार्वजनिक उपयोग के लिए फरवरी से उपलब्ध हो सकती है 'कोवैक्सीन'

कोरोना वायरस महामारी का कहर दुनियाभर में जारी है. विश्व में अब तक इस महामारी के 6.8 करोड़ मामलों की पुष्टि हुई है और कम से कम 190 देशों में अब तक 15 लाख से ज्यादा लोगों की इस बीमारी से मौत हो चुकी है. कोविड-19 से निपटने के लिए कई टीकों पर काम चल रहा है, लेकिन ध्यान उनके उत्पादन पर है. भारत पहले ही घोषणा कर चुका है कि उसके टीके के उत्पादन और वितरण क्षमता का उपयोग कोविड-19 महामारी से लड़ने में मानवता की मदद करने के लिए किया जाएगा और वह अन्य देशों की प्रशीतन श्रृंखला तथा भंडारण क्षमता को बढ़ाने में मदद करेगा.

सूत्रों ने कहा कि भारत दुनिया का सबसे बड़ा टीका विनिर्माता है. जैसा कि प्रधानमंत्री ने कहा है, भारत के टीका उत्पादन और आपूर्ति की क्षमता का इस्तेमाल इस संकट से लड़ने में समूची मानवता की मदद के लिए किया जाएगा.

नई दिल्ली : भारत में कोरोना वैक्सीन के निर्माण को लेकर पूरी दुनिया की निगाहें टिकी हुई हैं. इसी सिलसिले में बुधवार को दुनिया के 64 देशों के राजदूत और राजनयिक हैदराबाद दौरे पर यहां पहुंचे. इन राजदूतों और राजनयिकों की बैठक शुरू हो गई है. बता दें, इस बैठक को भारत बायोटेक इंटरनेशनल लिमिटेड के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक डॉ. कृष्णा एला ने संबोधित किया.

एयरपोर्ट पर किया गया स्वागत

विदेश मंत्रालय के साथ हैदराबाद आया विदेशी राजनयिकों का यह दल भारत-बायोटेक और बायोलॉजिकल-ई देसी कंपनियों का दौरा करेगा. सरकारी सूत्रों ने बताया कि करीब एक महीने पहले विदेश मंत्रालय ने 190 से ज्यादा राजनयिक मिशनों और प्रमुख अंतरराष्ट्रीय संगठनों को कोविड-19 से संबंधित मुद्दों पर जानकारी दी थी.

बता दें, ये दोनों कंपनियां कोरोना महामारी के खिलाफ वैक्सीन निर्माण और उत्पादन में महत्वपूर्ण भूमिका अदा कर रही हैं. भारत-बायोटेक ने जहां को-वैक्सीन नामक टीका विकसित किया है. वहीं, दूसरी तरफ बायोलॉजिकल-ई कंपनी के साथ अमेरिका के ओहायो स्टेट इनोवेशन फंड ने नई वैक्सीन तकनीक में साझेदारी बनाई है. विदेश मंत्रालय ने जानकारी दी कि विदेश मंत्रालय की कोविड-19 ब्रीफिंग पहल के तहत भारत में विदेशी मिशनों के प्रमुखों को हैदराबाद ले जाया जा रहा है. उन्हें अन्य शहरों में भी ले जाया जाएगा. उन्होंने कहा कि भारत कोविड-19 महामारी से निपटने में वैश्विक प्रयासों में अहम योगदान दे रहा है.

  • Delhi: 64 Heads of Missions in India leave for Hyderabad, where they are scheduled to visit Bharat Biotech and Biological E. Ltd, in continuation of the briefing by Ministry of External Affairs (MEA). The facilities are developing #COVID19 vaccine. pic.twitter.com/LqlZtsT5Cr

    — ANI (@ANI) December 9, 2020 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

पढ़ें: सार्वजनिक उपयोग के लिए फरवरी से उपलब्ध हो सकती है 'कोवैक्सीन'

कोरोना वायरस महामारी का कहर दुनियाभर में जारी है. विश्व में अब तक इस महामारी के 6.8 करोड़ मामलों की पुष्टि हुई है और कम से कम 190 देशों में अब तक 15 लाख से ज्यादा लोगों की इस बीमारी से मौत हो चुकी है. कोविड-19 से निपटने के लिए कई टीकों पर काम चल रहा है, लेकिन ध्यान उनके उत्पादन पर है. भारत पहले ही घोषणा कर चुका है कि उसके टीके के उत्पादन और वितरण क्षमता का उपयोग कोविड-19 महामारी से लड़ने में मानवता की मदद करने के लिए किया जाएगा और वह अन्य देशों की प्रशीतन श्रृंखला तथा भंडारण क्षमता को बढ़ाने में मदद करेगा.

सूत्रों ने कहा कि भारत दुनिया का सबसे बड़ा टीका विनिर्माता है. जैसा कि प्रधानमंत्री ने कहा है, भारत के टीका उत्पादन और आपूर्ति की क्षमता का इस्तेमाल इस संकट से लड़ने में समूची मानवता की मदद के लिए किया जाएगा.

Last Updated : Dec 9, 2020, 3:04 PM IST
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